1984 सिख दंगे के दोषी सज्जन कुमार कोर्ट में किया सरेंडर
नई दिल्ली। कांग्रेस के पूर्व नेता सज्जन कुमार ने आज कड़कड़डूमा कोर्ट या तिहाड़ जेल में सरेंडर किया। सज्जन कुमार को 1984 सिख दंगे में कोर्ट ने दोषी घोषित किया है जिसके बाद कोर्ट ने उन्हें उम्रकैद की सजा सुनाई थी। 1984 सिख दंगे में याचिकाकर्ता एचएस फुल्का ने दंगा पीड़ितो से अपील की थी कि वह आज कोर्ट नहीं जाए। फुल्का ने अपने बयान में कहा था कि मुमकिन है कि सज्जन कुमार कोर्ट के बाहर तनाव पैदा कर सकते हैं ताकि वह कोर्ट में सरेंडर नहीं करने का बहाना पा सके, लिहाजा पीड़ितो को कोर्ट नहीं जाना चाहिए।
तब फुल्का ने कहा था कि सज्जन कुमार को कोर्ट जाना है और सरेंडर करना है। अगर वह ऐसा नहीं करते हैं तो 1 जनवरी को पुलिस उन्हें हिरासत में लेगी और तिहाड़ जेल भेज देगी। यह पूरे देश की बड़ी जीत है, सज्जन कुमार ने नरसंहार किया है और इतने साल बाद उसे सजा हो रही है। आपको बता दें कि सज्जन कुमार ने 22 दिसंबर को सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर करके अपील की थी कि उन्हें आत्मसमर्पण करने के लिए कुछ और समय दिया जाए। कोर्ट ने सज्जन कुमार को 31 दिसंबर तक आत्मसमर्पण करने के लिए कहा है और 5 लाख रुपए का जुर्माना भी भरने के लिए कहा है। सज्जन कुमार ने कोर्ट से 30 और दिन का समय मांगा है ताकि वह पारिवारिक कार्यक्रम निपटा सकें।
गौर करने वाली बात है कि दिल्ली हाई कोर्ट ने सज्जन कुमार को मामले में क्लीन चिट दिए जाने के फैसले को पलटते हुए उन्हें दोषी करार दिया था। दिल्ली के कैंटोनमेंट इलाके में सिख दंगे के दौरान परिवार के पांच सदस्यो की हत्या कर दी गई थी, इस मामले में सज्जन कुमार आरोपी थे, लेकिन 2013 में कोर्ट ने उन्हें इस मामले में रिहा कर दिया था। लेकिन दिल्ली हाई कोर्ट ने निचली अदालत के फैसले को पलटते हुए उन्हें इस मामले में उम्र कैद की सजा सुनाई है।