कोरोना वायरस के डर से फिर बंद हुआ वृंदावन का बांके बिहारी मंदिर, भीड़ नियंत्रित करना हो रहा था मुश्किल
वृंदावन। भगवान श्री कृष्ण के भव्य दर्शन के लिए वृंदावन और मथुरा दुनियाभर में जाने जाते हैं। यहां देश विदेश से लोग भगवान के दर्शन के लिए आते हैं। लेकिन कोरोना वायरस महामारी के कारण मार्च के बाद से यहां के मंदिर बंद थे। महज एक हफ्ते पहले ही मंदिरों को खोला गया था, लेकिन बड़ी संख्या में श्रद्धालु दर्शन के लिए पहुंचे, जिसके बाद वृंदावन के बांके बिहारी मंदिर के अधिकारियों को एक बार फिर मंदिर बंद करने का फैसला लेना पड़ा। सूत्रों के अनुसार, मंदिर प्रशासन ने गुजरात, पंजाब, हरियाणा, दिल्ली, मध्य प्रदेश, राजस्थान और महाराष्ट्र से आने वाले श्रद्धालुओं की भीड़ को नियंत्रित करने के लिए अतिरिक्त पुलिसबल की मांग की है।
दर्शन के लिए पहुंचे लोगों का कहना है कि वह पिछले सात महीनों से मंदिर खुलने का इंतजार कर रहे थे, जैसे ही मंदिर के द्वार खुले, वह तुरंत दर्शन के लिए पहुंच गए। एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी का कहना है कि कई श्रद्धालु सामाजिक दूरी का पालन नहीं कर रहे हैं और ना ही मास्क पहन रहे हैं। जिससे कोविड-19 महामारी को नियंत्रित करना मुश्किल हो रहा है। एक सेवायत का कहना है कि मंदिर के द्वार श्रद्धालुओं के लिए 22 मार्च को बंद किए गए थे। इसके बाद इन्हें 17 अक्टूबर को खोला गया लेकिन मंदिर खुलने के बाद से भीड़ को नियंत्रित करना मुश्किल हो गया था।
दरअसल मंदिर के अंदर केवल पांच लोग ही एक बार में दर्शन के लिए जा सकते थे और एक दिन में 400 लोग ही दर्शन कर सकते थे। इसके कारण मंदिर के बाहर भीड़ लगने लगी। पहले दिन ही 2 हजार से अधिक श्रद्धालु मंदिर के द्वार पर खडे़ रहे। इसलिए संक्रमण से सभी की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए प्रबंधन ने फैसला लिया कि जब तक बहतर प्रबंधन की व्यवस्था नहीं हो जाती, तब तक मंदिर को अस्थायी रूप से बंद किया जाएगा। मंदिर के प्रबंधक मुंतेश शर्मा ने पुष्टि की है कि मंदिर को अनिश्चित काल के लिए बंद कर दिया गया है और भविष्य में, 'दर्शन' केवल ऑनलाइन पंजीकरण के माध्यम से संभव होगा।