यंग इंडिया को चैरिटेबल ट्रस्ट बनाने की अर्जी खारिज, राहुल के खिलाफ खुल सकता है 100 करोड़ का I-T केस
Recommended Video
नई दिल्ली। कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी को आयकर ट्रिब्यूनल ने बड़ा झटका लगा है। ट्रिब्यूनल ने राहुल गांधी की यंग इंडिया को चैरिटेबल ट्रस्ट बनाने की अर्जी को खारिज कर दिया। पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष ने यंग इंडिया को चैरिटेबल ट्रस्ट बनाने की अर्जी दायर की थी। ट्रिब्यूनल ने अपने आदेश में कहा है कि ये कमर्शियल ऑर्गेनाइजेशन है। ट्रिब्यूनल द्वारा अर्जी खारिज किए जाने के बाद अब राहुल गांधी के खिलाफ 100 करोड़ का आयकर केस फिर से खुल सकता है।
राहुल गांधी की अर्जी खारिज करते हुए ट्रिब्यूनल ने कहा कि ट्रस्ट की तरफ से ऐसा कोई काम नहीं किया गया, जो चैरिटेबल की कैटेगरी में आता हो क्योंकि एजेएल को अधिग्रहित करने का मकसद पूरा नहीं किया गया। राहुल गांधी की तरफ से दावा किया गया था यंग इंडिया चैरिटेबल ट्रस्ट है और इसे आयकर में छूट मिलनी चाहिए। ट्रिब्यूनल ने सुनवाई के दौरान पाया कि कांग्रेस ने यंग इंडिया को कर्ज किया, जिससे उसने एजेएल के साथ व्यापार किया। एजेएल नेशनल हेराल्ड अखबार का संचालन करता है।
अगस्त में प्रवर्तन निदेशालय ने एजेएल, वरिष्ठ कांग्रेस नेता मोतीलाल वोरा और हरियाणा के पूर्व सीएम भूपेंद्र सिंह हुड्डा के खिलाफ मनी लॉन्ड्रिंग मामले की जांच में आरोपपत्र दायर किया था। पीएमएलए के तहत जांच में पता था कि हरियाणा के पंचकुला में एक प्लॉट को एजेएल को साल 1982 में आवंटित किया गया लेकिन इसके एस्टेट अधिकारी एचयूडीए ने 30 अक्टूबर 1992 को वापस ले लिया, क्योंकि एजेएल ने आवंटन पत्र की शर्तों का पालन नहीं किया।
ईडी ने सीबीआई की एफआईआर के आधार पर साल 2016 में पीएमएलए के तहत शिकायत दर्ज की थी। इसी साल जनवरी में इस मामले में इनकम टैक्स विभाग ने सोनिया गांधी और राहुल को 100 करोड़ का टैक्स नोटिस भेजा है। एजेएल से संबंधित उनकी आय के पुनर्मूल्यांकन के बाद आयकर विभाग ने राहुल गांधी और सोनिया गांधी को ये नोटिस भेजा है।