उस दिन अभिनंदन वर्तमान अगर Rafale उड़ा रहे होते तो परिणाम क्या होता? पूर्व एयर फोर्स चीफ धनोआ ने ये बताया
नई दिल्ली- इंडियन एयरफोर्स (आईएएफ) के पूर्व प्रमुख बीएस धनोआ ने नोटबंदी के दौरान वायुसेना की ओर से निभाए गए बड़े रोल के बारे में अहम खुलासा किया है। इसके साथ ही उन्होंने उन हालातों के बारे में भी जानकारी देने की कोशिश की है कि अगर पाकिस्तान के साथ पिछले फरवरी में डॉगफाइट के दौरान विंग कमांडर अभिनंदन वर्तमान के पास मिग 21 की जगह राफेल होता तो अंजाम क्या हो सकता था। धनोआ शनिवार को आईआईटी बॉम्बे में आयोजित टेकफेस्ट को संबोधित करने पहुंचे थे इसी दौरान अपने कार्यकाल से जुड़े एयर फोर्स के कुछ बड़े मिशन की बड़ी बातें साझा कीं।
नोटबंदी में एयर फोर्स के रोल पर बड़ा खुलासा
पूर्व वायुसेना प्रमुख बीएस धनोआ ने कहा है कि नोटबंदी के बाद नई करेंसी नोटों को देश के अलग-अलग हिस्सों में पहुंचाने में भारतीय वायुसेना ने बहुत बड़ी भूमिका निभाई थी। धनोआ के मुताबिक वायुसेना के विमानों ने देशभर में 625 टन नई करेंसी नोटों को जरूरी जगहों पर पहुंचाने का काम किया था। शनिवार को आईआईटी बॉम्बे की ओर से आयोजित टेकफेस्ट कार्यक्रम में धनोआ ने बताया कि, "जब नोटबंदी हुई थी, हमने (वायुसेना) करेंसी उठाई और आप तक पहुंचाया। अगर 20 किलो के बैग में एक करोड़ आते हैं तो मैं नहीं जानता कि हमनें कितने करोड़ नोट ढोए।" धनोआ ने अपने प्रेजेंटेशन में जो कई स्लाइड दिखाए उनसे जाहिर हुआ कि नोटबंदी की घोषणा होने के बाद भारतीय वायुसेना ने 33 मिशन के जरिए 625 टन कैश की कंसाइंमेंट का ट्रांस्पोर्ट किया।
बीएस धनोआ ने संभाली थी कमान
बता दें कि बीएस धनोआ नोटबंदी की घोषणा के ठीक बाद 31 दिसंबर, 2016 को भारतीय वायुसेना के प्रमुख बने थे और वे पिछले साल 30 सितंबर को अपने पद से सेवामुक्त हुए हैं। गौरतलब है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 8 नवंबर, 2016 को रात के 8 बजे राष्ट्र के नाम सीधा प्रसारण में देश में नोटबंदी की घोषणा की थी। इस अभियान के तहत उस समय चलने वाले दो बड़े करेंसी नोट 500 और 1,000 रुपये को बंद करने का उन्होंने ऐलान किया था। इसके बाद उसकी जगह नए नोटों को देश भर के बैंकों और एटीएम तक पहुंचाने की बहुत बड़ी मुहिम शुरू की गई थी और जाहिर है कि धनोआ के कार्यकाल में भारतीय वायुसेना को यह बहुत बड़ी जिम्मेदारी निभानी पड़ी थी।
'अभिनंदन के पास राफेल होता तो नतीजा अलग होता'
बीएस धनोआ ने टेकफेस्ट कार्यक्रम के दौरान ही राफेल खरीद को लेकर हुए विवाद पर भी चर्चा छेड़ी और उन्होंने एयर फोर्स की ओर से बताया कि इस तरह के विवादों की वजह से सशस्त्र सेना की मारक क्षमता किस कदर प्रभावित होती है। उन्होंने बताया कि इस तरह के विवादों से जरूरी रक्षा सौदों में अड़ंगा लग जाता है, जिसका असर सुरक्षा बलों पर पड़ता है। उदाहरण के तौर पर उन्होंने बोफोर्स तोप का भी जिक्र किया जो कि अच्छा होने का बावजूद विवादों में घिर गया था। धनोआ ने कहा कि अगर पाकिस्तानी एयर फोर्स के साथ फरवरी,2019 में हुए डॉगफाइट के दौरान विंग कमांडर अभिनंद वर्तमान मिग 21 की जगह राफेल उड़ा रहे होते तो उसका जो नतीजा सामने आता वह पूरी तरह से अलग होता।
क्रैश हो गया था अभिनंदन का विमान
करीब 60 घंटे पाकिस्तान में रहने के बाद इस साल 1 मार्च को विंग कमांडर अभिनंदन वर्तमान सकुशल स्वदेश लौटे थे। दरअसल, 27 फरवरी,2019 को पाकिस्तानी लड़ाकू विमानों ने भारतीय वायुसीमा में घुसपैठ करने की कोशिश की थी। इस दौरान भारतीय वायुसेना ने पाकिस्तानी लड़ाकू विमानों को ललकारा था और मिग-21 की कमान संभाल रहे विंग कमांडर अभिनंदन ने अपनी बहादुरी और कुशलता का परिचय देते हुए पाकिस्तान के जंगी विमान एफ-16 को मार गिराया था। हालांकि, इस डॉग फाइट के दौरान उनका अपना मिग-21 क्रैश हो गया और अभिनंदन इजेक्ट करने के दौरान सीमा पार जा पहुंचे, जहां से पाकिस्तान ने उनको हिरासत में ले लिया था।
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