यौन शोषण मामले में पहले बार जांच कमेटी के सामने पेश हुए जस्टिस रंजन गोगोई
नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश जस्टिस रंजन गोगोई के खिलाफ यौन शोषण का आरोप लगाने वाली महिला ने जस्टिस गोगोई के खिलाफ चल रही जांच प्रक्रिया में शामिल होने से इनकार कर दिया है। महिला के इस फैसले के बाद जस्टिस गोगोई जांच पैनल के सामने पेश हुए। तीन जजों की पैनल इस पूरे मामले की जांच कर रहे हैं, उसने फैसला लिया है कि आरोप लगाने वाली महिला के जांच में शामिल नहीं होने के बाद भी यह जांच प्रक्रिया जारी रहेगी। हालांकि इस पैनल में पेश होने के बाद जस्टिस गोगोई से क्या पूछताछ की गई है, इसकी जानकारी अभी तक सामने नहीं आ सकी है।
पहली बार पेश हुए सीजेआई
जानकारी के अनुसार जस्टिस गोगोई को मंगलवार को पत्र भेजा गया था, जिसमे उनसे अपील की गई थी कि वह जांच कमेटी के सामने पेश हों। यह पहली बार है जब अपने उपर लगे यौन शोषण के आरोपों के बाद जस्टिस गोगोई जांच कमेटी के सामने पेश हुए हैं। बता दें कि तीन जजों की इस कमेटी में जस्टिस एसए बोबडे, इंदिरा बनर्जी, इंदू मल्होत्रा शामिल हैं। इससे पहले मंगलवार को जस्टिस गोगोई के खिलाफ यौन शोषण का आरोप लगाने वाली महिला ने जांच प्रक्रिया में शामिल होने से इनकार कर दिया था।
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महिला ने जांच में शामिल होने से किया इनकार
बता दें कि 30 अप्रैल को महिला अपने लिखित पत्र के साथ कमेटी के सामने पहुंची और उसने बताया था कि आखिर क्यों उसने यौन शोषण की शिकायत सात महीने के बाद की है। महिला का कहना है कि बिना वकील के कमेटी के भीतर मुझे अपना पक्ष रखना काफी मानसिक पीड़ा दे रहा था। महिला ने बयान जारी करके कहा है कि वह अब कमेटी की सुनवाई में हिस्सा नहीं लेगी।
नियमों का पालन नहीं हो रहा
पीड़िता का कहना है कि तीन जजों का पैनल विसाखा गाइडलाइन के अनुसार तय नियमों का पालन नहीं कर रहा है। कमेटी के भीतर का माहौल काफी डरावना है, मैं काफी डरी हुई थी क्योंकि मुझसे सुप्रीम कोर्ट के जज सवाल पूछ रहे थे और वह भी बिना मेरे वकील की मौजूदगी में, मेरी मदद के लिए वहां कोई भी नहीं था। महिला ने यह भी दावा किया है कि कमेटी इस बात को स्वीकार करने के लिए तैयार नहीं है कि मैंने सुप्रीम कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश के खिलाफ शिकायत दर्ज की है। मुझे इस बात की उम्मीद थी कि कमेटी का रवैया मेरे प्रति संवेदनशील होगा और जिसकी मदद से मैं अपनी आप बीती उनके सामने रख पाउंगी। लेकिन कमेटी का रवैया ऐसा नहीं है जिससे कि मुझे डर नहीं लगा, घबराहट ना हो या मैं सदमे में ना जाऊं।
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