VIDEO: गोडसे को लेकर लोकसभा में दिए बयान पर पत्रकारों ने पूछे सवाल तो क्या बोलीं प्रज्ञा ठाकुर
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नई दिल्ली। भोपाल से बीजेपी सांसद प्रज्ञा सिंह ठाकुर ने लोकसभा में बुधवार को नाथूराम गोडसे को 'देशभक्त' कहा है। प्रज्ञा सिंह ठाकुर ने ये बयान लोकसभा में एसपीजी अमेंडमेंट बिल पर डिबेट के दौरान दिया। साध्वी प्रज्ञा के बयान के बाद अब विपक्ष ने तीखा हमला बोला है। साध्वी प्रज्ञा के बयान के बाद बीजेपी भी बैकफुट पर नजर आ रही है। सदन में प्रज्ञा के इस बयान के बाद बीजेपी के कई सदस्य ने उन्हें बैठने के लिए भी कहा है।
बयान पर विवाद बढ़ने के बाद जब संसद से बाहर पत्रकारों ने प्रज्ञा सिंह ठाकुर से पूछा तो उन्होंने इस पर सफाई दी। प्रज्ञा ने कहा, 'पहले उसको पूरा सुनिए, मैं कल जवाब दूंगी।प्रज्ञा ने कहा कि सदन में चर्चा के दौरान ए. राजा ऐसा जताने की कोशिश कर रहे थे जैसे सभी देशभक्त देश के दुश्मन और आतंकवादी हों। उन्होंने कहा, 'सुरक्षा के मुद्दे पर चर्चा हो रही थी और ए. राजा देशभक्त उधम सिंह के बारे में बात कर रहे थे।
उन्होंने कहा कि उधम सिंह ने जालियावाला बाग हत्याकांड के बाद जनरल डायर की हत्या से पहले 20 सालों तक उसके प्रति रंजिश पाल रखी थी। जब राजा ने बोलना जारी रखा तो मैंने टोकते हुए कहा कि देशभक्तों का नाम मत लीजिए।' प्रज्ञा ने दावा किया कि उनका बयान गोडसे के लिए नहीं था। उन्होंने कहा, 'यह नाथूराम गोडसे के लिए नहीं था। मैंने उन्हें तब टोका जब उन्होंने उधम सिंह का नाम लिया। उसके बाद स्पीकर ने मुझे बैठने के लिए कहा और मैं बैठ गई।
साध्वी प्रज्ञा द्वारा संसद में गोड्से को देशभक्त बताने पर कांग्रेस ने तीखा हमला बोला है। कांग्रेस के मुख्य प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाल ने ट्वीट कर कहा कि देश गांधी जयंती का 150वाँ साल मना रहा है, और भाजपा सांसद,प्रज्ञा ठाकुर गांधी जी के हत्यारे गोडसे को 'शहीद' बता महिमामंडन कर रही हैं। गोडसे की सोच के भाजपाईयों ने जो गाँधी वादी मुखौटा लगाया था, आज संसद में उतर गया। मोदी जी, देश अब आपको व भाजपा को कभी 'मन से माफ नही करेगा'।
दरअसल, लोकसभा में एसपीजी संशोधन बिल पर डीएमके सांसद ए राजा अपनी राय रख रहे थे। इस दौरान ए राजा ने गोडसे के एक बयान का जिक्र किया जिसमें गोडसे ने कहा कि था कि उसने महात्मा गांधी को क्यों मारा था। जब ए राजा बोल ही रहे थे उसी समय प्रज्ञा ठाकुर ने बीच में दखल देते हुए कहा कि आप एक देशभक्त का उदाहरण नहीं दे सकते हैं। उनके इस बयान के बाद लोकसभा में हंगामा मच गया। हालांकि प्रज्ञा सिंह ठाकुर के बयान को लोकसभा की कार्यवाही से हटा दिया गया है।
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