Thanda मतलब Coca Cola के बारे में जानिए कुछ खास बातें
नई दिल्ली। सोमवार को देश की राजधानी में राहुल गांधी ने कांग्रेस के ओबीसी सम्मेलन को संबोधित किया, इस दौरान राहुल ने कहा कि कोका-कोला कंपनी को शुरू करने वाला एक शिकंजी बेचने वाला व्यक्ति था, वह अमेरिका में शिकंजी बेचता था, पानी में शक्कर मिलाता था, उसके काम का आदर हुआ, उसे पैसा मिला और कोका-कोला कंपनी बनी, जो आज पूरे विश्व में विख्यात है। जिसके बाद लोगों ने कहना शुरू कर दिया कि राहुल गांधी को इतिहास के बारे में जानकारी नहीं हैं क्योंकि कोका-कोला कंपनी को किसी शिकंजी बेचने वाले शख्स ने नहीं, बल्कि अटलांटा के एक फार्मिस्ट जॉन पेम्बर्टन ने शुरू किया था।
चलिए जानते हैं इस कंपनी से जुड़ी कुछ रोचक बातें..........
'कोका-कोला' कंपनी में उत्पादन 1886 में शुरू हुआ था
- ठंडा मतलब 'कोका-कोला' कंपनी में उत्पादन 1886 में शुरू हुआ था, इसे अटलांटा के एक फार्मिस्ट जॉन पेम्बर्टन ने सबसे पहले अपने लैब में सोडा मिलाकर बनाया था।
- 12 मई 1886 में पहली बार मिसीसिपी के विक्सबर्ग में पहली बार सॉफ्ट ड्रिंक कोका कोला की बोटल बिक्री के लिए उतारी गई थी।
कोका-कोला कंपनी दुनिया भर में 2.3 अरब लीटर कोल्डड्रिंक बेचती है
- इसे पहली बार दिमाग को शांत करने वाले टॉनिक के तौर पर पेश किया गया था।
- 1903 तक इसमें कोकीन का प्रयोग भी होता था।
- एक लाख से अधिक कर्मचारियों वाली यह कंपनी दुनिया भर में 2.3 अरब लीटर कोल्डड्रिंक बेचती है।
कोका-कोला का फॉर्मूला अब तक पहेली
- कोका कोला का फॉर्मूला अब तक लोगों के लिए पहेली बना हुआ है।
- इसे एक टॉप सीक्रेट की तरह अमेरिका के जॉर्जिया के अटलांटा में मौजूद कंपनी के ऑफिस के लॉकर में बंद कर रखा गया।
कोका-कोला की दो अरब बोतलें रोज बिकती हैं
- कोका-कोला बनने के पहले साल में रोज इसके सिर्फ़ नौ गिलास ही बिक पाते थे।
- लेकिन आज दुनिया भर में कोका-कोला की करीब दो अरब बोतलें रोज बिकती हैं।
केवल दो जगह कोका-कोला नहीं खरीदा जा सकता है
पूरे विश्व में केवल दो जगह कोका-कोला नहीं खरीदा जा सकता है और ये देश हैं उत्तर कोरिया और क्यूबा , ऐसा अमरीकी प्रतिबंध की वजह से हुआ है।
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