कोरोना महामारी में सब कुछ ठप था, फिर मुकेश अंबानी दुनिया की अमीरों की सूची में 5वें स्थान पर कैसे पहुंचे?
बेंगलुरू। बुधवार को फोर्ब्स की अरबपतियों की लिस्ट में भारत के सबसे अमीर उद्योगपति में शुमार मुकेश अंबानी को दुनिया के अमीरों में पांचवें स्थान पर रखा गया है। वैसे मार्च महीने की फोर्ब्स की लिस्ट में मुकेश अंबानी इसी पत्रिका में 21वें पायदान पर थे। यह वह समय था जब पूरी दुनिया कोरोना महामारी की चपेट में आ गई थी और अंबानी ने एक महीने में 10 अरब डॉलर से ज्यादा का निवेश अपने डिजिटल प्लेटफॉर्म के लिए आकर्षित कर लिया था।
जियो लांचिंग के 3 वर्ष बाद जब पहली बार एयरटेल-वोडाफोन के बुने जाल में फंस गए थे मुकेश अंबानी
Forbes की मार्च लिस्ट में 21वी रैंकिंग थी, 36.8 अरब डॉलर थी संपत्ति
फोर्ब्स की मार्च महीने की लिस्ट में 21वें पायदान में शुमार मुकेश अंबानी की उस वक्त तक की संपत्ति 36.8 अरब डॉलर थी, लेकिन अब जब कोरोना महामारी की चपेट में आकर दुनिया में मरने वालों की संख्या लगभग साढ़े लाख पहुंच चुकी है और रोजाना हजारों लोग मौत के मुंह जा रहे हैं, तो इसी काल अवधि में मुकेश अंबानी का नेटवर्थ 74.6 अरब डॉलर पार चुका है। यानी दुनिया के 5वें सबसे अमीर मुकेश अंबानी वर्तमान में 14 लाख करोड़ रुपए से अधिक की संपत्ति के मालिक हैं।
कोरोना काल में रिलायंस कंपनी ने 10 अरब डॉलर का निवेश हासिल किया
सवाल यह है कि कोरोना लॉकडाउन में जब पूरी दुनिया की अर्थव्यवस्था बंद बड़ी थी और कोरोनावायरस की महामारी के चलते वैश्विक रूप से उद्योग-धंधों पर ताला लग चुका था, जिससे शेयर बाजार बुरी तरह से कराह रहा था, तो मुकेश अंबानी के पास ऐसी कौन सी जादू की छड़ी थी, जिससे उनकी कमाई पर कोई फर्क नहीं पड़ा। उल्टा कोरोना काल में ही मुकेश अंबानी की रिलायंस इंडस्ट्रीज लिमिटेड ने 10 अरब डॉलर और कमा लिए। यह सवाल जितना सरल है, उसका जवाब भी उतना ही सरल है।
बाजार का रूख पहचानने में माहिर हैं रिलायंस चेयरमैन मुकेश अंबानी
अरबपति मुकेश अंबानी के दुनिया के पांचवें सबसे अमीर उद्योगपति के रूप में शुमार होने में प्रमुख भूमिका उनकी दूरदर्शिता बदलते बाजार के मुताबिक अपनाई गई रणनीति की रही है। बाजार का रूख पहचानने में माहिर मुकेश अंबानी ने लॉकडाउन के दौरान जब पूरी दुनिया ठप पड़ी थी, तो उन्होंने सबसे पहला कदम आरआईल का एक कर्ज मुक्त कंपनी बनना था और दूसरा कदम बदलते दौर में बिजनेस स्ट्रीम पर बदलाव करना था।
लगता है मुकेश अंबानी बदलते हवा की रूख संभवतः जल्दी भांप लेते हैं
लगता है मुकेश अंबानी बदलते हवा की रूख संभवतः जल्दी भांप लेते हैं। यही कारण था कि उन्होंने कोरोना काल में डूब रहे तेल और पेट्रोकेमिकल के बिजनेस से बाहर निकलकर तेजी से बढ़ते कंज्यूमर बिजनेस की ओर बढ़ना तय कर लिया। कंज्यूमर बिजनेस में पैठ और निवेश के लिए मार्च 2021 से पहले उन्होंने अपने ऑयल, रिटेल और टेलिकम्यूनिकेशंस ग्रुप के नेट कर्ज 20 अरब डॉलर को शून्य पर लाने का लक्ष्य निर्धारित कर दिया।
RIL को कर्ज मुक्त बनाने और कंज्यूमर बिजनेस में घुसने की योजना तैयार की
मुकेश अंबानी लॉकडाउन के दौरान आरआईएल को कर्ज मुक्त बनाने और कंज्यूमर बिजनेस में स्विच करने की योजना तैयार की और उसके लिए पेट्रो केमिकल समेत अपनी कई कंपनियों की हिस्सेदारी बेंचने की शुरूआत कर दी। साथ ही साथ रिलायंस जियो की हिस्सेदारी बेंचने की योजना भी तैयार की और तेजी कंज्यूमर बिजनेस की ओर उन्मुख हो गए।
लक्षित मार्च 2021 से 9 महीने पहले RIL को कर्ज मुक्त कंपनी बना दिया
नतीजन मार्च 2021 में आरआईएल को कर्ज मुक्त बनाने के लक्ष्य को मुकेश अंबानी ने 9 महीने पहले ही हासिल कर लिया। शायद इसे ही एक तीर से दो निशान लगाना कहते हैं। 19 जुलाई, 2020 को मुकेश अंबानी आरआईएल को कर्ज मुक्त कंपनी होने की घोषणा करते हैं, जिसका सेंटीमेंटल लाभ ही कहेंगे कि मुकेश अंबानी की कंपनी के शेयर 2 हजार के पार चले गए और अब कंपनी के कंज्यूमर फ्रेंडली बिजनेस रिलायंस प्लेटफार्म, रिलायंस टेली कम्यूनिकेशंस और रिलायंस रिटेल में दुनिया के 14 बड़े निवेशकों ने 1.52 लाख करोड़ रुपए निवेश कर चुके हैं।
रिलायंस इंडस्ट्रीज लिमिटेड पर करीब 20 अरब डॉलर के कर्ज था
कंपनी को 20 अरब डॉलर के कर्ज से मुक्त बनाने की योजना को अमलीजामा पहनाने में मुकेश अंबानी को ज्यादा वक्त नहीं लगा। सोशल मीडिया कंपनी फेसबुक द्वारा 9.9 फीसदी रिलायंस जियो में हिस्सेदारी खऱीदने और नॉन-कंज्यूमर बिजनेस उद्योगों की हिस्सेदारी बेंचकर अंबानी ने कंपनी को कर्ज मुक्त बनने में न केवल सफल रहे, बल्कि फेसबुक के निवेश के बाद रिलायंस जियो में ग्लोबल निवेशकों का तांता सा लग गया।
फेसबुक कंपनी ने रिलायंस जियो की 9.9 फीसदी हिस्सेदारी खऱीदी
सोशल मीडिया कंपनी फेसबुक ने रिलायंस जियो में 9.9 फीसदी हिस्सेदारी खऱीदने से पहले मुकेश अंबानी कई कंपनियों की हिस्सेदारी भी बेंचनी पड़ी थी। इनमें ईंधन की खुदरा बिक्री का कारोबार शामिल है, जिसकी 49 फीसदी हिस्सेदारी बेचकर अंबानी ने 7,000 करोड़ रुपए जुटाए गए। इस बीच सऊदी अरब की तेल कंपनी अरमाको के साथ कंपनी की 15 अरब डालर की डील परवान नहीं चढ़ सकी। कंपनी अरमाको को कंपनी 20 फीसदी शेयर बेंचने के डील की थी।
RIL के कर्ज मुक्त होने फेसबुक जैसे बड़े निवशेक ने बड़ी भूमिका निभाई
RIL कंपनी के कर्ज मुक्त होने की दिशा में उठाए गए कदमों का करिश्मा ही कहेंगे कि रिलायंस जियो को फेसबुक जैसा बड़ा निवशेक हासिल हुआ। फेसबुक के रिलायंस जियो में 9.9 फीसदी हिस्सेदारी खरीदने भर से ही मुकेश अंबानी ने लॉकडाउन में हुए नुकसान पूरी भऱपाई कर ली, क्योंकि फेसबुक के बाद रिलायंस जियो में ग्लोबल निवेशकों की ऐसी लाइन लगी कि आरआईएल पर जितना कर्ज था, उससे ज्यादा पैसा उसने जियो की हिस्सेदारी बेचकर और राइट्स इश्यू से जुटा लिए थे।
रिलायंस इंडस्ट्रीज (RIL) ने 19 जुलाई को ही कर्जमुक्त होने का ऐलान किया
रिलायंस इंडस्ट्रीज (RIL) ने 19 जुलाई को ही कर्जमुक्त होने का ऐलान कर दिया। इस दौरान मुकेश अंबानी ने आरआईएल का 53,124.20 करोड़ का राइट्स इश्यू सफलता पूर्वक पूरा कर लिया था और अपनी डिजिटल सेवा ब्रांच जियो में लगभग 39 फीसदी की हिस्सेदारी बेंच चुकी थी, जिससे कंपनी को कुल 1.52 लाख करोड़ का निवेश हासिल हुआ और दिसंबर 2019 तक आरआईएल पर नेट वर्थ करीब 1.53 लाख करोड़ के करीब हो गया था।
14 हफ्ते में अंबानी ने जियो के लिए 14 ग्लोबल कंपनियों के साथ 15 डील की
कंपनी कुल 14 हफ्ते से कम समय में जियो के लिए 14 ग्लोबल कंपनियों के साथ 15 डील में आरआईएल ने 1.52 लाख करोड़ रुपए जुटाए। इसमें फेसबुक ने 43574 करोड़, सिल्वर लेक ने करीब 5656 करोड़, विस्ता ने 11367 करोड़, जनरल अटलांटिक ने 6598 करोड़, केकेआर ने 11367 करोड़, मुबाडला ने 9094 करोड़, सिल्वर लेक ने 4547 करोड़, एडीएआई ने 5684 करोड़, टीपीजी ने 4547 करोड़, एल कैटरटॉन ने 1895 करोड़, पीआईएफ ने 11367 करोड़, इंटेल ने करीब 1895 करोड़, क्वॉलकॉम ने 730 करोड़ रुपए और गूगल ने 33737 हजार करोड़ रुपए निवेश शामिल हैं।
43वें AGM शुरू होने के बाद अंबानी को 2.5 बिलियन डॉलर का नुकसान
हालांकि रिलायंस इंडस्ट्रीज लिमिटेड की एजीएम शुरू होने के बाद मुकेश अंबानी को 2.5 बिलियन डॉलर (करीब 1 खरब 87 अरब 96 करोड़ रुपए से ज्यादा) से ज्यादा का नुकसान उठाना पड़ा था। जाहिर सी बात है कि उनकी दौलत कम हुई और वो वर्ल्ड टॉप रिचेस्ट लिस्ट में छठे स्थान से नीचे गिरकर 10वें स्थान से ऊपर पहुंच गए, लेकिन 13 जुलाई, सोमवार को Reliance के शेयर्स में 3 फीसदी की बढ़त के साथ अंबानी की संपत्ति में 2.17 बिलियन डॉलर का इजाफा हुआ जिसके बाद उन्हें फिर दुनिया के छठे अमीर उद्योगपति की उपाधि हासिल हुई है।
सऊदी अरमाको के साथ डील पर अंबानी के बयान से नुकसान उठाना पड़ा
बुधवार, 15 जुलाई को मुकेश अंबानी की नेटवर्थ 72 बिलियन डॉलर से ज्यादा थी जो गुरुवार, 16 जुलाई को 69 बिलियन डॉलर तक गिर गई। इस गिरावट की वजह बुधवार दोपहर को हुई रिलायंस इंडस्ट्रीज लिमिटेड की 43वीं एजीएम में एक घोषणा थी। एजीएम में ग्रुप ने कई बड़ी घोषणाएं कीं, लेकिन ऑइल टू केमिकल बिजनेस में सऊदी अरमाको को लेकर मुकेश अंबानी के बयान से मार्केट में उन्हें नुकसान उठाना पड़ा, क्योंकि अरमाको के साथ डील अटक गया था।
वर्तमान में आरआईएल के प्रति शेयर के भाव 2148 रुपए हैं
लेकिन उसके बाद रिलायंस जियो में ग्लोबल निवेशकों का एक नया दौर शुरू हो गया। जैसे-जैसे जियो को ग्लोबल इन्वेस्टर्स मिले और कर्जमुक्त कंपनी हो चुकी आरईएल की साख बढ़ती गई, जिससे कंपनी शेयर में भी तेजी आती गई। वर्तमान में आरआईएल के प्रति शेयर के भाव 2010 रुपए हैं, जिससे पिछले 4 महीने में निवेशकों ने करीब 140 फीसदी रिटर्न कमा लिए है। आरआईएल का एक्सपोर्ट 2 लाख करोड़ से ज्यादा पहुंच गया है, जो भारत के कुल मर्केंडाइज एक्सपोर्ट का 9.1 फीसदी है।
ऑलटाइम हाई पर पहुंची RIL शेयरों की कीमत, रैंकिंग 46वीं हुई
गुरुवार, 23 जुलाई को रिलायंस इंडस्ट्रीज की रैंकिंग 48वीं थी और ये ExxonMobil के पीछे थी। कंपनी के शेयरों की कीमत शुक्रवार को 2,163 रुपए प्रति शेयर का ऑलटाइम हाई पर पहुच गई। शुक्रवार के कारोबारी सत्र में ये शेयर 2,146.20 के स्तर पर बंद हुआ, जिसके बाद कंपनी की रैंकिग बढ़कर 46वीं हो गई।
कोरोना महामारी के दौरान मुकेश अंबानी के 5 अरब डॉलर डूबे थे
रिलायंस इंडस्ट्रीज के चेयरमैन मुकेश अंबानी इस साल 5 अरब डॉलर की संपत्ति गंवा चुके हैं। कंपनी को 13 से 27 फरवरी के बीच 53,706.40 करोड़ रुपए का नुकसान हुआ। हालांकि इस क्रम में आदित्य बिड़ला ग्रुप के चेयरमैन कुमार मंगलम बिड़ला की 884 मिलियन डॉलर की संपत्ति घट गई है। महज 2 महीने में आईटी दिग्गज अजीम प्रेमजी को 869 मिलियन डॉलर का नुकसान हुआ, जबकि गौतम अडाणी को 496 मिलियन डॉलर का नुकसान हुआ।
43वीं AGM में अंबानी ने बताया कि रिलायंस जियो ने 5G सॉलूशन बना लिया
15 जुलाई को संपन्न 43वीं एजीएम अंबानी ने बताया कि रिलायंस जियो ने 5G सॉलूशन बना लिया है, जो भारत में वर्ल्ड क्लास 5G सर्विस प्रदान करेगा। Jio TV+, जियो मार्ट के अलावा आरआईएल के कर्ज मुक्त होने के ऐलान ने निवेशकों का मनोबल ऊंचा है, जिससे आरआईएल 150 बिलियन डॉलर वाली पहली कंपनी बन गई है और कंपनी का एबिटडा 1 लाख करोड़ हो गया है।
वर्ष 2019 में मुकेश अंबानी ने जोड़ी थी 17 अरब डॉलर की संपत्ति
अंबानी के लिए 2019 काफी अच्छा रहा था। ब्लूमबर्ग बिलेनियर्स इंडेक्स के मुताबिक, उनकी संपत्ति में 17 अरब डॉलर का इजाफा हुआ है। उनकी कुल संपत्ति बढ़कर 61 अरब डॉलर हो गई थी। अलीबाबा ग्रुप के फाउंडर जैक मा (अब रिटायर) की बात करें तो इस साल उनकी संपत्ति में 11.3 अरब डॉलर का इजाफा हुआ, जबकि जेफ बेजॉॉस की संपत्ति 13.2 अरब डॉलर से बढ़ी। इस साल मुकेश अंबानी का भाग्य चमकाने में उनकी कंपनी रिलायंस इंडस्ट्रीज के शेयरों को सबसे ज्यादा श्रेय है, जिसमें 40 फीसदी की तेजी दर्ज हुई थी।
भारत की पहली कंपनी जिसका मार्केट कैप 13 लाख करोड़ पार हुआ
रिलायंस इंडस्ट्रीज का शेयर बीएसई पर गुरुवार को 3.59 फीसदी चढ़कर 2076 रुपए पर बंद हुआ। इससे कंपनी का बाजार मूल्यांकन 13 लाख करोड़ रुपए के पार चला गया। कंपनी के हाल में जारी राइट्स इश्यू और अन्य शेयरों में अलग-अलग कारोबार हुआ। कंपनी का कुल बाजार मूल्यांकन 13.5 लाख करोड़ रुपए या 181 अरब डॉलर से अधिक रहा। आज तक किसी भी भारतीय कंपनी का बाजार पूंजीकरण 13 लाख करोड़ रुपए के स्तर को पार नहीं किया है।
4 फीसदी की बढ़त के साथ सर्वकालिक उच्चस्तर पर पहुंचा RIL का शेयर
शुक्रवार, 24 जुलाई को कारोबार के दौरान कंपनी का शेयर चार फीसदी की बढ़त के साथ अपने सर्वकालिक उच्चस्तर पर पहुंच गया। कंपनी के अलग से सूचीबद्ध आंशिक चुकता शेयरों का बाजार पूंजीकरण 53,821 करोड़ रुपए है। इस तरह कंपनी का कुल बाजार पूंजीकरण अब 14,07,854.41 करोड़ रुपए हो गया है। शुक्रवार को कारोबार के दौरान 14 लाख करोड़ रुपए के आंकड़े के पार चला गया। कंपनी के शेयरों में तेजी के चलते उसने इस मुकाम को हासिल किया है।
जियो Platforms में 33,737 करोड़ रुपए का निवेश करेगा गूगल
रिलायंस इंडस्ट्रीज के 43वें AGM में मुकेश अंबानी ने घोषणा की इंटरनेट की दिग्गज कंपनी Google रिलायंस के वेंचर Jio Platforms में 33,737 करोड़ रुपए का निवेश करेगा। गूगल जियो प्लेटफॉर्म्स में 33,737 करोड़ का निवेश करके कंपनी में 7.7 फीसदी की हिस्सेदारी खरीदेगा. बता दें कि Jio Platforms रिलायंस इंडस्ट्रीज़ का डिजिटल सर्विस वेंचर है
RIL दुनिया की दूसरी सबसे ज्यादा मूल्यवान एनर्जी कंपनी
कंपनी के मार्केट कैप के 14 ट्रिलियन रुपए के रिकॉर्ड को छूने के बाद आरआईएल ने ExxonMobil को पीछे छोड़ते हुए दुनिया की दूसरी सबसे मूल्यवान एनर्जी कंपनी बन गई है। स्टॉक मार्केट के आंकड़ों के मुताबिक रिलायंस इंडस्ट्रीज मार्केट कैप के आधार पर दुनिया की 48वीं सबसे बड़ी कंपनी बन गई है। इस बीच कंपनी के चेयरमैन मुकेश अंबानी स्टीव बालमर को पीछे छोड़ते हुए दुनिया को 5वें सबसे धनी व्यक्ति बन गए हैं। Bloomberg के मुताबिक मुकेश अंबानी की संपत्ति 77.4 अरब डॉलर है।
मुकेश अंबानी- JioMart का 2024 तक 50% बाजार पर होगा कब्जा
अपनी लॉन्चिंग के दो महीने के भीतर ही जियोमार्ट देश के ऑनलाइन ग्रॉसरी सेगमेंट में ग्राहकों की पहली पसंद बन कर उभरा है। कंपनी ने कुछ दिन पहले ही गूगल प्ले स्टोर और एप्पल ऐप स्टोर पर जियोमार्ट-ऐप लॉन्च किया था और कुछ ही दिनों में जियोमार्ट-ऐप, गूगल प्ले स्टोर से 10 लाख से अधिक बार डाउनलोड हो चुका है। जियोमार्ट पर प्रतिदिन के हिसाब से 2.5 लाख ऑर्डर बुक किए जा रहे हैं। रिलायंस की फेसबुक के साथ साझेदारी के परिणामस्वरूप कंपनी ऑनलाइन ग्रॉसरी स्पेस में मार्केट लीडर बन सकती है। 2024 तक कंपनी देश के पास 50 प्रतिशत मार्किट हिस्सेदारी होने की संभावना है।
रिलायंस रिटेल में अमेजन खरीद सकती है 9.99 फीसदी हिस्सेदारी
विश्व की दिग्गज ई-कॉमर्स कंपनी अमेजन की रिलायंस रिटेल में 9.99 फीसदी हिस्सेदारी खरीदने की योजना है। जुलाई में ही अपनी एनुअल जनरल मीटिंग (एजीएम) में चेयरमैन मुकेश अंबानी ने जानकारी दी थी कि रिलायंस इंडस्ट्रीज की अब रिटेल बिजनेस में हिस्सेदारी बेचने की योजना है।
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