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Teacher's Day: शिक्षक दिवस पर कैसे भूल सकते हैं 'मालगुड़ी डेज' वाले आरके नारायण को?

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नई दिल्ली। अस्सी के दशक का सबसे लोकप्रिय धारावाहिक 'मालगुड़ी डेज' आज भी लोगों के जेहन में जिंदा है। जिसके रचनाकार अंग्रेजी साहित्य के सबसे महान उपन्यासकारों में गिने जाने वाले उपन्यासकार आर के नारायण थे। आप में से बहुत कम लोग जानते होंगे कि उपन्यास और कहानियों की दुनिया में रमने से पहले आरके नारायण एक शिक्षक थे और उनके पिता भी एक तमिल अध्यापक थे। आर के नारायण का पूरा नाम राशीपुरम कृष्ण स्वामीनारायण था।

आरके नारायण भी एक शिक्षक थे...

आरके नारायण भी एक शिक्षक थे...

बच्चों को पढ़ाते-पढ़ाते ही इनके अंदर का उपन्यासकार जागा था और स्कूली जीवन ने ही इनको मालगुड़ी डेज के स्वामी करेक्टर को रचने की प्रेरणा दी थी। इन्होंने बहुत ही खूबसूरत और दिल को छू लेने वाली कहानियों की रचना की थी। इनके उपन्‍यास 'गाइड' को तो साहित्य अकादमी पुरस्कार से सम्मानित किया गया था। जिस पर बॉलीवुड की सफल फिल्म गाइड बनी है, जिसमें मुख्य रोल देवानंद और वहीदा रहमान ने निभाया था।

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'मालगुड़ी डेज' आज भी लोगों के जेहन में जिंदा है

'मालगुड़ी डेज' आज भी लोगों के जेहन में जिंदा है

इसके अलावा आर के नारायण की इंग्लिश टीचर, डार्क रूम, मिस्टर संपत जैसे अनगिनत उपन्यासों ने उन्हें बुलंदियों तक पहुंचा दिया। 'मालगुडी डेज' पर तो दूरदर्शन ने धारावाहिक बनाया था, जिसने 80 के दौर के बच्चों पर गहरा असर डाला था। धारावाहिक में स्वामी एंड फ्रेंड्स और वेंडर ऑफ स्वीट्स की लघु कथाएं थी। इस धारावाहिक को हिन्दी व अंग्रेज़ी में बनाया गया था। दूरदर्शन पर मालगुडी डेज़ के कुल 39 एपिसोड प्रसारित हुए। यह धारावाहिक मालगुडी डेज़ रिटर्न नाम से पुनर्प्रसारित भी हुआ।

मालगुड़ी के लक्षण दुनिया में हर जगह मिल जाएंगे...

मालगुड़ी के लक्षण दुनिया में हर जगह मिल जाएंगे...

इस बारे में बात करते हुए आरके नारायण ने कहा था कि मालगुड़ी दक्षिण भारत में एक कस्बा है तो, यह अधूरी सच्चाई होगी, क्योंकि मालगुड़ी के लक्षण दुनिया में हर जगह मिल जाएंगे।

अपनी कहानियों से किया मार्गदर्शन

अपनी कहानियों से किया मार्गदर्शन

एक शिक्षक की पहचान होती है कि वो जीवन भर अपनी शिक्षा से लोगों का मार्गदर्शन करता रहे, वो लोगों को बताता रहे कि क्या सही है और क्या गलत है, आर के नारायण भी वो ही करते रहे, उनकी कहानियां लोगों को शिक्षा ही देती है। कोई जरूरी नहीं कि गुरू क्लास में ही आकर पढ़ाए, बल्कि वो तो ज्ञान की गंगा कहीं से भी बहा सकता है और आर के लक्ष्मण वो ही कर रहे हैं।

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English summary
R. K. Narayan was an Indian writer known for his works set in the fictional South Indian town of Malgudi. He was a leading author of early Indian literature in English along with Mulk Raj Anand and Raja Rao.
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