बीजेपी के विरोध के लिए उसी का मुद्दा थाम रही है AAP
नई दिल्ली- गाय और मंदिर मुद्दे की राजनीति करने के लिए बीजेपी को कोसते-कोसते आम आदमी पार्टी अब इन्हीं मुद्दों के इर्द-गिर्द सियासी बिसात बिछाने लगी है। अब पार्टी बीजेपी पर गाय के कल्याण के लिए कोई खास काम नहीं करने का आरोप लगाने लगी है। सबसे दिलचस्प बात तो ये है कि पार्टी बीजेपी पर उत्तर प्रदेश में मंदिरों को नुकसान पहुंचाने का आरोप लगाते हुए एक रैली भी निकाल चुकी है। यह वही आम आदमी पार्टी है, जिसने 6-7 साल पहले शिक्षा और स्वास्थ्य क्षेत्रों की बदहाली को मुद्दा बनाकर राजनीति शुरू की थी। 2015 के दिल्ली विधानसभा चुनाव में उसने कांग्रेस का सफाया कर दिया था और भाजपा को भी सिर्फ 3 सीटों पर ही समेट दिया था।
AAP को भी याद आईं गौ माता
हाल ही में हरियाणा में एक चुनावी रैली में पार्टी सुप्रीमो और दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने कहा था कि दिल्ली में हरियाणा से ज्यादा अच्छी तरह से गायों की देखभाल होती है। उन्होंने तो यहां तक दावा किया था कि राज्य की बीजेपी सरकार एक गाय पर रोजाना 40 पैसे ही खर्च करती है, जबकि दिल्ली में उनकी एक गाय पर हर रोज 40 रुपये खर्च करती है। पिछले महीने ही केजरीवाल ने दिल्ली के बवाना इलाके में बीजेपी शासित एमसीडी पर गौशाला के लिए फंड नहीं देने का आरोप लगाते हुए कहा था कि बीजेपी गाय के नाम पर सिर्फ वोट लेती है, लेकिन उन्हें खाना तक मुहैया नहीं कराती। पार्टी के रवैये में आए इस बदलाव को देखकर जब दिल्ली सरकार के मंत्री गोपाल राय से सवाल किया गया कि क्या उनकी पार्टी की रणनीति बदल चुकी है, तो उन्होंने इससे इनकार करते हुए कहा कि हम गाय के नाम पर वोट नहीं मांगते, बल्कि उनके कल्याण की बात करते हैं। उन्होंने जानवरों को भी सिस्टम का हिस्सा बताते हुए कहा कि उनकी सरकार ने दिल्ली में पहली पशु नीति तैयार की है। जबकि, बीजेपी सिर्फ गाय के नाम पर वोट मांगती है। गौरतलब है कि पार्टी सांसद संजय सिंह भी यूपी में गायों की बदहाली का आरोप लगाते हुए कह चुके हैं कि उनके कारण हादसे हो रहे हैं, जिससे इंसान भी मर रहे हैं और गायें भी।
AAP को भी होने लगी मंदिरों की चिंता
आम आदमी पार्टी के राज्यसभा सांसद संजय सिंह ने पिछले महीने अयोध्या से वाराणसी तक 'भाजपा भगाओ,भगवान बचाओ' यात्रा निकालकर सबको चौंका दिया था। उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के संसदीय क्षेत्र में काशी विश्वनाथ कॉरिडोर बनाने के नाम पर कथित रूप से कुछ मंदिरों के हटाने के विरोध में यह यात्रा निकाली थी। संजय सिंह ने आरोप लगाया था कि भाजपा राम मंदिर के नाम पर वोट तो मांगती है, लेकिन उसने वाराणसी में प्राचीन और ऐतिहासिक मंदिरों को तोड़ने का काम किया है। संजय सिंह ने कहा कि उन्होंने हिंदुत्व के फर्जी रखवालों के बारे में जनता को बताने के लिए यात्रा निकाली है। उन्होंने साफ किया कि पार्टी गाय और मंदिरों का मुद्दा इसलिए उठा रही है, क्योंकि ये विषय भी महत्वपूर्ण हैं। हालांकि, उन्होंने ये दावा भी किया कि पार्टी स्वास्थ्य और शिक्षा पर ही फोकस रखेगी।
हिंदुत्व को लेकर अपनी छवि भी बदलने में लगी है AAP
हाल के दिनों में आम आदमी पार्टी के नेताओं के बयानों से लगता है कि राष्ट्रवाद और हिंदुत्व के मुद्दों पर वे अपनी छवि बदलने में लग गए हैं। इसकी बानगी गणतंत्र दिवस पर दिए गए केजरीवाल के भाषण में भी दिखी थी। तब उन्होंने कहा था कि देशभक्त होने का मतलब यह नहीं है कि किसी समुदाय विशेष के व्यक्ति को मारा जाय। उन्होंने सभी समुदायों में भाईचारा बढ़ाने पर जोर दिया था। पार्टी प्रवक्ता सौरभ भारद्वाज ने पार्टी के इस बदलते हुए नजरिए पर कहा कि "लोग कहते हैं कि हम हिंदू विरोधी हैं। हमने महसूस किया है कि हमारे खिलाफ एक प्रोपेगेंडा चलाया जा रहा है।" उन्होंने आरोप लगाया कि बीजेपी हमें हिंदू विरोधी बताने के लिए फेक न्यूज का सहारा लेती है। उनके अनुसार गाय को लेकर आम आदमी पार्टी और बीजेपी की सोच अलग है, उनकी पार्टी गायों का कल्याण चाहती है, जबकि भाजपा सिर्फ उसके नाम पर राजनीति करती है।
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