अमित शाह का कांग्रेस को जवाब, नेहरू की वजह से जम्मू-कश्मीर का एक तिहाई हिस्सा हमारे पास नहीं
नई दिल्ली: केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने शुक्रवार को लोकसभा में जम्मू-कश्मीर में राष्ट्रपति शासन को 6 महीने और बढ़ाने का प्रस्ताव पेश किया। इस मुद्दे पर बहस के दौरान सदन में काफी हंगामा हुआ। कांग्रेस के बीजेपी पर सत्ता के दुरुपयोग के आरोप पर शाह ने कहा कि कांग्रेस को याद रखना चाहिए कि धारा 356 का इस्तेमाल कर सबसे ज्यादा सरकारों को उन्होंने ही गिराया। उन्होंने कश्मीर समस्या के लिए कांग्रेस और पूर्व प्रधानमंत्री जवाहर लाल नेहरू को दोषी ठहराया।
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कश्मीर का एक तिहाई हिस्सा हमारे पास नहीं
अमित शाह ने कांग्रेस नेता मनीष तिवारी के आरोपों पर जवाब देते हुए कहा कि कांग्रेस के नेता मनीष तिवारी जी इतिहास की बात करते हैं। यदि इतिहास की बात करें तो देश के विभाजन की जिम्मेदार कांग्रेस ही है। हम नहीं हैं। जम्मू-कश्मीर का एक तिहाई हिस्सा पाकिस्तान के कब्जे में है। पाकिस्तानी कबायलियों को जब सेना बाहर कर रही थी तो सीजफायर कर दिया गया। हमसे कहते हैं कि लोगों को भरोसे में नहीं लेते, लेकिन नेहरू ने गृहमंत्री को भरोसे में लिए बगैर सीजफायर कर दिया।
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कांग्रेस ने किया अनुच्छेद 356 का दुरुपयोग
अमित शाह ने कहा कि बीजेपी ने विशेष परिस्थितियों में जम्मू-कश्मीर में राष्ट्रपति शासन लागू किया था। लेकिन आज से पहले अनुच्छेद 356 का उपयोग 132 बार किया गया है। इसमें से 93 बार कांग्रेस ने इसका इस्तेमाल किया है। आप हमें सिखा रहे हैं कि अनुच्छेद 356 का उपयोग कैसे किया जाना चाहिए? उन्होंने कांग्रेस के आरोपों कहा कि आपने राजनीतिक मकसद से एक दिन में कई सरकारों को धारा 356 लगाकर गिरा दिया। हमने कभी इसका इस्तेमाल अपना राजनीतिक मकसद पूरा करने के लिए नहीं किया।
इंसानियत, जम्हूरियत और कश्मीरियत की नीति
अमित शाह ने कहा कि हम जम्मू-कश्मीर में इंसानियत, जम्हूरियत और कश्मीरियत की नीति पर चल रहे हैं। 70 साल बाद जम्मू कश्मीर की माताओं को टॉयलेट, गैस का कनेक्शन और घर दिया है। वहां के लोगों को सुरक्षा दी है, ये इंसानियात है। उन्होंने चेतावनी देते हुए कहा कि जिनके मन में जम्मू कश्मीर में आग लगाने की मंशा है, कश्मीर को भारत से अलग करने की करने की मंशा है, अलगाववाद खड़ा करने की मंशा है उनके लिए मैं कहना चाहता हूं कि हां उनके मन में अब भय है, रहेगा और आगे ज्यादा बढ़ेगा।