महाराष्ट्र में लगातार बारिश से हाहाकार, पुणे समेत चार जिलों में बांध हुए पूरी तरह लबालब
मुंबई। महाराष्ट्र में हो रही मुसलाधार बारिश की वजह से जनजीवन अस्तव्यस्त हो गया है। बारिश की वजह से कई इलाके जलमग्न हो गए हैं। पुणे, सतारा, सांगली और कोल्हापुर के सभी बांध 100 प्रतिश फुल हो गए हैं। नदी किनारे के गांवों को अलर्ट कर दिया गया है। बाढ़ को हालात को देखते हुए कोल्हापुर में एनडीआरएफ की 6 कंपनियां तैनात कर दी गई हैं और 6 और कंपनियां वहां पहुंच रही हैं।
इसके अलावा सांगली में एनडीआरएफ की तीन कंपनियां तैनात है जबकि तीन और पहुंच रही हैं। इसके अलावा सतारा में एनडीआरएफ की 1 कंपनियों की तैनाती की गी है। बता दें कि पुणे संभाग के सभी पांच जिलों, सोलापुर, सतारा, कोल्हापुर और पुणे से 28397 परिवारों के कुल 132,360 लोगों को रेस्क्यू किया गया है। सांगली में 213 प्रतिशत बारिश रिकॉर्ड की गई है। जबकि सतारा में 173, पुणे 166, कोल्हापुर 116 और सोलापुर में 78 प्रतिशत बारिश दर्ज की गई है।
मायानगरी मुंबई में आसमान से एक बार फिर से आफत बरस रही है, भारी बारिश के कारण एक बार यह शहर पानी-पानी हो गया है, यही नहीं मुंबई और आस-पास के इलाकों में भी तेज बारिश के कारण जगह-जगह जलजमाव हो गया है, लोगों को आने-जाने में खासी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है, आज भी मुंबईकरों को बारिश से राहत मिलने के आसार नजर नहीं आ रहे हैं। बारिश की वजह से कई जिलों में स्कूल कॉलेज बंद कर दिए गए हैं। एनडीआरएफ की टीम पानी में फंसे लोगों को बाहर निकालने में जुटी हुई है।
दूसरी ओर से गुजरात में भारी बारिश से वडोदरा, नवसारी और वलसाड जैसे जिलों में बाढ़ एवं जलभराव का संकट पैदा हो गया है। 31 जुलाई को शुरू हुई बारिश से एक ही दिन में वडोदरा में तो 20 इंच पानी बरसा था। उसके साथ ही विश्वामित्री नदी में उफान आ गया। फिर, नदी से पानी के साथ ही मगरमच्छ भी बहकर शहर में दिखाई देने लगे। पूरा शहर जलमग्न हो गया था। करीब 48 घंटों बाद आधे शहर में जलभराव कम हुआ। हालांकि, अभी भी कई ऐसे निचले इलाके हैं जहां बरसाती पानी भरा हुआ है।
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