Delhi-NCR की हवा हुई प्रदूषित, इन चीजों पर लग सकती है पाबंदी
देश की राजधानी दिल्ली (Delhi-NCR) में दीवाली करीब आने के साथ ही प्रदूषण का स्तर काफी खतरनाक लेवल पर पहुंच गया है। प्रदूषण का स्तर दिल्ली-एनसीआर में काफी बढ़ गया है। ओखला क्षेत्र में प्रदूषण का स्तर इस कदर बढ़ गया है कि हवा में धुंध नजर आ रही है। बढ़ते प्रदूषण को देखते हुए पर्यावरण मंत्रालय ने फॉरेस्ट एंड क्लाइमेट चेंज की बुधवार को आपात बैठक बुलाई है। यह बैठक स्टेज-2 ग्रेडेड रिस्पॉस एक्शन प्लान को लागू करने को लेकर की गई। जीएआरपी की स्टेज-2 के तहत सड़कों की मैकेनिकल सफाई की जाती है, जिन होटल में कोयले का इस्तेमाल करके खाना बनता है उसे बंद कर दिया जाता है, डीजल से चलने वाले जेनरेटर पर भी रोक लगा दी जाती है। प्राइवेट वाहनों पर पार्किंग का शुल्क बढ़ा दिया जाता है। साथ ही बस और मेट्रो ट्रेन के इस्तेमाल को बढ़ावा दिया जाता है।
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क्या
है
GRAP
जीआरएपी
के
तहत
प्रदूषण
पर
नियंत्रण
हासिल
करने
के
लिए
सख्त
पाबंदियां
लगाई
जाती
हैं,
आपातकाल
जैसे
कदम
उठाए
जाते
हैं
जिससे
कि
प्रदूषण
के
स्तर
को
कम
किया
जा
सके।
इसमे
अलग-अलग
चरण
में
अलग-अलग
कदम
उठाए
जाते
हैं।
यह
मुख्य
रूप
से
चार
चरण
में
बंटा
हुआ
है।
यह
चारों
चरण
प्रदूषण
के
स्तर
के
और
हवा
में
प्रदूषण
कितना
है
उसके
आधार
पर
तय
किया
जाता
है।
अगर
निश्चित
मात्रा
से
अधिक
वायु
में
प्रदूषण
आता
है
तो
उसके
लिहाज
से
अलग-अलग
स्टेज
की
पाबंदियां
लगाई
जाती
है।
जनवरी 2017 में जीआरएपी को लेकर पर्यावरण मंत्रालय, फॉरेस्ट एवं क्लाइमेट चेंज ने नोटिफिकेशन जारी किया था। सेंट्रल पॉल्यूशन कंट्रोल बोर्ड ने नवंबर 2016 में अपनी रिपोर्ट दी थी, जिसके बाद केंद्र ने जीआरएपी का नोटिफिकेशन जारी किया था। पर्यावरण प्रदूषण प्राधिकरण को यह जिम्मेदारी दी गई थी कि वह जीआरएपी को एनसीआर में लागू करे। लेकिन जब इस प्राधिकरण को खत्म कर दिया गया तो जीआरएपी को कमिशन फॉर एयर क्वालिटी मैनेजमेंट 2021 से लागू कर रहा है।