पाकिस्तान से लौटकर कैसे करोड़पति बना बिजनौर का गरीब अबरार, ईडी तक पहुंचा मामला
बिजनौर। साल 2007 में बिजनौर में धामपुर के हर्रावाला इलाके का रहनेवाला अबरार अहमद पाकिस्तान गया था। पुलिस के मुताबिक, कुछ सालों में ही अबरार ने बिजनौर के कई इलाकों में प्रॉपर्टी खरीदनी शुरू कर दी। उसकी करोड़ों की संपत्ति की जांच पुलिस कर रही है। खुफिया एजेंसियां अबरार के पाकिस्तानी कनेक्शन की तह तक पहुंचने की कोशिश में लगी है। इसी बीच बिजनौर पुलिस ने मामले की जांच ईडी को सौंपने का फैसला लिया है और इसके लिए पत्र भेज दिया है।
पाक धार्मिक संगठन दाव ए इस्लाम से जुड़ा अबरार
बिजनौर के हर्रावाला इलाके का रहने वाला ये है अबरार अहमद जो मोटर मैकेनिक का काम करता है। साल 2007 में अबरार पाकिस्तान के कराची में धार्मिक प्रचार प्रसार के लिए जमात में गया था। पुलिस की मानें तो दाव ए इस्लाम पाकिस्तानी धार्मिक संगठन से अबरार के ताल्लुक हैं। पुलिस अधिकारियों का कहना है कि साल 2007 के बाद से ही धार्मिक प्रचार के लिए आ रहे पैसों से मोटर मकैनिक अबरार ने बिजनौर इलाके में कई प्रॉपर्टी बना ली।
पाकिस्तान के मस्जिद में ठहरा था
पुलिस के मुताबिक, अबरार 2007 में पाकिस्तान गया था और वहां कराची के मस्जिद में रुका था। उसके साथ गए लोग वापस भारत लौट आए लेकिन अबरार कराची में ही रुका रहा। इसके बाद जब वह देश वापस लौटा तो संपत्ति खरीदनी शुरू कर दी। उसकी संपत्ति में बढ़ोतरी को देखते हुए खुफिया सूचना मिलने के बाद पुलिस ने इस मामले में जांच शुरू की। उसे हिरासत में लेकर पुलिस ने पूछताछ की।
'मुझे परेशान कर रही पुलिस'
अबरार अहमद का कहना है कि पुलिस आए दिन मुझे परेशान कर रही है और उसके पास कोई भी प्रॉपर्टी नहीं है। उसने स्वीकार किया है कि दाव ए इस्लाम के कई कार्यालय देश के कई शहरों में चल रहे हैं और वह इनसे जुड़ा है। धार्मिक प्रचार के लिए पाकिस्तान से पैसा आने की बात को भी उसने स्वीकार किया। लेकिन उसका कहना है कि पुलिस उसकी संपत्ति को लेकर जो दावे कर रही है, वह सही नहीं हैं। अबरार ने कहा कि वह जांच के लिए तैयार है।
पुलिस ने जांच के लिए ईडी को लिखी चिट्ठी
इस मामले पर एसपी देहात विश्वजीत श्रीवास्तव ने बताया है कि पुलिस की जांच में मोटर बाइंडिंग के काम करने वाले अबरार के पास कुछ सालों में ही करोड़ों की संपत्ति आ जाने का पता चला है। वह पाकिस्तान के धार्मिक संगठन दाव ए इस्लाम से जुड़ा है। जांच में फिलहाल उसके आतंकी कनेक्शन का पता नहीं चला है। पुलिस ने इसकी आगे की जांच के लिए ईडी को पत्र लिखा है।
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