Coronavirus: ऐसी सलाह और सलाहकारों से बचें, पढ़ें भ्रामक इलाजों व बयानों की पूरी श्रृंखला!
बेंगलुरू। कोरोनावायरस को लेकर दुनियाभर में और खासकर इंटरनेट पर तरह-तरह की बातें फैलाई गईं है, जिससे लोग भ्रांतियों और गलतफहमियों के शिकार हो रहे हैं। सोशल मीडिया में जानलेवा कोरोनावायरस के उपचार के लिए ऐसे अजीबोगरीब नुस्खे मौजूद है, जिनके उपयोग से मरीज ही नहीं, सामान्य इंसान को भी जान को जोखिम हो सकता है।
इंटरनेट पर कोरोनावायरस के इलाज के लिए अजीबोगरीब नुस्खे ही नहीं, कोरानावायरस के कारणों को लेकर भी अजीबोगरीब तर्क गढ़े जा रहे हैं। अफसोस यह है कि उनमें जनप्रतिनिधि और बड़े रसूख वाले लोग शामिल हैं। उनके दावों और वैकल्पिक इलाजों की पूरी शृंखला इंटरनेट पर मौजूद हैं, जिनसे आपको बचने की जरूरत है।
हैंड ड्रायर से मर जाता है कोरोना वायरस ?
यह बात पूरी तरह से भ्रामक और तथ्यहीन साबित हो चुकी है कि कोरान वायरस यानी COVID-19 हैंड ड्रायर से मर जाता है, लेकिन पिछले कुछ दिनों से इंटरनेट और सोशल मीडिया ऐसी भ्रामक खबरों से पटा पड़ा है। हैंड ड्रायर का काम सिर्फ इतना है कि उसकी मदद से आप अपने गीले हाथ सुखा सकते हैं, इसके अलावा उसका कोई काम नहीं है।
कोरोना वायरस के खिलाफ कारगर है अल्ट्रावायलेट डिसइन्फेक्शन लैम्प?
सोशल मीडिया के जरिए यह भ्रम फैलाया गया कि अल्ट्रा वॉयलेट किरण यानी UV लैम्प का रेडिएशन से कोरोना वायरस को खत्म किया जा सकता है। यकीन मानिए यह बिल्कुल झूठा दावा है और अगर आपने अपनी चमड़ी पर इसका उपयोग किया तो इसका नतीजा बेहद घातक हो सकता है, इसलिए हाथों और शरीर के अन्य हिस्सों को UV लैंप रेडिएशन से स्टरलाइज करने से बचें, इससे लेने को देना पड़ सकता है।
चीन में भैंसों के सींग के चूर्ण से किया गया इलाज का दावा
चीनी अधिकारियों ने स्थानीय डॉक्टरों को हिदायत दी है कि कोरोना वायरस से बचाव के लिए एलोपैथी दवाओं के साथ चीनी देसी इलाज को भी शामिल किया जाए। एक रिपोर्ट के मुताबिक स्थानीय चीनी डॉक्टरों ने कोरोना वायरस से बचाव के लिए भैंस के सींग के चूर्ण का इस्तेमाल धडल्ले से करना भी शुरू कर दिया। चीनी हकीमों का मानना है कि ऐसे किसी वायरस से लड़ने में सींग का चूर्ण बेहद लाभदायक होता है, लेकिन नतीजा ढाक के तीन पात निकला और अकेले में अब तक हुए 3200 लोगों में से 85 फीसदी मौत चीन में हुई है।
शराब के एक पैग में कोरोना वायरस हो जाएग पैक!
हिंदुस्तान में कोरोना वायरस के इलाज को लेकर तरह तरह के दावे सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे हैं, कहीं शराब से तो कहीं गांजे के कश से कोरोना वायरस के इलाज के दावे किए जा रहे हैं। खबर में लिखा है कि एक रिसर्च में बात सामने आई है कि एक पैग में पैक हो जाएगा कोरोना। यह कोई मजाक नहीं बल्कि जर्मनी में इस बारे में शोध हुआ है, लेकिन खबर में कहीं भी जिक्र नहीं है कि रिसर्च किसने किया है।
HIV एड्स की दवा कोरोना वायरस इलाज का दावा किया गया
अभी तक पूरी दुनिया में कोरोना वायरस से बचाव की कोई दवा तैयार नहीं हो पाई है। ऐसे में चीन का कहना है कि कोरोना वायरस से लड़ने के लिए प्राधिकरण एड्स की दवाओं का इस्तेमाल कर रहा है। चीनी अधिकारियों का दावा किया था कि कोरोना वायरस से लड़ने में एड्स की दवाएं कारगर साबित हो रही हैं, लेकिन इसके अभी कोई तथ्य सामने नहीं आए हैं। अगर इसमें कोई सच्चाई होती तो अब तक 32000 लोगों की जान नहीं गई होती जबकि यह आंकड़ा दिनोंदिन बढ़ता ही जा रहा है।
चीन आयातित सामानों को छूने से फैलता है कोराना वायरस?
अमेरिका के रोग नियंत्रण और रोकथाम केंद्र के मुताबिक किसी भी सामान, पार्सल या कूरियर से कोरोना वायरस नहीं फैलता, क्योंकि किसी भी सतह पर इस वायरस का अस्तित्व खत्म हो जाता है। कहा गया कि चीन से आने वाले उत्पादों या पैकेट से वायरस फैलने का जोखिम बहुत कम है। यानी अगर डिलीवरी बॉय आपके घर चीन से मंगाया कोई सामान लेकर आए तो डरने की जरूरत नहीं, क्योंकि कोरोना वायरस खुली जगह पर जिंदा नहीं रह पाता है।
कोरोना वायरस से बचाव का काम करता है लहसुन!
सोशल मीडिया पर यह भ्रांति भी जोर-शोर से फैल रही हैं कि लहसुन में कुछ रोगाणुरोधी गुण होते हैं, लिहाजा इसको खाना कोरोना से बचा सकता है लेकिन डब्ल्यूएचओ के मुताबिक कोरोना वायरस के प्रकोप से बचने के लिए लहसुन लाभकारी नहीं है। यह बात सही है कि लहसुन बहुत से रोगों में काम आता है, जिसको खाने से प्रतिरोधक क्षमता बढ़ती है, लेकिन कोरोना के मामले में लहसुन के फायदेमंद होने का कोई तथ्य नहीं मिला है। लिहाजा इन चर्चाओं का कोई वैज्ञानिक आधार नहीं है कि लहसुन से आप इससे बच जाएंगे।
नाक में परफ्यूम या ब्लीच लगाने से असरहीन होगा कोरोना वायरस?
सोशल मीडिया पर यह बात भी फैली हुई है कि ब्लीच या क्लोरीन अथवा परफ्यूम के प्रयोग से कोरोना वायरस भाग जाएगा। यह सही है कि ब्लीच में कीटाणुनाशक सॉल्वैंट्स जैसे 75 प्रतिशत इथेनॉल, पैरासिटिक एसिड और क्लोरोफॉर्म होता है, लेकिन तथ्य यह है कि ऐसे कीटनाशकों को त्वचा पर लगाने से कोई फायदा नहीं होता, बल्कि शरीर के लिए ऐसे रसायन खतरनाक और जानलेवा ही हो सकते हैं, क्योंकि कोरोना वायरस सतह पर जिंदा ही नहीं रहते हैं।
खारे पानी को नाक पर लगाने से बचाव हो सकता है?
सोशल मीडिया पर इस तरह की भी पोस्ट वायरल हो रही हैं कि खारे पानी से नाक रगड़ने से कोरोना वायरस से बचा जा सकता है। विश्व स्वास्थ्य संगठन का कहना है कि ऐसा कोई प्रमाण नहीं है जो ऐसा करने से वायरस से बचा जा सकता है।
कोरोना वायरस के खिलाफ माउथवॉश का गरारा कितना फायदेमंद?
माउथवॉश के गरारे से कोरोना वायरस से नहीं बचा जा सकता है। कुछ कंपनियों के माउथवॉश कुछ मिनटों के लिए आपकी लार में रहने वाले विशेष रोगाणुओं को खत्म कर सकते हैं, लेकिन डब्ल्यूएचओ के मुताबिक यह आपको कोरोना वायरस से नहीं बचा सकता है।
कोरोना वायरस के संक्रमण में पालतू जानवरों से कितना खतरा है?
विश्व स्वास्थ्य संगठन के मुताबिक घर के पालतू जानवरों जैसे बिल्ली या कुत्तों से कोरोना वायरस नहीं फैलता। जानवरों से फैलने वाले दूसरे बैक्टीरिया से बचने के लिए पालतू जानवरों को हाथ लगाने के बाद हाथ धोना अपने आप में अच्छी आदत है। वैसे शोधकर्ता कह चुके हैं कि चीन के वुहान शहर में किसी जंगली जानवर से कोरोना वायरस दुनिया भर में फैला है।
इटली में मुंह पर तरबूज और डिस्पोजल बांध कर चल रहे हैं लोग?
डेलीमेल की एक रिपोर्ट के मुताबिक कोरोना वायरस से बचाव के लिए इटली में लोग बैंडेज से लेकर तरबूज का खोखा मुंह पर बांधकर घर से निकल रहे हैंय़ इसके अलावा लोगों को डिस्पोजल ग्लास, समेत चेहरा ढकने वाली हर सामग्री का प्रयोग करते हुए देखा जा रहा है। गौरतलब है इटली भी कोरोना वायरस प्रभावित तीन बड़े देशों में शामिल है। इटली से लौटा शख्स ही भारत में कोरोना वायरस संक्रमण के लिए जिम्मेदार कहा जा रहा है।
ईरान में कोरोना से बचने के लिए मस्जिदों को दरवाजे चाटने लगे लोग
ईरान में चीन के बाद सबसे ज्यादा मौत कोरोना वायरस के कहर से हुई हैं, जहां अब तक 210 लोगों की मौत हो चुकी है, जिससे लोगों में दहशत है और मौत के डर से अंधविश्वास में वहां लोग धार्मिक स्थलों पर लगे दरवाजों को चाटने लगे। एक वीडियो क्लिप में स्थानीय लोगों को मस्जिदों के दरवाजों को चाटते हुए बाकायदा देखा गया है।
आचार्य चक्रपाणि ने गोमूत्र को कोरोना वायरस के लिए प्रभावी बताया
कोरोना वायरस को लेकर के जहां देश की सरकार गंभीर दिखाई पड़ रही है। वहीं इस बीमारी को लेकर अजीबोगरीब बयान आ रहे हैं।हिंदू महासभा ने तो कोरोना से बचाव के लिए टी पार्टी यानी चाय पार्टी की तर्ज पर गोमूत्र पार्टी का आयोजन करने का फैसला किया है. महासभा के राष्ट्रीय अध्यक्ष स्वामी चक्रपाणि ने अपने औपचारिक बयान में कहा है, 'कोरोना से बचाव के लिए हिंदू महासभा टी पार्टी के तर्ज पर जल्द करेगी गोमूत्र पार्टी, आपका भी स्वागत है।'
BJP विधायक बोले, जहां गाय रहती हैं वहां कोरोनावायरस नहीं आ सकता
एक ओर जहां उत्तर प्रदेश सरकार ने कोरोना वायरस को लेकर राज्य में एलर्ट जारी किया है, वहीं उनके ही विधायक नंद किशोर गुर्जर ने अजीबोगरीब बयान देकर सबको कान खुजाने पर मजबूर कर दिया। बीजेपी विधायक ने कहना है कि जहां गांय का वास रहता हैं वहां दुनिया का कोई वायरस नहीं आ सकता है। बकौल नंद किशोर गुर्जर, कोरोना वायरस की हिम्मत नहीं है कि वह लोनी में आ जाएगा, क्योंकि यहां राम राज्य है। यहां 9 गौ शालाएं हैं और लोग धर्म कर्म के प्रति बहुत जागरूक हैं और फिर जहां गाय रहती हैं, वहां दुनिया का कोई वायरस नहीं आ सकता है।
ममता ने दिल्ली के दंगों के साथ की कोरोना वायरस की तुलना
पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने एक विवादित बयान दिया है। उन्होंने दिल्ली के दंगों के साथ कोरोना वाइरस की तुलना की है। टीएमसी प्रमुख ने आरोप लगाते हुए कहा कि दिल्ली में बीजेपी ने लोगों को मारा है। उन्होंने कहा कि कुछ मीडिया चैनल्स दिल्ली दंगों को कोरोना वायरस की खबर दिखाकर ढंकना चाहते हैं। यह एक बीमारी है। लोगों को डरना नहीं चाहिये।
चीनी जिंदा चूहा खा जाते हैं इसलिए फैला है कोरोना वायरस?
इटली के प्रांत वेनेटो के गवर्नर लुका जाइया ने एक टीवी चैनल के माध्यम से कोरोना वायरस के लिए चीन की संस्कृति को जिम्मेदार ठहराया था। उन्होंने लोगों के खान-पान की आदतों में दोष निकालते हुए कहा था कि ये लोग जिंदा चूहा तक खा जाते हैं। हालांकि अपने एक विवादास्पद बयान को लेकर इटली के एक नेता ने माफी मांग ली है।