लेबनान धमाके से भारत ने ली सीख, चेन्नई से हटाया गया 200 टन अमोनियम नाइट्रेट
नई दिल्ली: लेबनान की राजधानी बेरूत में हुए धमाके से भारत ने सीख ले ली है। जिस वजह से चेन्नई से अमोनियम नाइट्रेट का जखीरा हटाया जा रहा है। इसे अब हैदराबाद में एक सुरक्षित स्थान पर रखा गया है। अमोनियम नाइट्रेट काफी खतरनाक विस्फोटक होता है। इसी की वजह से बेरूत पूरी तरह से तबाह हो गया और वहां 158 लोगों की मौत हुई, जबकि 5000 से ज्यादा लोग जख्मी हुए थे।
दरअसल बेरूत में धमाके के बाद भारत में भी प्रशासनिक अधिकारी सक्रिय हुए और अमोनियम नाइट्रेट का स्टॉक खोजा जाने लगा। जिस पर पता चला कि चेन्नई के सत्व कंटेनर फ्रेट स्टेशन में 740 टन अमोनियम नाइट्रेट पड़ा है, जो एक इलाके को तबाह करने के लिए काफी है। इसके बाद सभी एजेंसियां सक्रिय हुईं और 200 टन अमोनियम नाइट्रेट को हैदराबाद भेज दिया गया। अधिकारियों के मुताबिक एक ऑनलाइन कॉन्ट्रैक्ट के जरिए इसकी बिक्री हुई है। जिसे सड़क मार्ग से सुरक्षित भेजा गया, बाकी के स्टॉक को भी जल्द हटा लिया जाएगा।
विस्फोट से तबाह हुए लेबनान के पास अब नहीं है खाने को अनाज, 1 महीने से भी कम का राशन बचा
कहां
से
आया
इतना
स्टॉक?
चेन्नई
सीमा
शुल्क
अधिकारियों
के
मुताबिक
चेन्नई
के
फ्रेट
स्टेशन
पर
मौजूद
1.80
करोड़
रुपए
कीमत
वाले
740
टन
अमोनियम
नाइट्रेट
रसायन
को
वर्ष
2015
में
तमिलनाडु
के
आयातक
से
जब्त
किया
गया
था,
जिसे
आयातक
ने
कथित
तौर
पर
उर्वरक
बताकर
मंगाया
था।
हालांकि
उन्होंने
बताया
कि
दक्षिण
कोरिया
से
आयात
की
गई
यह
खेप
सुरक्षित
है
और
उसके
ई-नीलामी
की
प्रक्रिया
चल
रही
है।
लेबनान
में
था
2750
टन
अमोनियम
नाइट्रेट
लेबनान
की
राजधानी
बेरूत
में
मंगलवार
को
हुए
एक
रासायनिक
विस्फोट
हुआ
था,
जिसमें
कुल
158
लोगों
की
जान
चली
गई।
लेबनान
में
करीब
2750
टन
अमोनियम
नाइट्रेट
में
विस्फोट
हुआ
था
और
विस्फोट
इतना
भीषण
था
कि
उसकी
आवाज
200
किलोमीटर
से
अधिक
दूरी
तक
सुनी
गई।
जर्मनी
के
जियोसाइंस
केन्द्र
'जीएफजेड'
के
अनुसार
भीषण
विस्फोट
की
वजह
से
वहां
3.5
की
तीव्रता
का
भूकम्प
भी
आया
था।