कृषि विधेयक: विरोध में पंजाब के किसान तीसरे दिन भी सड़कों पर, 29 सितंबर तक बढ़ाया 'रेल रोको' आंदोलन
कृषि विधेयक के विरोध में पंजाब के किसान तीसरे दिन भी सड़कों पर, 29 सितंबर तक बढ़ाया 'रेल रोको' आंदोलन
चंडीगढ़: संसद में पास हुए कृषि विधेयक (Farm Bills) के खिलाफ पंजाब और हरियाणा के किसान विरोध प्रदर्शन (farmers protest) कर रहे हैं। बीते दिन शुक्रवार (25 सितंबर) को वह सड़कों पर उतरे। पंजाब में पूरी तरह से दिन बंद रहा है। वहीं किसान संगठनों ने पूर्व में घोषित ''रेल-रोको'' विरोध प्रदर्शन अभियान को तीन दिन और बढ़ाने का ऐलान किया है। पहले ये 24 सितंबर से 26 सितंबर तक करने की घोषणा की गई थी, लेकिन अब इसे 29 सितंबर तक बढ़ाने का ऐलान किया गया है।
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रेलवे ने 'रेल रोको' अभियान को बढ़ाए जाने पर नहीं की कोई घोषणा
रेलवे ने 'रेल रोको' अभियान को देखते हुए 26 सितंबर तक कई विशेष यात्री ट्रेनों को रद्द कर दिया गया था। हालांकि 29 सितंबर तक 'रेल रोको' अभियान को लेकर रेलवे ने कोई अधिकारिक घोषण नहीं की है। 29 सितंबर तक 'रेल रोको' अभियान को देखते हुए रेलवे को इसके आगे के कार्यक्रम की घोषणा करना बाकी है।
27 महिला और 28 को युवा होंगे किसान विरोध का हिस्सा
किसान मजदूर संघर्ष समिति के राज्य सचिव सरवन सिंह पंढेर ने कहा कि 27 सितंबर को महिला समूहों के सदस्य विरोध में शामिल होंगी जबकि 28 सितंबर को भगत सिंह की जयंती के अवसर पर युवा भाग लेंगे।
पंढेर ने कहा, हम राजनीतिक दलों के किसी भी नेता को विरोध स्थल पर किसानों को संबोधित करने की अनुमति नहीं देंगे। हमारा संघर्ष तब तक जारी रहेगा जब तक कि हाल ही में पारित कृषि बिल वापस नहीं लिए जाते हैं।
आज हड़ताल करेंगे किसान
25 सितंबर को, सुबह 10 बजे से शाम 4 बजे के बीच राष्ट्रीय हड़ताल के लिए अखिल भारतीय किसान संघर्ष समिति के बैनर तले करीब 250 किसान निकाय एक साथ आएंगे। उनकी मांग है 'किसान विरोधी' कानून सरकार वापस लें या कम से कम उन्हें न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) सुरक्षा प्रदान करें। प्रदर्शनकारियों ने आशंका व्यक्त की है कि केंद्र के कृषि सुधारों से न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) की व्यवस्था खत्म हो जाएगी और कृषि क्षेत्र बड़े पूंजीपतियों के हाथों में चला जाएगा। विरोध कर रहे किसानों का कहना है कि जब तक तीनों विधेयक वापस नहीं लिए जाते, वे अपनी लड़ाई जारी रखेंगे।
संसद ने कृषि उपज व्यापार एवं वाणिज्य (संवर्द्धन और सुविधा) विधेयक-2020 और कृषक (सशक्तीकरण एवं संरक्षण) कीमत आश्वासन समझौता और कृषि सेवा पर करार विधेयक-2020 तथा आवश्यक वस्तु (संशोधन) विधेयक को इसी हफ्ते पास किया गया है।