कोविड महामारी के बीच 2020 में सीबीआई ने करीब 800 केस किए सॉल्व
नई दिल्ली। CBI disposed about 800 cases in 2020. कोविड -19 महामारी (coronavirus pandemic) के मद्देनजर विभिन्न चुनौतियों का सामना करने के बावजूद, केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) ने 2020 में लगभग 800 मामलों की जांच पूरी की है। सीबीआई ने इस साल हाथरस बलात्कार मामले में, सतानकुलम हिरासत मौत मामले, बैंक धोखाधड़ी हाई प्रोफाइल कई केसों की जांच पूरी की है। हालांकि 2020 का सबसे बड़ा केस सुंशांत सिंह सुसाइड केस की जांच अभी जारी है।
कोरोना काल में कई सीबीआई अधिकारियों ने गवाई जान
नए साल के अवसर पर वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए , सीबीआई निदेशक ऋषि कुमार शुक्ला ने अधिकारियों को बधाई दी और महामारी के बीच उनके काम की सराहना की। सीबीआई निदेशक ने एजेंसी के उन अधिकारियों और कर्मचारियों के परिवार के सदस्यों के प्रति अपनी संवेदना व्यक्त की, जिन्होंने सभी संभव सावधानियों के बावजूद घातक वायरल बीमारी के कारण अपनी जान गंवा दी। उन्होंने उन्हें हरसंभव सहायता का आश्वासन दिया।
ये केस किए सॉल्व
सीबीआई चीफ ने कहा कि कोविड-19 महामारी से जुड़ी बाधाओं से लड़ते हुए, सीबीआई ने हाथरस बलात्कार मामले में, सतानकुलम हिरासत मौत मामले, बैंक धोखाधड़ी के मामलों में अपनी जांच पूरी की और भगोड़े शराब कारोबारी विजय माल्या के खिलाफ कानूनी लड़ाई जीती जो लंदन में अपने प्रत्यर्पण की कार्यवाही का विरोध कर रहा था। इससे उन्हें वर्तमान जांच विधियों में से कुछ का अनुभव प्राप्त करने में मदद मिलेगी और इससे उनकी टीम को प्रक्रिया को तेज करने के उद्देश्य से जांच को बेहतर बनाने में मदद मिलेगी।
2020 के दौरान 800 के करीब मामलों का निस्तारण किया गया
सीबीआई निदेशक ने यह भी बताया कि कोविड-19 महामारी की भारी चुनौतियों के बावजूद वर्ष (2020) के दौरान 800 के करीब मामलों का निस्तारण किया गया, कोविड-19 के चलते जीवन के विभिन्न क्षेत्रों में संचालन में जबरदस्त बाधा उत्पन्न हुई। शुक्ला ने कहा, आपके सहयोग और प्रयासों से, हम अपने लक्ष्यों को प्राप्त करने के लिए पर्याप्त संख्या में मामलों की जांच को अंतिम रूप देने में सक्षम हुए हैं। हमें आने वाले दिनों में कड़ी मेहनत करने की जरूरत है।
लिया ये प्रण
शुक्ला ने एजेंसी के अधिकारियों को निरंतर प्रशिक्षण के माध्यम से जांच के नवीनतम उपकरणों के साथ खुद को अपडेट रखने के लिए भी कहा। एजेंसी प्रमुख ने हाल ही में सिस्टर अभया की हत्या के मामले का भी उल्लेख किया जिसमें 28 साल बाद दोषसिद्धि हुई। उन्होंने कहा कि हाल ही में, बड़ी संख्या में उच्च मूल्य के बैंक धोखाधड़ी के मामलों की जांच हाथ में ली गई, जो एजेंसी के लिए एक उभरती चुनौती है।
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