20 साल बाद ट्रेन में मिला बचपन का खोया हुआ बेटा तो शुरू हो गया हाईवोल्टेज ड्रामा
महिलाओं ने कहा कि हमारे गांव के रहने वाले भुवनेश्वर पासवान ने भी आज से 20 साल पहले इसी रेलवे स्टेशन से एक बच्चे को अपने घर में जगह दी थी जो आपके सामने खड़ा है।
पटना। ट्रेन चढ़ने के दौरान भीड़ की वजह से एक 5 साल का मासूम अपने मां-बाप से बिछड़ गया। मासूम के बिछड़ने के बाद जहां मां-बाप उसकी तलाश में दर-दर भटकते रहे वहीं मासूम बच्चा अपनी मां से बिछड़ने के बाद स्टेशन पर ही अकेले बैठकर रो रहा था। तभी उस मासूम बच्चे पर एक युवक की नजर गई और वो उसे अपना बेटा बनाघर घर ले आया। पहले से ही उस युवक के चार लड़के थे फिर भी वो उसे अपना पांचवां बेटा बनाकर रखने लगा। लेकिन 5 साल का बिछड़ा हुआ बेटा 20 साल बाद जवान होकर उसी स्टेशन पर फिर अपने मां-बाप से मिला।
जिसे देखने के बाद मां-बाप उसे अपना बेटा बताने लगे तो बेटा उंहें पहचानने से इनकार कर रहा था। देखते ही देखते मां-बाप और बेटे के बीच हाईवोल्टेज ड्रामा शुरू हो गया। फिर मौके पर पहुंची पुलिस भी पूछताछ के लिए उन्हें थाने ले आई जहां ये पता चला कि वो लड़का इस बूढ़े मां-बाप का बेटा ही है। जो आज से 20 साल पहले इसी स्टेशन पर खो गया था। अब आप सोच रहे होंगे कि ये कहानी कुछ फिल्मी लग रही है, कहीं काल्पनिक तो नहीं! तो हम आपको बता दें कि ये काल्पनिक नहीं बल्कि हकीकत कहानी बिहार के गया जिले में सामने आई है।
जानकारी के मुताबिक मामला बिहार के गया जिले में गुरारू थाना क्षेत्र का है। दशरथ बिगहा गांव के रहने वाले अनिल आज से 20 साल पहले अपने मां-बाप के साथ अनुग्रह नारायण रोड रेलवे स्टेशन आया था और ट्रेन के जरिए कहीं जाने की तैयारी कर रहा था। तभी मां-बाप से बिछड़ने के बाद उस पर रफीगंज मारीपुर गांव के रहने वाले भुवनेश्वर पासवान की नजर पड़ी। जिसने रोने का कारण पूछा तो वो मां-बाप से बिछड़ने की बात बताने लगा। पता पूछने पर वो सही पता नहीं बता पाया। जिसके कारण भुवनेश्वर पासवान उसे अपने घर ले गए और अपना बेटा बनाकर रखने लगे। देखते ही देखते दिन बीतने लगे बच्चा अपने मां-बाप को भूल गया। पर मां-बाप उसे ढूंढने के लिए दर-दर भटक रहे थे। इसी दौरान 20 साल बाद वो उसी स्टेशन पर ट्रेन से सफर करने के लिए पहुंचे थे। तभी मां ने आस-पास बैठी महिलाओं से अपने बच्चे के गायब हो जाने की बात कही। इसी दौरान उसका खोया हुआ बेटा और उसे ले जाने वाला शख्स वहीं बैठा था। महिलाओं ने कहा कि हमारे गांव के रहने वाले भुवनेश्वर पासवान ने भी आज से 20 साल पहले इसी रेलवे स्टेशन से एक बच्चे को अपने घर में जगह दी थी जो आपके सामने खड़ा है। कहीं ये आपका बेटा तो नहीं।
महिला की जुबान से इस तरह की बात सुनने के बाद मां-बाप उस बच्चे को गौर से देखने लगे तो उन्हें अपना बच्चा याद आ गया। फिर क्या था दौड़ते हुए उसके पास पहुंचे और गले लगाकर कहा कि आज से 20 साल पहले इसी स्टेशन पर खोया हुआ बेटा आज फिर मुझे मिल गया। लेकिन बूढ़े मां-बाप की जुबान से इस तरह की बात सुनने के बाद 25 साल का युवक अपने आप को भुवनेश्वर पासवान का बेटा बता रहा था। देखते ही देखते मामला आगे बढ़ा और भुवनेश्वर पासवान के साथ बूढ़े मां-बाप नोक-झोक करने लगे। इस नोक-झोक को देखते हुए मौके पर पहुंची पुलिस ने पूछताछ कर मामला सुलझाने के लिए सभी को थाने बुलाया। जहां सभी से पूछताछ की गई और पूछताछ के दौरान पुलिस ने जब सख्ती दिखाई तो भुवनेश्वर पासवान ने सारी सच्चाई पुलिस के सामने ला दी। जिसके बाद बूढ़े मां-बाप को आज से 20 साल पहले खोया हुआ बेटा वापस मिल गया।
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