रिपोर्टर के साथ मारपीट के बाद पत्रकारों ने हेलमेट पहनकर भाजपा नेता से की बात
नई दिल्ली। छत्तीसगढ़ के रायपुर में जिस तरह से पत्रकार के साथ मारपीट का मामला सामने आया था उसके बाद पत्रकारों ने अनूठे अंदाज में अपना विरोध प्रदर्शन शुरू कर दिया है। तमाम पत्रकारों ने रायपुर में भाजपा के जिला मुखिया राजीव अग्रवाल के खिलाफ प्रदर्शन प्रदर्शन शुरू कर दिया है। राजीव अग्रवाल सहित तीन अन्य लोगों को पत्रकार सुमन पांडे के साथ मारपीट के आरोप में गिरफ्तार कर लिया गया था। बुधवार को जब तमाम पत्रकार भाजपा नेता से बात करने के लिए आए तो उन लोगों ने हेलमेट पहना था। रायपुर प्रेस क्लब के अध्यक्ष दामू अमेदरे ने कहा कि हमने विरोध करने के लिए हेलमेट पहना था।
प्रदर्शन
अमेदरे ने बताया कि अब जब भी भाजपा नेता की प्रेस कॉफ्रेंस होगी या वह साउंड बाइट देंगे हम अपनी सुरक्षा को लेकर किसी भी तरह का जोखिम नहीं ले सकते हैं, लिहाजा हम हेलमेट पहनकर ही इसमे हिस्सा लेंगे। उन्होंने बताया कि 500-600 सिटी रिपोर्टर्स हेलमेट पहनकर अपना विरोध प्रदर्शन दर्ज करा रहे हैं। वह हेलमेट पहनकर और बाइक रैली निकालकर पत्रकार के साथ मारपीट की घटना का विरोध कर रहे हैं। मंगलवार को एक बाइक रैली का आयोजन किया गया था। इस दौरान भाजपा कार्यालय के सामने पत्रकारों ने जमकर नारेबाजी की गई।
पत्रकारों की मांग
रायपुर के स्थानीय पत्रकारों ने बताया कि हमारी भाजपा से दो मांग है। हम चाहते हैं कि राजीव अग्रवाल को पार्टी से बाहर का रास्ता दिखाया जाए। साथ ही पत्रकारों की सुरक्षा के लिए नया कानून बनाया जाए, जैसा कि छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने वायदा किया था। पत्रकारों की मांग है कि आने वाले विधानसभा के सत्र में इस कानून को पास किया जाए।
हमने मांफी मांगी
शनिवार को हुई घटना के बाद भाजपा के नेता सुभाष राव ने कहा कि मीडिया से कहा गया था कि वह फोटो लेने और बात करने के बाद वह बाहर चले जाए, लेकिन सुमन पांडे बाहर नहीं गए। वह पार्टी की बैठक की जासूसी कर रहे थे और इसका वीडियो बना रहे थे इसी वजह से उन्हें पार्टी कार्यालय से बाहर कर दिया गया था। मीडिया तो मीडिया है वह इस मुद्दे को सनसनी बनाएगा। भाजपा ने मीडिया के लिए सबकुछ किया है, हमने हाथ जोड़कर माफी भी मांगी है, आखिर आप हमसे और क्या चाहते हैं।
समीक्षा बैठक
आपको
बता
दें
कि
शनिवार
को
पीयूष
पांडे
भाजपा
के
डिविजन
ऑफिस
में
कई
पत्रकारों
के
साथ
मौजूद
थे।
यह
तमाम
पत्रकार
यहां
आंतरिक
समीक्षा
को
कवर
करने
के
लिए
आए
थे।
यह
समीक्षा
बैठक
प्रदेश
में
पार्टी
की
हाल
में
हुई
हार
की
वजह
पर
मंथन
को
लेकर
की
गई
थी।
इसी
दौरान
पार्टी
के
नेताओं
की
पांडे
से
इस
बात
को
लेकर
बहस
हुई
कि
वह
फोन
पर
घटना
को
रिकॉर्ड
कर
रहे
थे।
वरिष्ठ
पत्रकार
संजीव
गुप्ता
ने
बताया
कि
इस
दौरान
भाजपा
नेता
ने
उन्हें
रोकने
की
कोशिश
की
और
उन्हें
आईडी
कार्ड
दिखाने
के
लिए
कहा,
लेकिन
शायद
उनके
पास
आईडी
कार्ड
नहीं
था।
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