कर्नाटक में विकास और हिंदुत्व के मुद्दे पर चुनाव लड़ेगी BJP: अमित शाह
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मैसूर। कर्नाटक में 12 मई को विधानसभा चुनाव होने वाले है। इससे पहले राज्य की दोनों पार्टियां एक दूसरे पर आरोप-प्रत्यारोप लगाने में कोई कसर नहीं छोड़ रहीं हैं। शनिवार को बीजेपी के अध्यक्ष अमित शाह ने प्रेस कॉन्फ्रेस कर कांग्रेस और सिद्धारमैया सरकार पर जमकर हमला बोला। अमित शाह ने सिद्धारमैया को लिंगायत वाले मुद्दे पर घेरते हुए कहा कि, यह येदियुरप्पा जी को कर्नाटक का सीएम बनने से रोकने की रणनीति है। वे लिंगायत वोटों का धुव्रीकरण चाहते हैं, लेकिन समुदाय इसे लेकर जागरुक है। चुनाव के बाद बीजेपी अपना रुख स्पष्ट करेगी।
अमित शाह ने कहा कि कांग्रेस पार्टी समाज को बांटने का काम कर रही है। उन्होंने कहा, 'लिंगायत को अलग धर्म का दर्जा दिए जाने के बारे में अगर सिद्धारमैया इतने गंभीर थे तो चार साल तक उन्होंने क्यों कुछ नहीं किया। चुनाव से ठीक पहले इसका ऐलान क्यों किया। यही नहीं केंद्र की यूपीए सरकार भी लिंगायत को अलग धर्म का दर्जा देने के प्रस्ताव को पहले ही खारिज कर चुकी है।'
कांग्रेस और भ्रष्टाचार का नाता बहुत गहरा है, इतना गहरा कि जैसे मछली और पानी का होता है और सिद्धारमैया सरकार ने इसे और भी बढ़ा दिया है। आईटी सेक्टर के इतना मज़बूत होने के बावजूद यहां अभी तक 24 घंटे बिजली नहीं रहती है। स्वास्थ्य व केंद्र सरकार की स्कीम भी ठीक से अभी लागू नहीं हो पाई है। 3500 से ज्यादा किसान आत्महत्या कर चुके हैं। विकास की बात करें तो सभी मापदंडों में कांग्रेस नीचे जा रही है।
बीजेपी अध्यक्ष ने कहा, 'दक्षिण में बीजेपी के प्रवेश का द्वार कर्नाटक होगा और इस चुनाव परिणाम का असर लोकसभा चुनाव पर भी पड़ेगा।' उन्होंने आरोप लगाया कि कांग्रेस ने सालों तक डॉक्टर आंबेडकर की अवहेलना की है। उनको भारत रत्न नहीं दिया जबकि एनडीए सरकार ने कई सरकारी योजनाओं के जरिए दलितों को ऊपर उठाने का काम किया है। भीमराव आंबेडकर का नाम हमने नहीं बदला है, बस उनका पूरा नाम लिखा है।
उन्होंने कहा कि, हम लोग हर सीट पर लड़ेंगे और अपने दम पर सरकार बनाएंगे। किसी के साथ एलायंस नहीं करेंगे। कुछ सीटों पर त्रिकोणीय मुकाबला है लेकिन बीजेपी हर जगह फाइट में है। कर्नाटक के लोगों ने सिद्धारमैया को हटाने का मन बना लिया है। कर्नाटक भ्रष्टाचार का एटीएम बन चुका है। कैसे कोई किसानों की आत्महत्या को षडयंत्र कह सकता है। मैने निर्णय लिया है कि 10 लाख रुपये गरीब परिवारों को और 5 लाख रुपये हेल्थ इंश्योरेंस के रूप में देंगे।