जेट ईंधन के दामों में हुई 6.7% की वृद्धि, जल्द बढ़ सकते हैं पेट्रोल-डीजल के दाम
शनिवार को जेट ईंधन की कीमतों में 6.7% की वृद्धि हुई, हालांकि पिछले महीने इसके दामों में कटौती की गई थी। इसके अतिरिक्त अंतरराष्ट्रीय बाजार में पेट्रोल और डीजल की कीमतों में भी तेजी आई है।
नई दिल्ली, 1 मई। शनिवार को जेट ईंधन की कीमतों में 6.7% की वृद्धि हुई, हालांकि पिछले महीने इसके दामों में कटौती की गई थी। इसके अतिरिक्त अंतरराष्ट्रीय बाजार में पेट्रोल और डीजल की कीमतों में भी तेजी आई है जिसके चलते भारत में भी पेट्रोल-डीजल की कीमतों में वृद्धि की संभावना है। विमानन टरबाइन ईंधन (एटीएफ) के दामों में 3,885 (6.7%) रुपए किलोमीटर की वृद्धि हुई है। कीमतों में उछाल के साथ राजधानी में विमानन टरबाइन ईंधन की कीमत बढ़कर 61,690.28 रुपए प्रति किलोमीटर हो गई है। राज्य के तेल विक्रेताओं ने इस बात की जानकारी दी। हालांकि राज्य दर राज्य वहां लगने वाले कर के आधार पर कीमतें कम ज्यादा हो सकती हैं।
पिछले महीने की बात करें तो जेट ईंधन के दामों में दो बार कटौती की गई थी। 1 अप्रैल को जेट ईंधन के दामों में 3% की कटौती की गई थी और फिर 16 अप्रैल को ईंधन के दामों में 1% की कटौती की गई थी। हालांकि इसी बीच लगातार 16वें दिन पेट्रोल-डीजल के दामों में स्थिरता देखी गई। लेकिन तेल कंपनियों ने निकट भविष्य में पेट्रोल-डीजल के दामों में बढ़ोत्तरी के संकेत दिये हैं।
यह भी पढ़ें: कोरोना: बिना वैक्सीन के मोदी सरकार ने आज से क्यों की टीकाकरण की घोषणा
भारत में कोरोना वायरस के बढ़ते मामलों के बावजूद अमेरिका की मजबूत मांग और कमजोर डॉलर के चलते अंतरराष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल की लगातार तेजी देखने को मिली है। एक अधिकारी ने बताया कि पिछले 4 दिनों से कच्चे तेल की कीमतों में वृद्धि जारी है। उन्होंने आगे कहा कि दुबई कच्चे तेल की कीमतों में 2.91 डॉलर प्रति बैरल की वृद्धि हुई है।
अधिकारियों का कहना है कि बढ़ते दबाव के कारण अंतरराष्ट्रीय बाजार में निकट भविष्य में कच्चे तेल के दामों में स्थिरता देखने को मिल सकती है। वहीं, भारतीय तेल कंपनियों ने पांच राज्यों में हुए विधानसभा चुनाव के चलते पिछले 16 दिनों से तेल के दामों में कोई बदलाव नहीं किया है। नई दिल्ली में पेट्रोल 90.40 रुपए प्रति लीटर जबकि डीजल 80.73 रुपए प्रति लीटर पर बेचा जा रहा है।
तेल के दामों में वृद्धि का कारण उसपर लगने वाला टैक्स है। केंद्र और राज्य सरकारें पेट्रोल के खुदरा बिक्री मूल्य पर 60% जबकि डीजल पर 54% से अधिक टैक्स लगाती हैं। केंद्र सरकार पेट्रोल पर 32.90 रुपए प्रति लीटर जबकि डीजल पर 31.80 रुपये प्रति लीटर का शुल्क लगाती है।