क्विक अलर्ट के लिए
अभी सब्सक्राइव करें  
क्विक अलर्ट के लिए
नोटिफिकेशन ऑन करें  
For Daily Alerts
Oneindia App Download

Chhath Puja First Arghya time: थोड़ी देर में दिया जाएगा सूर्य देवता को पहला अर्घ्‍य, जानिए क्या है मुहूर्त

Google Oneindia News

Chhath Puja First Arghya time: इस वक्त पूरा बिहार लोक आस्था के महापर्व 'छठ' के रंग में रंगा हुआ है, आज शाम सूर्य भगवान को पहला अर्घ्य दिया जाएगा, इसके बाद 21 नवंबर यानी की कल सुबह उगते हुए सूर्य को अर्घ्य देने के बाद छठ पूजा का समापन होगा, मालूम हो गुरुवार को सूर्यदेव को भोग लगाने के बाद से 36 घंटे का निर्जला व्रत शुरू हो गया था।

Recommended Video

Chhath महापर्व का पहला अर्घ्य आज, श्रद्धालू अस्ताचलगामी सूर्य की करेंगे पूजा | वनइंडिया हिंदी
Chhath Puja 2020: आज दिया जाएगा सूर्य देवता को पहला अर्घ्‍य

ये है अर्घ्य का मुहूर्त

क्या है अर्घ्य का महत्व

प्रथम अर्घ्य के बाद अगली सुबह का अर्घ्य प्रातः कालीन उदित सूर्य का होता है। पानी में खड़े होकर यह अर्घ्य दिया जाता है। प्रथम अर्घ्य और द्वितीय अर्घ्य के बीच का समय ही तप का होता है जिसमें हम छठ माता को प्रसन्न करते हैं। बता दें कि ये अकेला ऐसा व्रत है , जिसमें डूबते हुए सूरज ( अस्तांचल) और उगते हुए सूरज ( उदित सूर्य) दोनों की पूजा की जाती है। मालूम हो कि लोकआस्था का पर्व छठ की काफी मान्यता है, अथर्ववेद के अनुसार षष्ठी देवी भगवान भास्कर की मानस बहन हैं। भगवान सूर्य तेजस्वी और यशस्वी पुत्र देते हैं।

क्या है उगते और अस्त होने वाले सूर्य के अर्ध्य का महत्व

उदित सूर्य एक नए सवेरा का प्रतीक है, अस्त होता हुआ सूर्य केवल विश्राम का प्रतीक है इसलिए छठ पूजा के पहले दिन अस्त होते हुए सूर्य को पहला अर्घ्य देते हैं, जो लोगों को ये बताता है कि दुनिया खत्म नहीं हुई, कल फिर सवेरा होगा।

छठ देवी सूर्य देव की बहन हैं

मनोवांछित फल देने वाले इस पर्व को पुरुष और महिला समान रूप से मनाते हैं, परंतु आम तौर पर व्रत करने वालों में महिलाओं की संख्या अधिक होती है। प्राचीन धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, इस अनुपम महापर्व को लेकर कई कथाएं प्रचलित हैं। छठ पूजा का प्रारंभ महाभारत काल के समय से देखा जा सकता है। छठ देवी सूर्य देव की बहन हैं और उन्हीं को प्रसन्न करने के लिए भगवान सूर्य की अराधना की जाती है। व्रत करने वाले मां गंगा और यमुना या किसी नदी या जलाशयों के किनारे अराधना करते हैं।

यह पढ़ें: क्रोध के बदले क्रोध और प्रेम के बदले प्रेम ही मिलता है, पढ़ें ये कहानीयह पढ़ें: क्रोध के बदले क्रोध और प्रेम के बदले प्रेम ही मिलता है, पढ़ें ये कहानी

Comments
English summary
The Third day Chhath puja prasad is being prepared on this day. A bamboo basket is decorated with Prasad and fruits. Here is timing and Importance on first or sandhya Surya arghya.
देश-दुनिया की ताज़ा ख़बरों से अपडेट रहने के लिए Oneindia Hindi के फेसबुक पेज को लाइक करें
For Daily Alerts
तुरंत पाएं न्यूज अपडेट
Enable
x
Notification Settings X
Time Settings
Done
Clear Notification X
Do you want to clear all the notifications from your inbox?
Settings X
X