लोकसभा चुनाव में कांग्रेस की हार पर बोले आनंद शर्मा, मैनिफेस्टो में AFSPA और राजद्रोह के जिक्र ने किया नुकसान
नई दिल्ली: राहुल गाधी के कांग्रेस के अध्यक्ष पद से इस्तीफे की पेशकश पर अडिग रहने के बाद पार्टी में नेतृत्व को लेकर अनिश्चितता जारी है। कांग्रेस के राज्यसभा सांसद आनंद शर्मा ने गुरुवार को कांग्रेस की हार पर बड़ा बयान दिया। उन्होंने कहा कि कांग्रेस ने अपने घोषणापत्र में कई गलतियां की, जिसका नुकसान पार्टी को चुनाव में हुआ। उन्होंने कहा कि आर्म्ड फोर्सेज स्पेशल पावर्स ऐक्ट(अफस्पा) और राजद्रोह कानून को हटाने जैसी बातों का मैनिफेस्टों में जिक्र करने से पार्टी को नुकसान हुआ। उन्होने कहा कि हमने कभी नहीं सोचा था कि हमारी इतनी बड़ी हार होगी।
आनंद शर्मा ने मैनिफेस्टो को बताया जिम्मेदार
कांग्रेस नेता ने कहा कि जम्मू-कश्मीर में विशेष रूप से सेना की तैनाती को कम करने की बात भी कही थी। बीजेपी ने पुलवामा हमले और बालाकोट एयर स्ट्र्राइक का राजनीतिकरण करते हुए इसका इस्तेमाल अपने फायदे के लिए किया। उन्होंने कहा कि बीजेपी ने कांग्रेस के घोषणापत्र में दिए गए संदर्भों को तोड़-मरोड़कर और गलत तरीके से प्रचारित किया। शर्मा ने एचटीएन तिरंगा टीवी से कहा कि हां, पार्टी में एक संकट है क्योंकि हम इतनी बड़ी हार की उम्मीद नहीं कर रहे थे। अनिश्चितता पार्टी के लिए अच्छी नहीं है और हमें ईमानदारी से आगे बढ़ना चाहिए।
बीजेपी पर बोला हमला
आनंद शर्मा ने बीजेपी पर हमला बोलते हुए कांग्रेस के घोषणापत्र में अफस्पा, राजद्रोह का जिक्र करने को बीजेपी ने मुद्दा बनाया। मैं दोष नहीं दे सकता। ये कठिन चुनाव था और बीजेपी ने ऐसा किया। कांग्रेस के घोषणापत्र पर बीजेपी ने तीखा हमला बोलते हुए कहा था कि कि इसमें कुछ बेहद खतरनाक विचार हैं। उन्होंने इसे इसे टुकड़े-टुकड़े गैंग के समर्थन के तौर पर पेश किया था। साल 2016 में संसद पर हमले के दोषी अफजल गुरू को लेकर एक कार्यक्रम जेएनयू में आयोजित किया गया था, जिसमें कथित तौर पर देश विरोधी नारे लगे थे।
न्याय स्कीम पर देरी से हुआ नुकसान
कांग्रेस की सीनियर नेता ने हार के अन्य कारणों के बारे में बात करते हुए कहा कि ‘न्याय' योजना के बारे में देर से बात करना भी नुकसान का एक कारण रहा। यदि इसके बारे में 6 महीने पहले बात की जाती तो इसका असर पड़ सकता था, लेकिन देर से आने के कारण यह मोदी सरकार की प्रधानमंत्री किसान स्कीम का मुकाबला नहीं कर पाई। इस स्कीम में लोगों को पहले ही कैश मिलने लगा था। साथ ही उन्होंने कमजोर काडर और संगठन में शिथिलता को भी हार की वजह बताया।
कांग्रेस को मिली करारी हार
लोकसभा चुनाव 2019 में कांग्रेस को करारी हार मिली वो कुल लोकसभा सीटों की दस फीसदी सीटें भी हासिल नहीं कर पाई। हालांकि वो साल 2014 के 44 सीटों से आगे बढ़ी। कांग्रेस को इस चुनाव में 52 सीटें मिली। वहीं बीजेपी ने शानदार प्रदर्शन करते हुए 303 सीट हासिल की। एनडीए गठबंधन को 350 से ज्यादा सीटें मिली। कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष खुद अमेठी से चुनाव हारे, जो गांधी परिवार की परपंरागत सीट है।
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