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दुनिया को कोरोना वायरस में उलझाकर अपने दूसरे खौफनाक मंसूबे में जुट गया चीन

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नई दिल्ली- पूरी दुनिया इस वक्त कोरोना वायरस से जंग लड़ रही है। लेकिन, जिस देश से निकलकर कोरोना वायरस आज सारी मानवता को खत्म करने पर तुला है, वह अपने दूसरे एजेंडों को अंजाम देने में जुटा हुआ है। हाल में ऐसे कई प्रमाण मिले हैं, जिससे लगता है कि चीन इस मौके का फायदा साउथ चाइना सी पर पूरी तरह से अधिकार जताने के लिए करना चाहता है। चीन की चालबाजियों की वजह से इलाके में पिछले हफ्ते एक बार युद्ध जैसे हालात भी पैदा हो गए थे। मलेशिया और वियतनाम के समुद्री इलाके में अमेरिका और चीन के जंगी जहाज एक साथ पहुंच गए थे।

चीन की हरकतों से अमेरिका के कान खड़े हुए

चीन की हरकतों से अमेरिका के कान खड़े हुए

इस महीने लगातार दूसरी बार अमेरिका का एक जंगी जहाज साउथ चाइना सी में संवेदनशील ताइवान जलसंधि से होकर गुजरा, जिसे शुक्रवार को अमेरिकी सेना ने रुटीन गतिविधि करार दिया है। अमेरिका के इस जंगी जहाज ने इस क्षेत्र में रुटीन गतिविधियां तब की हैं, जब कुछ ही घंटे पहले अमेरिका के सेक्रेटरी ऑफ स्टेट माइक पॉम्पियो ने चीन पर आरोप लगाया है कि दुनिया कोरोना वायरस में उलझी हुई है और चीन उसका फायदा उठाते हुए साउथ चाइना सी में अपने विस्तारवादी मंसूबे को अंजाम देने की कोशिशों में जुटा हुआ है। गौरतलब है कि चीन लगभग पूरे साउथ चाइना सी पर जबरन अपना दावा जताता रहा है, जिसकी वजह से उसका वियतनाम, फिलिपींस, ताइवान, मलेशिया और ब्रूनेई के साथ भयंकर विवाद है।

कोरोना संकट का फायदा उठाने में जुटा चीन

कोरोना संकट का फायदा उठाने में जुटा चीन

अमेरिकी सेक्रेटरी ऑफ स्टेट पॉम्पियो ने हाल ही में दक्षिण-पूर्व एशियाई देशों के 10 सदस्यीय ग्रुप के साथ कोरोना वायरस महामारी को लेकर हुई वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग में भी चीन के मंसूबों पर चिंता जताई थी और इस बात का जिक्र किया था कि इस महीने की शुरुआत में ड्रैगन ने किस तरह से क्षेत्र की विवादित द्वीपों और समुद्री क्षेत्रों को अपने प्रशासनिक जिले घोषित कर दिए हैं और वियतनाम के एक मछली पकड़ने वाले जहाज को डुबा दिया। उन्होंने कहा, 'बीजिंग ने ध्यान बंटे होने (कोरोना वायरस) का फायदा उठाने की कोशिश की है।' उन्होंने आरोप लगाया कि दूसरों को क्षेत्र में गैस और तेल प्रोजेक्ट विकसित करने से डराने के लिए वो वहां अपने जंगी जहाज तैनात कर रहा है।

साउथ चाइना सी पर पूरा कब्जा करने का है मंसूबा

साउथ चाइना सी पर पूरा कब्जा करने का है मंसूबा

बता दें कि चीन लगभग पूरे साउथ चाइना सी और वहां की द्वीपों और समुद्री चट्टानों पर अपना दावा जताता है। इस महीने उसने इलाके पर अपनी संप्रभुता जताने के मकसद से दो प्रशासनिक जिले बनाने की घोषणा की थी, ताकि वह कानूनी तौर पर इसपर अपना हक जता सके। लेकिन, हकीकत ये है कि वह बहुत ही धूर्तता के साथ यहां अपना जाल फैला रहा है और पूरा सैन्य बेस तैयार कर चुका है। यह ऐसा इलाका है, जहां से होकर दुनिया भर के व्यापारिक जहाज गुजरते हैं और इसलिए अमेरिका भी चुप बैठने को तैयार नहीं है। दूसरी ओर भारत के लिए भी यह इलाका व्यापारिक और सामरिक दृष्टिकोण से बहुत ही अहम है।

भारत के हितों को भी प्रभावित कर रहा है चीन

भारत के हितों को भी प्रभावित कर रहा है चीन

दक्षिण चीन सागर में चीन के नए हथकंडों और अमेरिकी प्रतिक्रियाओं पर भारत ने अभी तक कोई आधिकारिक बयान नहीं दिया है। लेकिन, भारत इस सामरिक महत्त्व के क्षेत्र में अपने हितों को कतई नजरअंदाज भी नहीं कर सकता। गौरतलब है कि भारत के 55 फीसदी समुद्री व्यापार साउथ चाइना सी से के जरिए ही होते हैं। सच तो ये है कि वियतनाम के सहयोग से भारतीय सार्वजनिक उपक्रम ओएनजीसी विदेश भी यहां तेल और गैस उत्पादन करता है और चीन की हाल की कार्रवाई ने भारत को सीधा प्रभावित किया है। वैसे कूटनीतिक तौर पर भारत इस विवाद का शांतिपूर्ण हल निकालने की वकालत करता रहा है।

जापान से भी उलझ चुका है चीन

जापान से भी उलझ चुका है चीन

चीन की गुस्ताखी यहीं तक खत्म नहीं हुई है। उसके कोस्ट गार्ड के चार जहाजों ने पिछले हफ्ते पूर्वी चीन सागर में जापान के नियंत्रण वाले द्वीपों में भी घुसपैठ की कोशिश की थी। चीन उसे भी अपना इलाका दियाओयू बताता है। हालांकि जापानी विदेश मंत्री तोशिमित्सु मोटेगी ने फौरन फोन उठाकर चीन से अपना विरोध जता दिया। फिलीपींस भी पश्चिमी फिलीपींस सांगर में चीनी घुसपैठ के खिलाफ अंतरराष्ट्रीय कानूनों और फिलीपींस की संप्रभुता के उल्लंघन के लिए कूटनीतिक स्तर पर विरोध जता चुका है।

मलेशिया से भी उलझा चीन

मलेशिया से भी उलझा चीन

इसी तरह चीन हाल ही में मलेशिया से भी उलझ चुका है। मलेशिया का जहाज जिस समुद्री इलाके को अपना बताकर वहां ऊर्जा के स्रोत ढूंढ़ने पहुंचा था वहां चीन ने भी अपना एक बड़ा जहाज उतार दिया। उस इलाके पर चीन और वियतनाम भी अपने-अपने दावे करते हैं। इसकी वजह से वहां अमेरिका के भी जंगी जहाज पहुंच गए और न्यूज रिपोर्ट्स के मुताबिक पिछले हफ्ते स्थिति ऐसी बन गई थी कि पांच देशों की मौजूदगी से सीधे विवाद के हालात पैदा हो गए थे।

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English summary
China got involved in its other creepy agenda in South China Sea,entangling the world with coronavirus
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