हुलिया बदलकर वृंदावन में ठहरा था गोलीकांड का आरोपी, रिश्तेदार की वजह से ही पकड़ा गया
शिमला। कसौली गोलीकांड के आरोपी विजय ठाकुर की यूपी के वृंदावन से गिरफ्तारी ने एक बार फिर हिमाचल पुलिस को कटघरे में खड़ा कर दिया है। सोचने वाली बात है कि तमाम दावों और सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम के बावजूद आरोपी कैसे वृंदावन तक पहुंच गया। दो दिनों से हिमाचल पुलिस पूरी तरह दावा करती रही कि आरोपी को पकड़ लिया जाएगा और वह अभी कसौली के जंगलों में ही है जिसकी चारो ओर नाकेबंदी कर दी गई है। आरोपी की वृंदावन से गिरफ्तारी के बाद सरकार व पुलिस के दावे झूठे साबित हुए व आरोपी आराम से हिमाचल से निकल कर उत्तर प्रदेश के वृंदावन में जा पहुंचा। इससे हिमाचल पुलिस के दावों की पोल खुल गई। अब सवाल उठ रहा है कि आरोपी कैसे जंगलों से निकल कर उत्तर प्रदेश तक जा पहुंचा।
सोलन के एसपी मोहित चावला ने कसौली गोलीकांड के आरोपी विजय ठाकुर की गिरफ्तारी की पुष्टि कर दी है। उन्होंने बताया कि विजय ठाकुर को हिमाचल व दिल्ली पुलिस की संयुक्त टीम ने आज शाम उसे गिरफ्तार किया। उन्होंने बताया कि आरोपी को हिमाचल लाया जा रहा है। उन्होंने बताया कि उसे पकडने के लिए बनी एसआईटी में चार टीमें बनाई गई थीं। आरोपी वृंदावन में हुलिया बदलकर रह रहा था। उसने अपने बाल भी कटवा लिये थे। हालांकि इससे पहले यह खबर आ रही थी कि आरोपी आज सरेंडर करेगा। लेकिन सरेंडर के बजाये उसकी गिरफ्तारी हुई है। इसके बाद अब उसे हिमाचल लाया जा रहा है।
बताया जा रहा है कि आरोपी की गिरफ्तारी मोबाइल लोकेशन की वजह से हुई है। दरअसल आरोपी का एक रिशतेदार बीती रात से हिमाचल पुलिस के आला अधिकारियों से विजय ठाकुर के आत्मसर्मपण करने की बात अपने मोबाइल से कर रहा था। उसके बाद उसने विजय ठाकुर से भी अपने मोबाइल से बात की। इस दौरान पुलिस ने मोबाइल को ट्रैक करना शुरू किया तो उसकी लोकेशन हिमाचल प्रदेश से बाहर आने लगी। अचानक पता चला कि इसी फोन से वृंदावन में भी बात हो रही है। उसी समय पुलिस एक गुपचुप प्लान के तहत अपनी एक टीम को दिल्ली रवाना कर दिया।
आज दिन में एक बार फिर पुलिस अधिकारियों के साथ उसी रिशतेदार ने दोबारा सपंर्क साधा व आरोपी के सरेंडर करने की मंशा जाहिर की। तो उस समय साफ हो गया कि मोबाइल वृंदावन के आसपास ही एक्टिव है। उसी आधार पर उत्तर प्रदेश पुलिस से मदद लेने के बजाए हिमाचल व दिल्ली पुलिस की संयुक्त टीम ने आरोपी को वृंदावन से दबोच लिया। उसे एक होटल से दो घंटे के सर्च ऑपरेशन के बाद गिरफ्तार किया गया। उस समय वह भेष बदल कर रह रहा था व अपने बाल भी कटवा लिये थे।
बताया जा रहा है कि हिमाचल पुलिस ने इस लिए यूपी पुलिस को मदद नहीं ली कि पुलिस को जो इनपुट मिले थे,उसमें यह बात थी कि आरोपी वृंदावन के होटल में रूका है। लेकिन ठिकाने का पता नहीं था। इसी वजह से यहां दो टीमों ने सारे होटलों कां खंगाला तो एक होटल में शक के आधार पर विजय ठाकुर को पकड़ा गया तो पूछताछ के आगे वह ज्यादा नहीं टिक पाया।
उधर, कसौली फायरिंग मामले में डीसी सोलन विनोद कुमार ने आज कहा कि इसमें चूक तो हुई है। जिम्मेदारी प्रशासन की बनती थी, इसलिए प्रशासन मामले की जिम्मेदारी लेता है। पत्रकारों से बातचीत करते हुए डीसी विनोद कुमार ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट के आदेशों के बाद अवैध कब्जे हटवाने के लिए प्रशासन, पुलिस की टीम बनाई गई थी। अब देखते हैं कि चूक कहां हुई है। उन्होंने कहा कि इस बारे जांच कमेटी बिठा दी गई है। उन्होंने यह भी कहा कि पुलिस की कार्यप्रणाली पर सवाल उठ रहे हैं। इसके लिए जांच कमेटी बिठाई गई है।
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