क्या है 'वन नेशन वन राशन कार्ड' स्कीम, PM मोदी की इस योजना से 67 करोड़ लोगों को सीधा लाभ
क्या है 'वन नेशन वन राशन कार्ड' स्कीम, PM मोदी की इस योजना से 67 करोड़ लोगों को सीधा लाभ
नई दिल्ली। कोरोना संकट और लॉकडाउन से लड़ रहे देश को आत्मनिर्भर बनाने के लिए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने 20 लाख करोड़ के आर्थिक पैकेज की घोषणा की। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण चरणबद्ध तरीके से इस आत्मनिर्भर भारत स्कीम की जानकारी दे रही है। गुरुवार को आर्थिक पैकेज के दूसरे फेज के तहत वित्त मंत्री ने 9 बड़े ऐलान किए, जिसमें मुख्य फोकस गरीबों, प्रवासी मजदूरों, किसान और रेहड़ी-पटरी पर काम करने वाले कामगारों पर रहा। इस दौरान उन्होंने देशभर में वन नेशन वन राशन कार्ड योजना लागू करने की घोषणा की। वित्त मंत्री के ऐलान के बाद भारत के 23 राज्य One Nation One Ration Card स्कीम से जुड़ गए हैं।
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67 करोड़ लोगों को लाभ
निर्मला सीतारमण ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में जानकारी दी कि इस योजना से सार्वजनिक वितरण से जुड़ी 83 फीसदी आबादी अब वन नेशनल वन राशन कार्ड स्कीम से जुड़ जाएगी। देश के 23 राज्यों में मौजूद 67 करोड़ राशनकार्ड धारक , जो कि कुल PDS आबादी का 83 फीसदी है वो इस स्कीम से जुड़ जाएंगे। अगस्त, 2020 तक 67 करोड़ लोग नेशनल पोर्टेबिलिटी के तहत आ जाएंगे। सरकार का लक्ष्य मार्च 2021 से पहले 100 फीसदी करने का है।
क्या है One Nation One Ration Card योजना
मोदी सरकार की महत्वाकांक्षी योजनाओं में से एक 'वन नेशन वन राश कार्ड' योजना के तहत देशभर में एक राशन कार्ड ही लागू होगा। इस योजना से जुड़े लोग किसी भी राज्य में रहकर सरकारी स्कीम के तहत दिए जाने वाले राशन को लेकर सकते हैं। अगर साधाराण भाषा में समझे तो जैसे मोबाइल पोर्ट कराने पर आपका नंबर नहीं बदलवा और आप देशभर के किसी भी कोने से कहीं भी बात कर लेते हैं उसी तरीके से वन नेशनल वन राशन कार्ड स्कीम के तहत पूरे देश में एक ही राशन कार्ड लागू होगा, जो हर राज्य में चलेगा। अगर आप एक राज्य से दूसरे राज्य में जाते हैं तो भी आप अपने उसी राशन कार्ड का इस्तेमाल कर सस्ते दरों पर सरकारी राशन खरीद सकते हैं।
किसे मिलेगा फायदा
इस स्कीम के तहत लोगों को राज्य बदलने पर कोई नया राशन कार्ड नहीं बनाना होगा। इसका फायदा गरीबों, मजदूरों, प्रवासी मजदूरों को मिलेगा। काम की तलाश में एक जगह से दूसरे जगह जाने पर भी उन्हें नया राशन कार्ड बनवाने की जरूरत नहीं होगी। इस स्कीम को 12 राज्यों में 1 जनवरी से लागू कर दी गई है। इस योजना के तहत पीडीएस के लाभार्थियों की पहचान उनके आधार कार्ड पर इलेक्ट्रॉनिक प्वाइंट ऑफ सेल डिवाइस के जरिए की जाएगी। सरकार इसके लिए सभी पीडीएस दुकानों पर पीओएस मशीनें लगाई जाएंगी।
नहीं बनवाना होगा नया राशन कार्ड
इस स्कीम के मुताबिक अगर किसी के पास पहले से राशन कार्ड है तो उसे नया राशन कार्ड बनवाने की जरूरत नहीं है। जिनके पास कोई राशन कार्ड नहीं है सिर्फ उन्हें ही नया राशन कार्ड बनवाना होगा। जिनके पास पहले से राशन कार्ड है उन्हें उसी कार्ड के आधार पर अनाज मिलेगा। इस स्कीम के तहत भारत का कोई भी कानूनी नागरिक इस राशन कार्ड के लिए अप्लाई कर सकता है। स्कीम के तहत 18 साल से कम उम्र के बच्चों को परिवार के साथ यानी माता-पिता के साथ राशन कार्ड में जोड़ा जाएगा।
इन राज्यों में हो चुके हैं लागू
वन नेशन वन राशन कार्ड स्कीम के तहत अब तक 17 राज्य इसमें शामिल हो चुके हैं। यह योजना 1 जून 2020 से शुरू होगी। देश के 12 राज्यों आंध्र प्रदेश, तेलंगाना, गुजरात, महाराष्ट्र, हरियाणा, राजस्थान, कर्नाटक, केरल, मध्य प्रदेश, गोवा, झारखंड और त्रिपुरा में पहले से ही इस स्कीम की शुरुआत की जा चुकी है। अब इसमें 5 और राज्यों को जोड़ा गया है। इसमें अब बिहार, उत्तर प्रदेश, पंजाब, हिमाचल प्रदेश, दमन एंड द्वीप को भी जोड़ा गया है।
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