शैल बाला: हिमाचल की वो निडर महिला अधिकारी जिसे ईमानदारी के बदले मिली मौत
शिमला। हिमाचल प्रदेश के नगर नियोजन विभाग में सहायक नगर नियोजन अधिकारी के तौर पर कार्यरत शैल बाला शर्मा की कसौली में अवैध कब्जे हटाने की मुहिम के दौरान गोली लगने से हुई मौत से सरकारी अमला सदमे में है। शैल बाला को भी शायद इस बात का एहसास नहीं रहा होगा कि उन पर कसौली में गोली चला दी जाएगी। शायद इसी वजह से वह बिना किसी डर के वहां पर डटी रहीं। शैलबाला शर्मा को कसौली में नगर नियोजन के सहायक नगर नियोजक के पद पर छह माह पहले ही तैनाती मिली थी। वह तीन मार्च 2017 से टीसीपी में डैप्यूटेशन पर तैनात थीं। इससे पहले बद्दी बरोटीवाला नालागढ़ डेवलपमेंट अथॉरिटी में कार्यरत थीं। एक साधारण परिवार से आने वाली शैलबाला अपने महकमे में जुझारू अफसर के रूप में पहचानी जाती थीं।
सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद सोलन के कसौली में मंगलवार को होटलों का अवैध निर्माण हटाने पहुंची सहायक नगर नियोजन (एटीपी) अधिकारी शैल बाला की होटल कारोबारी ने गोली मारकर हत्या कर दी। प्रशासनिक अधिकारियों व पुलिस बल के सामने ही कारोबारी ने करीब चार राउंड फायर किए, जिसमें एक गोली एटीपी (कसौली) शैल बाला शर्मा के मुंह पर और एक लोक निर्माण विभाग के बेलदार गुलाब सिंह के सीने पर जा लगी। शैल बाला की मौके पर ही मौत हो गई, जबकि गुलाब सिंह को पीजीआई चंडीगढ़ रेफर किया गया। घटना के बाद से कारोाबरी हथियार लेकर जंगल की तरफ भाग निकला। पुलिस ने उसकी सूचना देने पर एक लाख रुपये इनाम रखा है। इस बीच, सुप्रीम कोर्ट ने हिमाचल के कसौली मे कोर्ट के आदेश पर होटलों का अवैध निर्माण ढहवाने गई महिला अधिकारी की हत्या के मामले में स्वत: संज्ञान लिया है। कोर्ट ने पर्याप्त सुरक्षा न देने और अभियुक्त के भाग जाने पर भी नाराजगी जताई है।
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