गुरुद्ववारे पहुंचीं निकी हेले के सामने उठा अमेरिका में हिरासत में लिए गए 52 भारतीयों का मुद्दा
गुरुवार को यूनाइटेड नेशंस (यूएन) में अमेरिकी राजदूत निकी हेले दिल्ली के सीसगंज साहेब गुरुद्वारे पहुंची। यहां पर निकी ने लंगर के लिए रोटियां बनाईं और साथ ही मत्था टेका।
नई दिल्ली। गुरुवार को यूनाइटेड नेशंस (यूएन) में अमेरिकी राजदूत निकी हेले दिल्ली के सीसगंज साहेब गुरुद्वारे पहुंची। यहां पर निकी ने लंगर के लिए रोटियां बनाईं और साथ ही मत्था टेका। इस बीच दिल्ली सिख गुरुद्वारा प्रबंध कमेटी (डीएसजीएमसी) ने निकी के सामने उन 52 भारतीयों का मुद्दा उठाया जिन्हें अमेरिकी राज्य ऑरेगॉन में एक डिटेंशन सेंटर में रखा गया है। इनमें से ज्यादा सिख समुदाय के हैं। इन्हें उस समय हिरासत में लिया गया था जब वह एक बड़े दल का हिस्सा थे जो गैर-कानूनी तरीके से बॉर्डर पार करके अमेरिका में दाखिल हो रहा था।
निकी को आई अपने बचपन की याद
बीजेपी के सांसद और गुरुद्वारा कमेटी के जनरल सेक्रेटरी मजिंदर सिंह सिरसा ने हेले से बात की और उन्होंने यह मुद्दा उठाया। उनके साथ भारत में अमेरिकी राजदूत केनेथे जस्टर भी थे। मजिंदर सिंह सिरसा ने अपने ट्विटर हैंडल पर एक के बाद एक ट्वीट कर इसकी जानकारी दी। उन्होंने बताया कि निकी ने इस मुद्दे को सुना और इसे जल्द से जल्द सुलझाने का भरोसा भी दिया। हेले खुद भी पंजाब के रहने वाले सिख अप्रवासी की बेटी हैं। सिरसा ने बताया कि निकी लंगर सेवा में शामिल होकर काफी खुश थीं और उन्होंने पंजाबी भाषा में भी बात की।
अप्रवासी भारतीय होने पर निकी को गर्व
इसके साथ ही निकी ने अपने बचपन के अनुभव भी साझा किए जब उनकी मां उनके लिए रोटियां बनाया करती थीं। निकी ने कहा कि अपने भाषण की शुरुआत ही इस बात से की कि वह एक अप्रवासी भारतीय की बेटी हैं और एक अमेरिकी राज्य की गर्वनर भी रह चुकी हैं। सिद्धांत और शिक्षा के लिए उनका प्यार उन्हें हमेशा एक भारतीय होने के नाते गर्व की अनुभूति कराता है। साल 2014 मे जब निकी अमेरिकी राज्य साउथ कैरोलिना की गर्वनर बनीं थी तो भारत की यात्रा पर आई थीं।