लॉकडाउन में नौकरी छूटी तो दोनों भाई मिट्टी का ओवन बनाकर बेचने लगे पिज्जा, अब खूब हो रही कमाई
हमीरपुर। बुलंद हो हौसला तो मुठी में हर मुकाम है। मुश्किलें और मुसीबतें तो ज़िंदगी में आम है। ज़िंदा हो तो ताकत रखो बाज़ुओं में। लहरों के खिलाफ तैरने की, क्योकि लहरों के साथ बहना तो लाशों का काम है! ये महज़ कुछ पंक्तियाँ नहीं, जिन्होंने भी इन्हें अपने जीवन को मूर्त रूप में अपनाया है। उनकी जीवन में कभी हार हो ही नहीं सकती। यह पंक्तियाँ देवभूमि हिमाचल के हमीरपुर जिला के 2 भाइयों पर सटीक बैठती है। दोनों भाइयों ने कोरोना संकट के बीच अपनी नौकरी खो दी और उन्हें वापस अपने घर लौटना पड़ा है।
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हिमाचल के हमीरपुर के भाइयों का कमाल
लॉकडाउन के कारण विदेश से घर लौटे हमीरपुर जिले के सनाही निवासी विपिन कुमार ने कमाई का साधन खोजना शुरू किया। दरअसल, यह दोनों युवक फाइव स्टार होटल में काम करते थे। लेकिन अब होटल बंद होने से अपने गांव लौट आए हैं। विपिन कुमार और चचेरे भाई ललित के साथ मिलकर घर के पास ही मिट्टी का ओवन बनाकर पिज्जा बेचना शुरू किया है।
रोजाना 125 से पिज्जा बेच रहे
करीब 20 दिन पहले शुरू किया यह कारोबार तेज़ी से बढ़ रहा है और अब प्रतिदिन 125 से 150 के बीच पिज्जा बनाकर बेच रहे हैं और खूब कमाई कर रहे हैं। बता दें कि विपिन ब्रिटिश वर्जिन आइलैंड के एक होटल में मैनेजर था जबकि उसका चचेरा भाई ललित अमृतसर के बाघा बार्डर स्थित होटल में चीफ एग्जीक्यूटिव शेफ था। विपिन और ललित को घर लौटने के बाद रोजगार की चिंता भी सताने लगी थी।
अधिक निवेश करने की स्थिति में नहीं थे
कुछ काम धंधा करने का मन बनाया, लेकिन एकदम इतना अधिक निवेश करना भी संभव नहीं था, इसलिए कुछ ऐसा करने की ठानी, जिसमें लागत भी कम हो और गांव के आसपास वह रोजगार सहज उपलब्ध भी हो। उन्होंने मिट्टी के ओवन से पिज्जा तैयार करने की सोची। गांव के पास ही दुकान किराए पर ली। फायर पिज्जा तैयार करने के लिए मिट्टी के ओवन की जरूरत थी तो ओवन खुद ही तैयार किया।
अन्य बेराजगार भी ले सकते हैं प्रेरणा
पिज्जा बनाने के लिए गांव में ही तैयार पनीर और सब्जियां प्रयोग में लाई जा रही हैं। दोनों भाई पिज्जा की अधिकतर सामग्री खुद तैयार करते हैं। सॉस भी खुद बनाते हैं। इस तरह पौष्टिकता के साथ-साथ यह पिज्जा प्राकृतिक रूप से तैयार किया जाता है। अब इन दोनों भाइयों के कार्य की क्षेत्र में खूब चर्चा हो रही है। लॉकडाउन में बेरोजगार हुए अन्य युवाओं को भी कुछ नया करने की प्रेरणा मिल रही है।
अच्छी हो रही है कमाई
ललित ने बताया कि बाघा बॉर्डर पर होटल में काम करता था। लॉकडाउन में जाब चली गई तो घर लौटना पड़ा। जॉब जाने के बाद विचार आया कि जो काम दूसरों के लिए करते थे वो खुद के लिए भी कर सकते हैं। इलेक्ट्रॉनिक ओवन काफी महंगा आता है। इसलिए सस्ती लागत पर मिट्टी ओवन बनाकर पिज्जा बेचना शुरू किया है। कमाई के मामले में हमें हमारी उम्मीद से कहीं ज्यादा रेस्पॉंस मिला है।
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