अपने पीछे कितनी संपत्ति छोड़ गए हैं अटल, जानिए अब कौन होगा उनका उत्तराधिकारी?
नई दिल्ली। पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के निधन के बाद अब वो अपनी अंतिम यात्रा पर निकल चुके हैं। शुक्रवार को उनका अंतिम संस्कार राजघाट के शांतिवन में बने स्मृति स्थल में किया जाएगा। अटल जी एक सामान्य परिवार से थे। उनके पिता पंडित कृष्णबिहारी वाजपेयी शिक्षक थे और उनकी माता कृष्णा देवी घरेलू महिला थीं। अटल जी अविवाहित थे, ऐसे में लोग जानना चाहते हैं कि उनका उत्तराधिकारी कौन होगा? उनकी संपत्ति का वारिस कौन होगा? अपने पीछे कितनी संपत्ति छोड़कर गए हैं अटल बिहारी वाजपेयी?
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इलाज तक के पैसे नहीं थे, राजीव गांधी ने की थी मदद
एक इंटरव्यू के दौरान अटल बिहारी वाजपेयी ने खुद इसका जिक्र किया था कि साल 1987 के दौरान वो किडनी की बीमारी से जूझ रहे थे। उनके पास उस वक्त इतने पैसे भी नहीं थे कि वो अमेरिका जाकर इलाज करवा सके। उस वक्त तत्कालीन पीएम राजीव गांधी ने उनकी मदद की। अटल जब ठीक होकर आए तो उन्होंने सार्वजनिक रूप से राजीव गांधी का आभार व्यक्त किया।
अपने पीछे कितनी संपत्ति छोड़ गए अटल
साल 2004 के हलफनामा के मुताबिक उस वक्त उनके पास 58 लाख रुपए की चल-अचल संपत्ति मौजूद थी। उस हलफनामे में मुताबिक स्टेट बैंक के उनके दो अकाउंट्स में 20,000 और 3,82,886.42 रुपए मौजूद थे। वहीं दूसरे अकाउंट में 25,75,562.50 रुपए मौजूद थे। अटल के पास 1,20,782 कीमत के 2,400 युनिट बांड्स और 22 लाख रुपए की कीमत का एक फ़्लैट था। ग्वालियर में मौजूद उनके पैतृक घर की कीमत 6 लाख रुपए के आस-पास आंकी गई थी।
एक रिपोर्ट के मुताबिक निधन के वक्त अटल बिहारी वाजपेयी के पास कुल 14.05 करोड़ की संपत्ति थी।
कौन होगा उनका उत्तराधिकारी ?
अटल बिहारी वाजपेयी के परिवार में उनके तीन भाई और तीन बहनें हैं। इसके अलावा ग्वालियर में उनके कई रिश्तेदार हैं। उनकी भतीजी कांति मिश्रा और भांजी करुणा शुक्ला हैं। उनके भतीजे दीपक वाजपेयी और भांजे सांसद अनूप मिश्रा हैं। वहीं उनकी दत्तक पुत्री नमिता और उनके पति रंजन भट्टाचार्य अटल जी के साथ ही रहते था। जब अटल प्रधानमंत्री बने तब से ही उनकी दोस्त राजकुमारी कौल की पुत्री, जिसे वाजपेयी ने दत्तक पुत्री माना था उनके साथ रहते थे। ऐसे में माना जा रहा है कि साल 2005 के हिंदू उत्तराधिकार कानून के तहत उनकी संपत्ति उनकी दत्तक पुत्री नमिता और दामाद रंजन भट्टाचार्य को सौंपी जा सकती है। ये तब होगा अगर अटल बिहारी वाजपेयी ने कोई वसीयत न बनाई हो। अगर उन्होंने कोई वसीयत बनाई होगी तो संपत्ति उसके अनुसार दी जाएगी।
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