दिल्ली में कांग्रेस और केजरीवाल के बीच इसलिए नहीं हो पाया गठबंधन, अलका लंबा ने बताई बड़ी वजह
नई दिल्ली। काफी समय से ऐसी खबरें आ रही थीं कि, कांग्रेस दिल्ली में सत्ताधारी पार्टी आम आदमी पार्टी के साथ गठबंधन कर सकती है। लेकिन सोमवार को इन सारी अटकलों पर उस समय विराम लग गया जब दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल ने साफ कर दिया कि, राहुल गांधी ने गठबंधन के लिए मना कर दिया है। अब दोनों पार्टियों का गठबंधन नहीं हो सकता है। दोनों पार्टियों के बीच गठबंधन ना हो पाने के मुख्य वजह क्या रही यह अभी तक साफ नहीं हो पाया है। लेकिन आप की विधायक अलका लांबा द्वारा सोमवार को किए गए एक ट्वीट से हालांकि कुछ हद तक साफ हो गया कि, किन कारणों के चलते कांग्रेस और आप के बीच समझौता नहीं हो पाया।
अलका लांबा ने ट्वीट कर कसा तंज
सोमवार को अलका लांबा ने एक ट्वीट किया, जिसमें उन्होने लिखा कि, आप 2 से अधिक देना नही चाहती, कांग्रेस 3 से कम पर कोई समझौता करने के लिये तैयार नहीं थी। BJP बेचारी इंतज़ार में सूखे जा रही है, चाह कर भी उम्मीदवार घोषित नही कर पा रही। अलका लांबा ने अपने इस ट्वीट में बीजेपी को भी लेपट लिया। अलका ने लिखा कि, कांग्रेस और आप के बीच चल रही खींचतान के चलते बीजेपी अपनी उम्मीदवारों का ऐलान नहीं कर पा रही है।
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कांग्रेस ने आप के साथ हाथ मिलाने से इनकार कर दिया
आज दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने कहा कि कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने राष्ट्रीय राजधानी में लोकसभा चुनाव के लिए 'आप' के साथ गठबंधन करने से इनकार कर दिया है। हवाई अड्डे पर पत्रकारों से बात करते हुए, आप नेता ने कहा कि वह हाल ही में गांधी से मिले थे और कांग्रेस नेता ने "आप के साथ हाथ मिलाने" से इनकार कर दिया। कांग्रेस की दिल्ली इकाई की अध्यक्ष शीला दीक्षित से गठबंधन के लिए संपर्क नहीं किया पूछे जाने पर, मुख्यमंत्री ने कहा, हम राहुल गांधी से मिले हैं। दीक्षित महत्वपूर्ण नेता नहीं हैं। गौरतलब है कि केजरीवाल कांग्रेस से भाजपा को सत्ता से दूर रखने के लिए लोकसभा चुनाव में गठबंधन करने का आग्रह कर रहे हैं।
दिल्ली कांग्रेस की अध्यक्ष शीला दीक्षित थीं विरोध में
बता दें कि दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल अपनी तरफ से बार-बार बीजेपी को हराने के लिए गठबंधन का ऑफर देते रहे हैं। केजरीवाल ने दिल्ली के साथ पंजाब और हरियाणा में भी कांग्रेस को गठबंधन का ऑफर दिया है। दिल्ली कांग्रेस में भी गठबंधन को लेकर एक राय नहीं है। पी सी चाको जहां आप से गठबंधन को लेकर जोर दे रहे थे तो शीला दीक्षित इसके खिलाफ थीं। पहले अजय माकन भी गठबंधन के खिलाफ थे, लेकिन बाद में इन्होंने इसका समर्थन किया था।
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