बिजनेस रैकिंग सुधरने से भारत को होंगे ये फायदे, जानें आम आदमी के काम की बात
नई दिल्लीः नोटबंदी की सालगिरह पर मोदी सरकार के लिए अच्छा खबर आई। विश्व बैंक द्वारा जारी की गई रैकिंग के अनुसार भारत में 'ईज ऑफ डूइंग बिजनेस' में सुधार हुआ है भारत की रैकिंग 130 से 100 पर आ गई है, इससे भारत को काफी फायदा होने की उम्मीद जताई जा रही है। रैकिंग सुधरने से भारत की अर्थव्यवस्था को सीधा फायद मिलेगा। विशेषज्ञों की माने तो इससे भारत में रोजगार को अवसर बढ़ने के साथ विदेशी निवेश बढ़ने में भी मदद मिलेगी।
एनेट डिक्सन ने की भारत की तारीफ
वर्ल्ड बैंक की साउथ एशिया वीपी (वाइस प्रेसीडेंट) एनेट डिक्सन ने भारत की बढ़ी रैकिंग के बारे में कहा है कि रैकिंग में सुधार बताता है कि भारत में व्यापार करना आसान हो गया है। देश में व्यापार करना आसान होने से देश में विदेशी कंपनियां तेजी से भारत में निवेश बढ़ाने पर विचार करेंगी। भारत में निवेश बढ़ने से रोजगार के अवसर पैदा होंगे। जब भी किसी देश की रैकिंग बढ़ती है उससे देश की अर्थव्यवस्था को फायदा होता है।
निशा देसाई बिस्वाल ने भी बताया फायदेमंद
रैकिंग बढ़ने के बारे में अमेरिका-इंडिया बिजनेस काउंसिल (यूएसआईबीसी) की नई अध्यक्षा निशा देसाई बिस्वाल ने कहा है कि भारत के लिए ये बहुत ही अच्छा है। इससे विदेशी निवेश आकर्षित करने में मदद मिलेगी। एफडीआई पानी की तरह होता है, वह उस रास्ते पर बढ़ता, जहां कम रोक-टोक हो।
इससे महंगाई घटेगी, देश में निवेश बढ़ेगा
इससे देश के लोगों को भी फायदा होगा, इससे महंगाई घटेगी। एक न्यूज चैनल से बात करते हुए कैपिटल सिंडिकेट के मैनेजिंग पार्टनर सुब्रमण्यम पशुपति ने कहा कि रैकिंग से सुधरने से विदेश निवेश बढ़ेगा और भारत के रुपए को मजबूती मिलेगी। इससे इंपोर्ट करना सस्ता हो जाएगा, जिसके कारण देशवासियों पर महंगाई का बोझ कम हो जाएगा।
देश के छोटे कारोबारियों को भी फायदा मिलेगा।
देश के छोटे कारोबारियों को भी फायदा मिलेगा। एनेट डिक्सन का कहना है कि रैकिंग सुधरना इस बात की ओर इशारा करता है कि देश में कारोबार के लिए माहौल सरल हो गया है। अगर देश में छोटे कारोबारियों को अपना कारोबार करने में कोई मुश्किल नहीं होती है तो उनका व्यापार भी बढ़ता और देश की अर्थव्यवस्था को बढ़ावा मिलता है।