भारत-चीन तनाव के बीच संसदीय समिति के सामने पेश हुए CDS बिपिन रावत, बैठक में राहुल गांधी ने भी लिया हिस्सा
नई दिल्ली। भारत और चीन के बीच लद्दाख में एलएसी पर लंबे समय जारी गतिरोध के बीच, सीडीएस बिपिन रावत शुक्रवार को रक्षा मामलों के संसदीय पैनल के सामने उपस्थित हुए। हालांकि बैठक का आधिकारिक एजेंडा 'सुरक्षा बलों को विशेष रूप से सीमा क्षेत्रों में राशन और वस्तुओं की गुणवत्ता के प्रावधान और निगरानी' के रूप में सूचीबद्ध किया गया था। हालांकि पैनल में शामिल कुछ सदस्यों ने कहा है कि वे लद्दाख स्थिति का मुद्दा उठाएंगे।
रक्षा संबंधी संसदीय स्थायी समिति की अध्यक्षता भाजपा नेता जुएल ओराम करते हैं। शुक्रवार को बैठक में शामिल होने वाले सदस्यों में राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के प्रमुख शरद पवार और कांग्रेस नेता राहुल गांधी शामिल थे। लोकसभा चुनाव के बाद पिछले साल पैनल में नामांकित होने के बाद यह संभवत: पहली बार है जब राहुल गांधी समिति की बैठक में भाग ले रहे हैं। इससे पहले शरद पवार ने कहा था कि वह लद्दाख में एलएसी की स्थिति पर पैनल के सदस्यों के लिए एक प्रेजेंटेशन मांगेंगे।
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इसी बीच रक्षामंत्री राजनाथ सिंह के नेतृत्व में शुक्रवार को उच्चस्तरीय बैठक हुई। इसमें राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोवल, चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ बिपिन रावत और तीनों सेनाओं के प्रमुख मौजूद रहे हैं। सभी शीर्ष अधिकारियों ने एएलसी पर उत्पन्न हुईं मौजूदा परिस्थितियों पर मंथन किया और देश को सुरक्षित रखने पर गंभीरता से विचार किया। यह बैठक लगभग दो घंटे तक चली।
यह बैठक ऐसे वक्त में हुई है जब सीमा पर भारत-चीन के ब्रिगेड कमांडर्स स्तर के सुरक्षा अधिकारी सुबह 11 बजे से बातचीत कर रहे हैं। बता दें कि, मई की शुरुआत से पूर्वी लद्दाख में एलएसी से सटे कई इलाकों में तनावपूर्ण गतिरोध के बाद भारतीय सेना और चीनी पीपुल्स लिबरेशन आर्मी तैनात है। दोनों पक्षों के बीच 45 साल में पहली बार एलएसी पर गोलीबारी हुई, जिसमें दोनों पक्षों ने एक-दूसरे पर हवा में गोलीबारी का आरोप लगाया है।