हार के बाद निशाने पर सीएम योगी, रमाकांत यादव बोले- 'पूजा-पाठ करने वाले क्या जानें सरकार चलाना'
यूपी में सीएम योगी आदित्यनाथ के गढ़ गोरखपुर और डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य की लोकसभा सीट फूलपुर गंवाने के बाद भाजपा में हार के साइड इफेक्ट नजर आने लगे हैं।
नई दिल्ली। यूपी में सीएम योगी आदित्यनाथ के गढ़ गोरखपुर और डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य की लोकसभा सीट फूलपुर गंवाने के बाद भाजपा में हार के साइड इफेक्ट नजर आने लगे हैं। पार्टी के अंदर से ही नेतृत्व को लेकर सवाल उठने शुरू हो गए हैं। इलाहाबाद सीट से भाजपा सांसद श्याम चरण गुप्ता के बाद अब पूर्व सांसद और बाहुबली भाजपा नेता रमाकांत यादव ने सीधे सीएम योगी आदित्यनाथ को निशाने पर लिया है। रमाकांत यादव ने पार्टी की हार के लिए सीएम योगी को ही जिम्मेदार ठहराया है।
'केवल एक जाति को बढ़ावा दिया'
सीएम योगी पर सीधा हमला बोलते हुए रमाकांत यादव ने कहा, 'पूजा-पाठ करने वाले लोग क्या जानें सरकार चलाना, कितने दिन सरकार चलाएंगे। योगी जैसे लोग सबको साथ लेकर नहीं चल सकते। जब योगी सीएम बने तो मुझे लगा था कि वो सबको साथ लेकर चलेंगे, लेकिन उन्होंने केवल एक जाति को आगे बढ़ाने का काम किया, इससे दूसरी जातियों और पूरे प्रदेश में गलत संदेश गया।
'यही हाल रहा तो खामियाजा 2019 में भी भुगतेंगे'
पूर्व सांसद रमाकांत ने कहा कि यह प्रदेश का चुनाव है, इसमें हार की जिम्मेदारी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की नहीं, बल्कि प्रदेश संगठन और मुख्यमंत्री की है। उन्होंने कहा कि यूपी में पिछड़ों और दलितों ने भाजपा को पूर्ण बहुमत दिया और सरकार बनने के बाद उन्हें ऐसे भुला दिया गया, जैसे मकान बनने के बाद सटरिंग हटा दी जाती है। रमाकांत ने कहा कि अगर यही हाल रहा तो इसका खामियाजा 2019 में भी भुगतना होगा।
'दलित और पिछड़ों की उपेक्षा से हारे'
रमाकांत यादव ने मीडिया के सामने कहा कि सीएम योगी आदित्यनाथ केवल एक जाति को साथ लेकर चल रहे हैं। इससे पूरे प्रदेश में एक गलत मैसेज गया है। गोरखपुर और फूलपुर में सपा-बसपा गठबंधन की जीत नहीं हुई है, बल्कि भाजपा की हार हुई है। प्रदेश में दलित और पिछड़ों की उपेक्षा की गई, जिसका परिणाम हमें हार के रूप में भुगतना पड़ा। रमाकांत यादव ने कहा कि आरक्षण से छेड़छाड़ की कोशिश से दलितों में भी नाराजगी है।
ये भी पढ़ें- BJP सांसद ने कहा, हमारे काम करने के तरीके और सोच में ही खामी