Defence Expo 2018: कल से चेन्नई में लगेगा दुनिया के 47 देशों की 670 कंपनियों का मेला
तमिलनाडु की राजधानी चेन्नई में 11 अप्रैल से 14 अप्रैल तक डिफेंस एक्सपो का आयोजन होगा। दक्षिण चेन्नई के तिरुविदाताई में होने वाली डिफेंस एक्सपो का यह इस वर्ष 10वां संस्करण है और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 12 अप्रैल को इसका उद्घाटन करेंगे।
चेन्नई। तमिलनाडु की राजधानी चेन्नई में 11 अप्रैल से 14 अप्रैल तक डिफेंस एक्सपो का आयोजन होगा। दक्षिण चेन्नई के तिरुविदाताई में होने वाली डिफेंस एक्सपो का यह इस वर्ष 10वां संस्करण है और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 12 अप्रैल को इसका उद्घाटन करेंगे। चार दिनों तक चलने वाले इस कार्यक्रम में भारत के डिफेंस पब्लिक सेक्टर की कई कंपनियों के अलावा 47 देशों की कंपनियां भी शिरकत कर रही हैं। अमेरिका, ब्रिटेन, रूस, अफगानिस्तान, स्वीडन, फिनलैंड, इटली समेत कुछ और देशों की बड़ी कंपनियां यहां पर मौजूद रहेंगी।
क्या है डिफेंस एक्सपो 2018
डिफेंस एक्सपो एक ऐसा कार्यक्रम है जहां पर हथियारों और मिलिट्री हार्डवेयर की प्रदर्शन लगाई जाती है। चार दिनों तक चलने वाली इस एक्सपो में सेमिनार समेत हथियारों और दूसरे मिलिट्री हार्डवेयर का प्रदर्शन किया जाता है। चेन्नई में 11 अप्रैल से 14 अप्रैल तक सुबह नौ बजे से शाम पांच बजे तक इस एक्सपो का आयोजन होगा। इस बार डिफेंस एक्सपो की थीम है, 'भारत: एक उभरता हुआ रक्षा सामानों काउत्पादक देश।' डिफेंस एक्सपो 2018 में भारत में तैयार उन हथियारों का प्रदर्शन होगा जो जमीन, हवा और पानी में दुश्मन को जवाब देने के लिए तैयार किए गए हैं और पहली बार देश में इन हथियारों को तैयार किया गया है। इसमें तेजस फाइटर जेट से लेकर एडवांस्ड टोव्ड आर्टिलरी गन सिस्टम (एटीएजीएस) जिसे डीआरडीओ ने तैयार किया है, अर्जुन मार्क 2 टैंक और धनुष तोपों का प्रदर्शन किया जाएगा।
670 कंपनियांं ले रही हैं हिस्सा
इस बाद डिफेंस एक्सपो में करीब 670 ऐसी कंपनियां शामिल हो रही हैं जो रक्षा उत्पाद तैयार करती हैं। इनमें 154 विदेश उत्पादक भी शामिल हैं। 14 अप्रैल को यानी एक्सपो के आखिरी दिन आम जनता के लिए एंट्री पूरी तरह से फ्री होगी। विजिटर्स को बिना फोटो आईडी कार्ड के इस एक्सपो में आने नहीं दिया जाएगा। इस एक्सपो में मालदीव को भी शामिल होना था लेकिन उसने इस कार्यक्रम में हिस्सा लेने से इनकार कर दिया था। मालदीव के इस फैसले को भारत के लिए बड़ा झटका माना जा रहा है। मालदीव के अलावा इस एक्सपो के लिए चीन को भी बुलावा भेजा गया था लेकिन उसने इस इनवाइट पर अभी तक कोई जवाब नहीं दिया है।