चौकीदार को इस्तीफा सौंपकर हरदोई भाजपा सांसद ने 'मैं हूं...' अभियान पर कसे तंज, देखिए वीडियो
हरदोई। उत्तर प्रदेश की हरदोई लोकसभा सीट से भाजपा सांसद अंशुल वर्मा ने चुनाव से ठीक पहले पार्टी का साथ छोड़ दिया। लोकसभा चुनाव के लिए घोषित बीजेपी की पहली सूची से नाम कटने से हरदोई सुरक्षित लोकसभा क्षेत्र से पार्टी के सांसद अंशुल वर्मा नाराज थे। अंशुल वर्मा ने आज अपना इस्तीफा पार्टी दफ्तर में चौकीदार को सौंपा। इस्तीफा देने के पार्टी सांसद अंशुल वर्मा ने मीडिया से बात करते हुए कहा कि 'विकास किया है विकास करेंगे अंशुल थे अंशुल रहेंगे, चौकीदार ना कहेंगे।'
भाजपा सांसद अंशुल वर्मा ने 'चौकीदार' अभियान पर तंज कसते हुए उन्होंने कहा, 'विकास किया है विकास करेंगे अंशुल थे अंशुल ही रहेंगे, चौकीदार ना कहेंगे।' उन्होंने कहा कि अगर विकास मानक था तो24 हजार करोड़ लगाने के बाद आखिरी पायदान के जनपद को चौथे पायदान पर मात्र पांच साल में लाए। सदन में मेरी उपस्थिति 94 प्रतिशत, क्षेत्र में 95 प्रतिशत रही है तो मेरा दोष कहा था। उन्होंने कहा कि मेरा दोष ये था कि मेने अपने समाज के लिए सर उठाया। ये सर कट तो सकता है झुक नहीं सकता। उन्होंने कहा कि धन कुबेरे चौकीदार को इस्तीफा देने का कोई मायने नहीं था। असली और जिम्मेदार चौकीदार को मेने आपना इस्तीफा दिया है।
भारतीय जनता पार्टी ने अंशुल का टिकट काट पूर्व सांसद जय प्रकाश को इस सीट से प्रत्याशी बनाया है। टिकट काटे जाने से नाराज बीजेपी सांसद ने कहा था कि अगर विकास मानक है तो जातिगत इतने टिकट क्यों काटे गए। हरदोई लोकसभा क्षेत्र अनुसूचित जाति के लिए सुरिक्षत है। साल 2014 के चुनाव में भाजपा के टिकट पर अंशुल वर्मा ने हरदोई सीट से लगभग 90 हजार वोटों से जीत दर्ज की थी। इस बार भी वह टिकट के मजबूत दावेदार थे, लेकिन दोबारा भाजपा का दामन थामने वाले जय प्रकाश रावत अंशुल वर्मा पर भारी पड़े।