पीएनबी में एक और बड़ा घोटाला, डीएचएफएल ने लगाया 3,688 करोड़ का चूना
मुंबई। पहले से ही आर्थिक परेशानियों में घिरी पंजाब नेशनल बैंक(पीएनबी) की मुश्किलें कम होने का नाम नहीं ले रही है। पंजाब नेशनल बैंक में एक बड़ी धोखाधड़ी का पर्दाफाश हुआ है। पीएनबी ने गुरुवार को कहा कि उसने दीवान हाउसिंग फाइनेंस लिमिटेड (डीएचएफएल) के एनपीए खाते में 3,688.58 करोड़ रुपये की धोखाधड़ी के बारे में जानकारी आरबीआई को दी है। बैंक में इसे पहले हीरा कारोबरी नीरव मोदी ने 15000 करोड़ रुपये का फॉर्ड किया था।
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पंजाब नेशनल बैंक ने गुरुवार को भारतीय रिज़र्व बैंक को बताया कि, बैंक ने दीवान हाउसिंग फाइनेंस लिमिटेड (डीएचएफएल) को 3,688.58 करोड़ रुपये का ऋण दिया था। पीएनबी ने स्टॉक एक्सचेंज को दी गई सूचना में डीएचएफएल फॉर्ड की जानकारी दी है। पीएनबी ने कहा कि, डीएचएफएल की मुंबई स्थित बड़ी कॉर्पोरेट शाखा में गैर-निष्पादित परिसंपत्ति खाते में यह फ्रॉड किया गया है। तीन साल के अंदर पीएनबी में यह चौथा बड़ा घोटाला है।
डीएचएफएल देश की पहली फाइनेंशियल कंपनी है जिसे बैंकरप्सी कोर्ट में ले जाया गया। इसका कुल कर्ज 85,000 करोड़ रुपए से ज्यादा का है। इसके प्रमोटर कपिल वधावन पर आरोप हैं कि वे मनी लांड्रिंग करते थे। गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनी दीवान हाउसिंग फाइनेंस वर्तमान में दिवालिया कार्यवाही के तहत है। पंजाब नेशनल बैंक ने कहा कि उसने पहले ही घटना से संबंधित 1,246.58 करोड़ रुपये के प्रावधान कर दिए थे। 2018 में हीरा कारोबरी नीरव मोदी ने बैंक के साथ 12 हजार करोड़ का फ्रॉड किया था।
भारतीय स्टेट बैंक और यूनियन बैंक सहित अन्य बैंकों ने भी दीवान हाउसिंग फाइनेंस के खातों को धोखाधड़ी के रूप में रिपोर्ट किया है। पंजाब नेशनल बैंक ने जून में वित्तीय वर्ष 2019-20 की चौथी तिमाही के लिए कुल गैर-निष्पादित परिसंपत्तियों यानि एनपीए की 73,500 करोड़ रुपये की सूचना दी। कुल ऋणों के प्रतिशत बात करें तो सकल एनपीए 14.21 प्रतिशत रहा, जबकि पिछली तिमाही में 15.5 प्रतिशत था।
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