गोपाल कांडा कनेक्शन@40: कांग्रेस के बाद अब बीजेपी को बचाने आए गोपाल!
बेंगलुरू। हरियाणा विधानसभा चुनाव 2019 में बीजेपी को सरकार बनाने के लिए जरूरी 46 सीटों से 6 सीटें कम मिली हैं। यह पहली बार नहीं है जब हरियाणा में ऐसा हुआ है। ठीक एक दशक पहले वर्ष 2009 में हुए विधानसभा चुनाव में कांग्रेस भी 40 के चक्कर में फंस गई थी, तब उसको बचाने के लिए गोपाल आए थे। जी हां, वही गोपाल कांडा, जो 2019 विधानसभा चुनाव में किंगमेकर बनकर उभरे हैं।
ऐसा लगता है कि गोपाल कांडा की ज़िंदगी में 40 अंक का खास महत्व है, क्योंकि 40 के चक्कर में सत्ता का स्वाद चखने के बाद ठीक दशक बाद फिर जब बीजेपी 40 के आंकड़े पर फंसी हैं, तो गोपाल कांडा तारणहार की तरह प्रकट हो गए हैं और अपने साथ 5 और विधायकों को लेकर दिल्ली पहुंच गए हैं। सिरसा विधानसभा सीट से जीत के बाद ही गोपाल कांडा ने बीजेपी को समर्थन देने की घोषणा कर दी है।
इसे एक अद्भुत संयोग ही कहेंगे कि यही गोपाल कांडा वर्ष 2009 में पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा की सरकार बना चुके हैं। यहां एक ही संयोग नहीं घटा है बल्कि एक और संयोग गोपाल कांडा को मेनस्ट्रीम राजनीति में वापस लेकर आई है। हरियाणा में वर्ष 2014 में हुए विधानसभा चुनाव में बीजेपी को पूर्ण बहुमत मिला था और मनोहर लाल खट्टर पहली बार मुख्यमंत्री बने थे, लेकिन दूसरी कार्यकाल के लिए हुए चुनाव में मनोहर लाल खट्टर के नेतृत्व में पार्टी 40 का आंकड़ा नहीं पार कर पाई।
ऐसा ही संयोग वर्ष 2009 में भूपेंद्र सिंह हुड्डा के साथ भी हुआ था जब 2005 में पूर्ण बहुमत के सरकार चलाने के बाद दूसरे कार्यकाल के लिए हुड्डा के नेतृत्व में कांग्रेस 40 के फेर में फंस कर रह गई और तब किंगमेकर की भूमिका में प्रकट हुए गोपाल कांडा ने हरियाणा में कांग्रेस की सरकार बनवाने में मदद की थी, जिसे निर्दलीय विधायक गोपाल कांडा के साथ हजकां के पांच और कुछ निर्दलीय विधायकों ने समर्थन दिया था।
हालांकि बीजेपी के लिए गोपाल कांडा का साथ लेना आसान नहीं रहने वाला है, क्योंकि एक दशक बाद वाले गोपाल कांडा पर एक नहीं बल्कि दो-दो आपराधिक केस में लंबित है। यही नहीं, गोपाल कांडा के खिलाफ बीजेपी ने बाकायदा जुलूस निकालकर विरोध-प्रदर्शन किया था।
जी हां, हम बात कर रहे हैं एयरहोस्टेस गीतिका शर्मा आत्महत्या कांड में आरोपी गोपाल कांडा की, जो गीतिका शर्मा और उसकी मां की आत्महत्या केस में जमानत पर बाहर हैं। यही वजह है कि बीजेपी को गोपाल कांडा से दूरी बनानी पड़ सकती है। बीजेपी के पास गोपाल कांडा को न कहने के बाद सिर्फ एक ही चारा है जेजेपी से समर्थन लेकर सरकार बनाना।
जेजेपी का समर्थन लेने में बीजेपी को कोई उलझन भी नहीं है, लेकिन जेजेपी ने समर्थन देने के पीछे बड़ी शर्त रखी है कि वह समर्थन तभी करेगी जब उसे मुख्यमंत्री पद दिया जाएगा, जो मुश्किल है कि बीजेपी स्वीकार लेगी। इसके अलावा बीजेपी के पास एक विकल्प यह है कि दो आत्महत्याओं में आरोपों का सामना कर रहे कांडा को छोड़कर 6 अन्य निर्दलीय विधायकों सरकार को समर्थन देने के लिए राजी कर ले।
यह सभंव भी है कि गोपाल कांडा के भाई गोविंद कांडा के मुताबिक पांच निर्दलीय विधायक बीजेपी को बिना शर्त समर्थन देने को तैयार हैं। अगर ऐसा होता है तो बीजेपी को बिना गोपाल कांडा के भी सरकार बनाने में कोई परेशानी नहीं होगी। हालांकि मुश्किल है कि गोपाल कांडा और अन्य निर्दलीय विधायक इसके लिए तैयार होंगे।
हरियाणा लोकहित पार्टी (एचएलपी) के टिकट पर सिरसा से निर्दलीय उम्मीदवार गोकुल सेतिया को महज 602 वोट से हराकर जीत दर्ज करने वाले गोपाल कांडा पर आरोप है कि उन्होंने एयरहोस्टेस गीतिका शर्मा को आत्महत्या के लिए उकसाया, जिससे उसने बिल्डिंग से कूदकर आत्महत्या कर ली थी और बेटी की मौत के कुछ दिन बाद गीतिका शर्मा की मां ने भी आत्महत्या कर लिया था। दो आत्महत्याओं के केस में आरोपी गोपाल कांडा वर्ष 2009 में हुड्डा सरकार में मंत्री बनाए गए थे, लेकिन अभी तक उन्होंने बीजेपी को समर्थन देने के बदले में कोई शर्त नहीं रखी है।
बताया जा रहा है गुरूवार देररात गोपाल कांडा कांडा एक अन्य विधायक रंजीत सिंह के साथ चार्टेड विमान में दिल्ली पहुंचे थे। हरियाणा से दिल्ली जाने के लिए गोपाल कांडा और रंजीत सिंह चौटाला जिस चार्टेड विमान में बैठे थे उसमें सिरसा से भाजपा सांसद सुनीता दुग्गल भी सवार थी।
इसका खुलासा वायरल हो रहे एक तस्वीर में हुआ है, जिसमें बीजेपी सांसद सुनीता दुग्गल गोपाल कांडा और रंजीत सिंह दुग्गल के साथ विमान में बैठी हुई है। गोपाल कांडा दिल्ली पहुंच कर बीजेपी के कार्यकारी राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा से मुलाकात की है और बीजेपी को बिना शर्त समर्थन की बात कही है।
वैसे, गोपाल कांडा के बीजेपी को समर्थन देने की खबर जैसे ही सुर्खी बनी है। बीजेपी के अंदरखाने में भी गोपाल कांडा को लेकर विरोध शुरू हो गया है। मध्य प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री उमा भारती ने एक ट्वीट के जरिए गोपाल कांडा के समर्थन से हरियाणा में सरकार बनाने का विरोध किया है।
उन्होंने अपने ट्वीट में लिखा है कि चर्चित गीतिका शर्मा आत्महत्या केस में गोपाल कांडा बेकसूर है या अपराधी, यह तो कानून साक्ष्यों के आधार पर तय करेगा, लेकिन उसका चुनाव जीतना उसे अपराधों से बरी नहीं करता, क्योंक चुनाव जीतने के बहुत सारे फैक्टर होते है।
उन्होंने कहा कि बीजेपी के पास प्रधानमंत्री मोदी जैसा शक्ति मौजूद है और देश क्या पूरी दुनिया की जनता मोदी के साथ है, ऐसे में गोपाल कांडा जैसे आरोपी का समर्थन लेना ठीक नहीं है वह भी तब जब प्रधानमंत्री मोदी ने सतोगुणी ऊर्जा के आधार पर राष्ट्रवाद की शक्ति खड़ी कर दी है।
उमा भारती ने हरियाणा में बीजेपी सरकार बनाने की कवायद को जारी रखने की सलाह देते हुए कि वैसे लोगों को सरकार बनाने के लिए जोड़ना चाहिए, जो लोग बीजेपी के कार्यकर्ताओं की तरह साफ-सुथरी जिंदगी हो। उमा भारती ने गोपाल कांडा के आपराधिक छवि को सीधे-सीधे टारगेट किया है। हालांकि गोपाल कांडा ने बीजेपी को समर्थन करते हुए कहा था कि उनके खून में आरएसएस का खून हैं।
गौरतलब है वर्ष 2014 में हुए विधानसभा चुनाव में बीजेपी ने जहां प्रचंड बहुमत हासिल किया था और हरियाणा में पहली बार पूर्ण बहुमत से सरकार बनाने में सफल हुई थी। गोपाल कांडा की पार्टी भी उसी साल लोकहित हरियाणा पार्टी का गठन किया था और हरियाणा के सभी 90 सीटों पर उम्मीदवार उतारे थे।
लेकिन हरियाणा की जनता ने गोपाल कांडा के किसी भी उम्मीदवार को वोट न देकर बता दिया कि वो सिर्फ साफ-सुथरी पार्टी को ही वोट करेंगे। अगर बीजेपी कांडा का साथ लेती है, तो अगले चुनाव में बीजेपी को वोटरों का फिर सामना करना पड़ेगा, जिन्होंने गोपाल कांडा की पार्टी को सबक सिखाया था।
सिरसा में किलेनुमा घर में रहने वाले और अजय चौटाला ( दुष्यंत चौटाला के पिता ) के करीबी कहे जाने वाले कांडा पर गुड़गांव में रियल एस्टेट का व्यापार करने के दौरान भी तमाम तरह के आरोप लगे हैं। यही नहीं, 2019 हरियाणा विधानसभा चुनाव प्रचार के दौरान कांडा के समर्थन में प्रचार करने वाली हरियाणा की मशहूर डांसर सपना चौधरी पर बीजेपी में खूब बवाल हुआ था। मालूम हो, सपना चौधरी चुनाव से पहले बीजेपी की सदस्यता ले चुकी थी।
गोपाल कांडा द्वारा बीजेपी को समर्थन देने और बीजेपी द्वारा गोपाल कांडा के सहयोग से समर्थन से सरकार बनाने की खबरों के बीच विपक्षी पार्टियां खासकर कांग्रेस और आम आदमी पार्टी के नेता बीजेपी पर हमलावर हो गई हैं। सोशल मीडिया पर लोग भाजपा पर सवाल खड़े कर रहे हैं। यूथ कांग्रेस के वैभव वालिया ने सोशल मीडिया पर एक पुरानी तस्वीर साझा की है, जिसमें भाजपा के कार्यकर्ता गीतिका शर्मा के लिए न्याय मांग रहे हैं और गोपाल कांडा की गिरफ्तारी की मांग कर रहे हैं।
गौरतलब है वर्ष 2012 में गोपाल कांडा की एयरलाइन कंपनी में काम करने वाली गीतिका शर्मा ने तब आत्महत्या कर ली थी और अपने सुसाइड नोट में गीतिका शर्मा ने गोपाल कांडा का नाम लिया था, जिसके बाद वह राष्ट्रीय स्तर पर चर्चा में आए थे। यह मुद्दा और बड़ा हो गया जब गीतिका शर्मा की मां ने भी सुसाइड कर लिया।
कई दिनों तक अंडरग्राउंड रहने के बाद गोपाल कांडा ने बाद में पुलिस के सामने समर्पण कर दिया था। इस मामले में गोपाल कांडा पर बलात्कार, आत्महत्या के लिए उकसाने, आपराधिक साजिश रचने के आरोप लगे थे। राजनीतिक दबाव में कांडा को हुड्डा सरकार से इस्तीफा देना पड़ा था।
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5. अगर गोपाल कांडा वही व्यक्ति है जिसकी वजह से एक लड़की ने आत्महत्या की थी तथा उसकी माँ ने भी न्याय नहीं मिलने पर आत्महत्या कर ली थी, मामला अभी कोर्ट में विचाराधीन है, तथा यह व्यक्ति ज़मानत पर बाहर है।
— Uma Bharti (@umasribharti) October 25, 2019