नाबालिग से I LOVE YOU कहना युवक को पड़ा महंगा, पुलिस ने पॉक्सो एक्ट में पकड़कर जेल भेजा
Uttar pradesh crime news in hindi, बाराबंकी। यूपी के बाराबंकी जिले में एक शख्स को नाबालिग लड़की के पीछे पड़ना महंगा पड़ गया। परेशान लड़की ने उसकी शिकायत अपने घरवालों से की, जिसके बाद मां की तहरीर पर पुलिस ने उस शख्स के खिलाफ पॉक्सो एक्ट (Pocso Act) के तहत मामला दर्ज कर लिया। आरोपी को जेल ले जाया गया। आरोपी के मुताबिक, उसने लड़की को आई लव यू (I LOVE YOU) कहा था।
लल्लू नाम के बीमा एजेंट ने की थी ये हरकत
आरोपी की पहचान लल्लू के तौर पर हुई है। वह एक बीमा एजेंट है और बाराबंकी में रामसनेहीघाट थाना क्षेत्र में रहता है। पुलिस का कहना है कि लल्लू के खिलाफ एक नाबालिग लड़की से छेड़छाड़ की शिकायत दर्ज हुई थी। इसलिए उस पर पॉक्सो एक्ट (Pocso Act) के तहत मुकदमा दर्ज किया गया। पीड़ित लड़की की मां ने कहा था कि लल्लू उसकी लड़की को बैंक में खाता खुलवाने के बहाने ले जा रहा था। बैंक ले जाते समय ही उसने उससे छेड़छाड़ की।
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सोशल साइट्स पर चर्चा का विषय बना यह केस
जिसके बाद मामला पुलिस के पास पहुंचा तो उस मां की तहरीर पर पुलिस ने आरोपी को गिरफ्तार कर लिया। उस पर पॉक्सो एक्ट के अलावा अन्य धाराएं भी लगाई गई हैं। यह मामला इलाके में चर्चा का विषय बन गया है। वहीं, कुछ लोगों ने इसे सोशल मीडिया पर भी शेयर किया है। इस जिले में यह संभवत: पहला केस है, जब किसी को इस तरह गिरफ्तार किया गया है।
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जानिए, क्या है पॉक्सो एक्ट?
बच्चों के साथ होने वाली यौन अपराधों से जुड़ी घटनाओं को देखते हुए सरकार ने वर्ष 2012 में एक विशेष कानून बनाया था। इसे पॉक्सो एक्ट (प्रोटेक्शन ऑफ चिल्ड्रेन फ्राम सेक्सुअल अफेंसेस एक्ट 2012) कहा गया, यह कानून नाबालिग लड़के-लड़कियों से छेड़खानी, बलात्कार व अन्य यौन कुकर्मों से सुरक्षा प्रदान करने के लिए माना जाता है। एक एक्सपर्ट कहती हैं कि ऐसा नहीं है कि केवल लड़कियों का ही शोषण होता हो, लड़कों के यौन शोषण की घटनाएं भी लगभग समान ही होती हैं। लड़कों के यौन शोषण के मामले केवल अपवाद स्वरूप ही प्रकाश में आते हैं। जबकि, यौन अपराधों से नाबालिगों की सुरक्षा के लिए बना प्रोटेक्शन ऑफ चिल्ड्रन फ्रॉम सैक्सुअल ऑफेंसेस (पाॅक्सो) कानून 18 साल तक के हर लड़के-लड़की को समान रूप से सुरक्षा प्रदान करता है।
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क्या हैं सजा के प्रावधान?
इस एक्ट के तहत अलग-अलग केसों में अलग-अलग सजा का प्रावधान है और यह भी ध्यान दिया जाता है कि इसका पालन कड़ाई से किया जा रहा है या नहीं। इस एक्ट की धारा-4 में वो मामले आते हैं जिसमें नाबालिग के साथ कुकर्म या फिर दुष्कर्म किया गया हो। इस अधिनियम में 7 साल की सजा से लेकर उम्रकैद तक का प्रावधान है। साथ ही अभियुक्त के खिलाफ जुर्माना भी लगाया जा सकता है।