अंतरराष्ट्रीय बाजार में लगातार कम हो रहे कच्चे तेल के दाम, जनता को कब मिलेगी राहत?
नई दिल्ली: पिछले साल कोरोना महामारी पूरी दुनिया में फैली, जिस वजह से ज्यादातर बड़े देशों को लॉकडाउन लागू करना पड़ा। इसके बाद से क्रूड ऑयल के दामों में कमी देखी जा रही है। बात करें दुनिया के सबसे शक्तिशाली देश अमेरिका की तो वहां पर क्रूड ऑयल का भंडारण पिछले चार हफ्तों से बढ़ता जा रहा है। जिस वजह से दाम में गिरावट आ रही है, लेकिन अभी भी एक सवाल लोगों के मन में है कि क्या अंतरराष्ट्रीय बाजार में दाम कम होने से भारत में तेल की कीमतें कम होंगी?
अंतरराष्ट्रीय वायदा बाजार इंटरकांटिनेंटल एक्सचेंज (आईसीई) पर ब्रेंट क्रूड के मई डिलीवरी अनुबंध में गुरुवार को बीते सत्र से 1.29 फीसदी की कमी के साथ 67.12 डॉलर प्रति बैरल पर कारोबार चल रहा था। वहीं न्यूयॉर्क मर्केंटाइल एक्सचेंज (नायमैक्स) के अप्रैल अनुबंद के लिए कीमत 63.77 डॉलर प्रति बैरल है यानी इसमें 1.28 फीसदी की गिरावट आई। अंतरराष्ट्रीय बाजार में पांचवें दिन लगातार कीमतें कम होने से घरेलू बाजार में भी राहत की उम्मीद है।
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उच्चतम
स्तर
पर
पेट्रोल-डीजल
तीन
हफ्ते
पहले
पेट्रोल-डीजल
की
कीमतों
में
आग
लगी
थी,
लेकिन
बीते
19
दिनों
से
जनता
को
काफी
राहत
है,
क्योंकि
दोनों
के
ही
दामों
में
बढ़ोतरी
नहीं
हुई।
गुरुवार
को
राजधानी
दिल्ली
में
पेट्रोल
की
कीमत
91.17
रुपये
जबकि
डीजल
के
दाम
81.47
रुपये
प्रति
लीटर
है।
वहीं
मुंबई
में
ये
आंकड़ा
क्रमश:
97.57
और
88.60
रुपये
प्रति
लीटर
है।