'मोदी SIT के सामने पेश हुए, लेकिन धरने-प्रदर्शन का नाटक नहीं किया', राहुल के सत्याग्रह पर अमित शाह का तंज
'मोदी SIT के सामने पेश हुए, लेकिन धरने-प्रदर्शन का नाटक नहीं किया',
नई दिल्ली, 25 जून: केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने शनिवार को कांग्रेस पार्टी द्वारा किए जा रहे 'सत्याग्रह' आंदोलन और राहुल गांधी पर कटाक्ष करते हुए तीखा हमला बोला। क्योंकि, उनसे (राहुल गांधी) नेशनल हेराल्ड मामले में प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) पूछताछ कर रही है। शाह ने कहा कि गोधरा कांड के बाद हुई हिंसा की जांच के संबंध में नरेंद्र मोदी गुजरात के मुख्यमंत्री के रूप में एसआईटी के सामने पेश हुए। लेकिन भाजपा ने पूछताछ के दौरान 'नाटक' या 'धरना' का सहारा नहीं लिया।
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2002 के गुजरात दंगों से जुड़े जाकिया जाफरी केस में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को क्लीन चिट मिलने के बाद गृह मंत्री अमित शाह ने शनिवार को चुप्पी तोड़ी। शाह ने न्यूज़ एजेंसी एएनआई से बातचीत करते हुए यह टिप्पणी की। इस दौरान अमित शाह ने सोहराबुद्दीन शेख फर्जी मुठभेड़ मामले में अपनी गिरफ्तारी का भी उल्लेख किया और कहा कि उस वक्त भी कोई धरना-प्रदर्शन नहीं हुआ था। हालांकि, बाद में शाह को इस केस से बरी कर दिया गया था। शाह ने इस दौरान कहा पीएम मोदी ने एक आदर्श उदाहरण प्रस्तुत किया कि कैसे सभी राजनीतिक व्यक्तियों द्वारा संविधान का सम्मान किया जाना चाहिए।
मोदी से भी सवाल किया गया था, लेकिन किसी (भाजपा कार्यकर्ताओं) ने विरोध नहीं किया। देश भर के कार्यकर्ता मोदी के साथ एकजुटता खड़े नजर आए। हम कानून के साथ सहयोग किया। मुझे भी गिरफ्तार किया गया। कोई विरोध या प्रदर्शन नहीं हुआ। गृहमंत्री अमित शाह ने न्यूज़ एजेंसी एएनआई से बात करते हुए कहा कि यह पहली बार नहीं है जब पीएम मोदी को क्लीन चिट मिली हो। नानावती आयोग ने भी क्लीन चिट दी है। फिर भी एसआईटी का गठन किया गया था और पीएम मोदी एसआईटी के सामने पेश हुए और सवालों का जवाब दिया।
"हम मानते हैं कि हमें न्यायिक प्रक्रिया में सहयोग करना चाहिए। अगर एसआईटी मुख्यमंत्री से सवाल पूछना चाहती है, तो उसने खुद कहा कि वह सहयोग करने के लिए तैयार है। एक मंच क्यों विरोध? कोई भी व्यक्ति कानून से परे नहीं है।" कहा कि न्यायिक प्रक्रिया के खिलाफ विरोध को जायज नहीं ठहराया जा सकता। उन्होंने कहा कि मुझे सलाखों के पीछे डाल दिया गया था। मैं कहता था कि मैं निर्दोष हूं। लेकिन जब अदालत ने कहा कि मेरे खिलाफ एक फर्जी मामला दर्ज किया गया था और सीबीआई ने मुझे फंसाने के लिए राजनीति से प्रेरित साजिश रची थी, तब मेरी बात सही साबित हुई।