यूपी के विंग कमांडर अभिषेक त्रिपाठी ला रहे हैं राफेल को भारत, जानिए क्या बोले घरवाले?
हरदोई। भारतीय वायुसेना की जरूरतें पूरी करने के लिए जिन अत्याधुनिक लड़ाकू विमानों का पूरा देश बरसों से इंतजार कर रहा था, वे कल हमारे पास आ जाएंगे। उनका नाम है- राफेल। जिन्हें फ्रांस की कंपनी दसॉल्ट एविएशन से खरीदा गया। पिछले साल 8 अक्टूबर को रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने फ्रांस जाकर राफेल की शस्त्र-पूजा की थी। उस पूजा के ठीक 9 महीने और 21 दिन बाद अब 29 जुलाई के दिन राफेल हरियाणा के अंबाला एयरबेस पर लैंडिंग करेंगे।
राफेल लाने वालों में एक हरदोई का पायलट
इन
विमानों
को
भारत
लाने
वालों
में
हरदोई
के
विंग
कमांडर
अभिषेक
त्रिपाठी
भी
हैं।
हमारे
संवाददाता
ने
उनके
घरवालों
से
बात
की,
तो
उन्होंने
कई
बातें
बताईं।
कहा
कि,
''अभिषेक
इस
क्षण
के
लिए
बहुत
उत्साहित
थे।
अब
वो
विमान
लेकर
कल
अंबाला
पहुंचेंगे।''
बता
दें
कि,
अभिषेक
मूलत:
हरदोई
जनपद
के
संडीला
कस्बे
के
मोहल्ला
बरौनी
के
निवासी
हैं।
उनके
पापा
का
नाम
अनिल
त्रिपाठी
है।
अनिल
वर्तमान
में
जयपुर
में
रहते
हैं।
पढ़ा-लिखाकर
उन्होंने
बेटे
अभिषेक
को
एयरफोर्स
ज्वॉइन
कराई।एयरफोर्स
में
अभिषेक
विंग
कमांडर
हैं।
चुनिंदा विंग कमांडरों को ही फ्रांस भेजा था
अभिषेक के परिजन बोले- ''सरकार ने जब फ्रांस के साथ राफेल-डील को परवान चढ़ाया तो राफेल के लिए उपयुक्त पायलटों के चयन की प्रक्रिया भी शुरू हो गई थी। राफेल को भारत लाने के लिए चुनिंदा विंग कमांडरों को प्रशिक्षण दिया गया। जिनमें हमारा बेटा भी शामिल था।''
ट्रेनिंग फ्रांस के मोंट-डे-मार्सन एयरबेस पर हुई
'राफेल उड़ाने के लिए हमारे देश के पायलट्स की ट्रेनिंग फ्रांस के मोंट-डे-मार्सन एयरबेस पर हुई। यहीं पर मिराज-2000 लड़ाकू विमान के लिए भी ट्रेनिंग हुई थी। राफेल के लिए न सिर्फ भारतीय वायुसेना के पायलट्स को बल्कि इंजीनियरों और टेक्नीशियंस को भी ट्रेनिंग दी गई। यही लोग अब भारत आकर दूसरे साथियों को ट्रेनिंग देंगे।''
फ्रांस के एयरबेस पर सिम्युलेटर में भी राफेल उड़ाए
अभिषेक समेत कई अन्य भारतीय पायलट्स ने फ्रांस के एयरबेस पर सिम्युलेटर में भी राफेल उड़ाकर देखे। सिम्युलेटर एक तरह की मशीन होती है, जिसका इस्तेमाल ट्रेनिंग के लिए किया जाता है। वहां भारतीय राजदूत ने भी वह दृश्य देखा।
17वीं स्क्वाड्रन गोल्डन एरोज राफेल की पहली स्क्वाड्रन
जब राफेल भारत में आ जाएंगे तो 17वीं स्क्वाड्रन गोल्डन एरोज राफेल की पहली स्क्वाड्रन होगी। ट्रेनिंग लेकर आए पायलट ही इस स्क्वाड्रन में तैनात होंगे। एक साल बाद जब हाशिमारा में राफेल की दूसरी स्क्वाड्रन तैयार होगी, तब वहां पायलट का ग्रुप बंट जाएगा।
पांचों राफेल 7 हजार किमी की दूरी तय कर भारत पहुंचेंगे, 22 साल बाद आ रहा है कोई नया लड़ाकू विमान
पापा बोले- 1 विमान में हमारा ही बेटा सवार है
अभिषेक के पापा ने कहा, ''अभी पांच राफेल विमान लाए जा रहे हैं, बाकी बाद में आएंगे। सरकार ने कुल 36 राफेल खरीदे हैं। जिनमें से 10 तैयार हो गए, उनमें से भी अभी 5 ही मिले हैं। 27 जुलाई को फ्रांस से रवाना होने के बाद राफेल यूएई के एयरबेस पर उतारे गए। उनमें से एक विमान को हमारा बेटा विंग कमांडर अभिषेक त्रिपाठी ला रहा है।''
राफेल की अंबाला में तैनाती के बारे में वो सबकुछ जो आप जानना चाहते हैं, यहां कीजिए क्लिक
Recommended Video
संडीला में अभिषेक का बचपन बीता
अभिषेक बचपन से लेकर अब तक कई बार संडीला के बरौनी स्थित पैतृक आवास पर आकर परिजनों के साथ समय बिता चुके हैं। सोमवार को फ्रांस में भारत के राजदूत खुद जावेद अशरफ ने मेरिग्नेक हवाई अड्डे से विंग कमांडर अभिषेक को राफेल के साथ भारत के लिए रवाना किया।