बेटी के बुर्का पहनने पर तस्लीमा नसरीन ने उठाए थे सवाल, अब एआर रहमान ने दिया ये जवाब
नई दिल्ली। बांग्लादेश की जानी-मानी लेखिका तस्लीमा नसरीन ने मशहूर संगीतकार एआर रहमान की बेटी के बुर्का पहनने को लेकर सवाल उठाए थे। तस्लीमा नसरीन ने कहा था कि उनको एआर रहमान का म्यूजिक बेहद पसंद है। लेकिन जब भी वह उनकी बेटी को देखती हैं तो उनको घुटन होती है, यह जानना बहुत ही अवसाद देने वाला है कि कल्चर फैमिली में पढ़ी-लिखी एक महिला का कैसे आसानी से ब्रेनवॉश हो सकता है। उनके इस कमेंट पर खतीजा रहना ने करारा जवाब दिया था। वहीं, अब एआर रहमान ने भी तस्लीमा के बयान पर प्रतिक्रिया दी है।
क्या बोले एआर रहमान
एआर रहमान ने एक इंटरव्यू के दौरान कहा, 'मुझे लगता है कि अगर बच्चों को उस तरीके से पालेंगे, जिसमें उन्हें हमारी समस्याओं और हमारी परेशानियों के बारे में पता हो। उनको पता है कि अच्छा और बुरा हमसे विरासत में मिला है। जो है बस यही है। उन्हें स्वतंत्र इच्छा दी जाती है और उसने (खतीजा रहमान) ऐसा किया।' रहमान ने आगे कहा, 'मैंने बेटी से पूछा से कि क्या वह क्या अगले सवाल का भी जवाब भी देगी, तो खतीजा ने कहा कि नहीं, मैं जवाब दे चुकी।'
खतीजा ने दिया था तस्लीमा नसरीन को जवाब
तस्लीमा नसरीन के इस कमेंट की काफी आलोचना हुई थी। खतीजा रहमान ने भी उनको करारा जवाब देते हुए कहा था कि महिलाओं को नीचा दिखाना फेमिनिज्म नहीं होता है। खतीजा ने अपने इंस्ट्रागाम में एक पोस्ट लिखी थी, जिसमें उन्होंने कहा कि मैं माफी चाहूंगी कि आपको मेरे कपड़ों को देख घुटन होती है। आप प्लीज जाकर साफ-सुथरी हवा खाइए क्योंकि मुझे ये कपड़े पहन बिल्कुल भी घुटन नहीं होती बल्कि मैं बहुत ही गर्व महसूस करती हूं, सशक्त महसूस करती हूं। आप पहले गूगल पर फेमिनिज्म का मतलब जरूर देख लीजिए क्योंकि दूसरी महिलाओं को नीचा दिखाना और किसी के पिता को ऐसे मुद्दों में घसीटना फेमिनिज्म नहीं होता है।
रहमान ने पहले भी दिया था इसपर जवाब
पिछले साल फिल्म 'स्लमडॉग मिलियनेयर' फिल्म के 10 साल पूरे होने के जश्न में एआर रहमान के साथ उनकी बेटी खतीजा भी आईं थीं। इवेंट में उनका बुर्का पहनना सोशल मीडिया पर चर्चा बन गया था। इसको लेकर सोशल मीडिया पर कई लोगों ने सवाल उठाए थे, जिसपर मशहूर संगीतकार ने बेटी की बुर्का पहनने पर हो रही आलोचनाओं को लेकर जवाब दिया था। ऑस्कर विजेता संगीतकार ने अपनी बेटी के बुर्का पहनने पर कहा था कि वो बेटी के कपड़ों को लेकर फैसला नहीं करते हैं। उसे अपनी पसंद की पोशाक चुनने अधिकार है।