दिल्ली स्मॉग: दिल्ली में दृश्यता तो बढ़ी लेकिन हवा की गुणवत्ता में सुधार नहीं
केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (सीपीसीबी) और मौसम विज्ञानियों के मुताबिक शुक्रवार रात से हवा की गति बढ़ेगी। इससे शनिवार को वायु प्रदूषण के स्तर में भी सुधार देखने को मिलेगा
नई दिल्ली। दिल्ली-एनसीआर में स्मॉग के कहर से शुक्रवार को थोड़ा सुधार देखने को मिला। दिल्ली में हवा की गति में कुछ समय के लिए थोड़ा इजाफा होने से शुक्रवार को दिल्ली-एनसीआर में दृश्यता का स्तर जरूर सुधरा, लेकिन प्रदूषण की स्थिति वैसी ही है। गुरुवार को दृश्यता का स्तर 200 मीटर था जो शुक्रवार को 400 मीटर देखा गया। राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में शुक्रवार को धुआं-धुंध छट गई, दूर तक साफ-साफ दिखाई देने लगा, लेकिन खराब हवा की गुणवत्ता सुधरने में अभी थोड़ा वक्त लगेगा। मौसम विभाग के मुताबिक शुक्रवार का दिन इस सीजन का सबसे ठंडा दिन रहा है सुबह में टंप्रेचर 13 डिग्री सेल्सियस दर्ज की गई।
मौसम विभाग के मुताबिक दिल्ली में शुक्रवार को एयर क्वालिटी (एक्यूआई) 483 दर्ज की गई। गुरुवार को एयर क्वालिटी (एक्यूआई) 486 दर्ज की गई थी। हालांकि इसको बहुत बेहतर नहीं कहा जा सकता है लेकिन दिल्ली के हवा की हालत में सुधार जरूर कहा जा सकता है। दिल्ली से सटे इलाकों में भी हवा की क्वालिटी में थोड़ी सुधार दर्ज की गई है। मंगलवार से प्रदूषण के स्तर में बढ़ोतरी के बाद से शुक्रवार दोपहर 12 बजे से पीएम 2.5 और पीएम 10 के अल्ट्राफाइन पार्टिकलों के स्तर में गिरावट दर्ज की गई है।
केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (सीपीसीबी) और मौसम विज्ञानियों के मुताबिक शुक्रवार रात से हवा की गति बढ़ेगी। इससे शनिवार को वायु प्रदूषण के स्तर में भी सुधार देखने को मिलेगा।दिल्ली लगातार तीन दिनों से गैस चैंबर बनी हुई है। यह स्थिति दिल्ली में एंटी साइक्लोनिंग कंडिशन बनने की वजह से पैदा हुई है। अभी अगले 24 घंटे तक इससे राहत मिलने की उम्मीद नहीं है। बृहस्पतिवार को भी अधिकतर स्थानों पर स्थिति खतरनाक रही।
राजधानी दिल्ली में हो रहे बेरोकटोक निर्माण कार्यो पर पाबंदी न होने से धूल ने और तबाही मचाई है। अरावली की पहाडि़यों में होने वाले अवैध खनन के बालू और गिट्टी की ढुलाई पूरी रात खुले डंपरों के मार्फत होती है। इसके चलते धूल व बालू के कण पर्यावरण को और खराब कर रहे हैं। हर सुबह होने वाली सफाई के बाद सड़कों के किनारे जलाये जा रहे कूड़े इसे और गंभीर बना रहे हैं। पिछले सप्ताह चली पछुआ हवा से पराली के धुएं ने पूरी दिल्ली को अपनी चपेट में ले लिया है। इसी दौरान मौसम में नमी की मात्रा के अधिक होने से हालात बद से बदतर हो गया।
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