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जानिये कैसे भड़की मुजफ्फरनगर में सांप्रदायिक हिंसा

By Ians Hindi
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मुजफ्फरनगर। उत्तर प्रदेश के मुजफ्फनगर जिले में दो भाइयों ने उस व्यक्ति की हत्या कर दी, जिसने उनकी बहन के साथ छेड़खानी की थी। बदले में मृतक के परिवार वालों ने दोनों भाइयों को मार डाला। क्रिया-प्रतिक्रिया की यह घटना यहीं नहीं रुकी। जगल की आग की तरह इसने पूरे जिले को अपनी गिरफ्त में ले लिया और अब तक इसमें 28 व्यक्तियों की जानें जा चुकी हैं।

घटना 27 अगस्त की है, जब लड़की के दोनों भाई छेड़खानी करने वाले उस लड़के के परिवार वालों से बात करने गए थे, जिसकी उन्होंने चाकू घोंपकर हत्या कर दी थी। मृतक के परिवार वालों ने दोनों भाइयों की पीट-पीट कर हत्या कर दी। सूत्रों ने बताया कि पुलिस ने लड़की के माता-पिता के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज कर ली, जो कि घटनास्थल पर मौजूद ही नहीं थे।


प्राथमिकी में लड़की के माता-पिता का नाम शामिल किया जाना, इलाके के बहुसंख्यक समुदाय को नागवार गुजरा। इसके बाद लड़की के परिवार से सहानुभूति रखने वालों ने कव्वाल गांव में 31 अगस्त को एक पंचायत की घोषणा की। दूसरे पक्ष ने इसका विरोध किया। कवाल पंचायत के विरोध में शहर के खालापार इलाके में उसी दिन समानांतर पंचायत बुलाने का फैसला किया गया। इस पर क्षेत्रीय सांसदों, विधायकों और स्थानीय नेताओं ने कव्वाल पंचायत के आयोजकों को चेतावनी दी कि 31 अगस्त को यह पंचायत नहीं होने दी जाएगी।

इसके बाद प्रशासन ने स्थानीय क्रुद्ध स्थानीय लोगों को आश्वस्त किया कि खालापार पंचायत नहीं होने दी जाएगी। प्रशासन ने भारतीय किसान यूनियन के नेताओं राकेश और नरेश टिकैत से बातचीत करने के बाद घोषणा की कि प्रस्तावित पंचायत स्थगित कर दी गई है।

कवाल पंचायत के लिए लगभग 40 हजार लोग इक्कट्ठे हुए थे, लेकिन आयोजकों ने पंचायत स्थगित कर दी और घोषणा की कि सात सितंबर को पंचायत की जाएगी। लेकिन 'बेटी बचाओ बहू बचाओ पंचायत' के सदस्यों जब घर लौेट रहे थे, तो शाहपुर पुलिस थाने के अंतर्गत बस्सी गांव में उनपर तलवारों से हमला किया गया।


पुलिस ने राष्ट्रीय सुरक्षा कानून (एनएसए) के तहत आठ लोगों के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया, जिसमें से सात लोगों का संबंध बहुसंख्यक और एक अल्पसंख्यक समुदाय से था। इसके फौरन बाद शामली और मेरठ जिलों के अंतर्गत आने वाले पड़ोसी इलाकों में भी दंगा भड़क गया। जिला अस्पताल में रविवार तक 48 घायलों को भर्ती कराया गया था।

हिंसा के दौरान इलाके के खालापार गांव में एक फोटो पत्रकार सहित दो की हत्या कर दी गई। इसके अलावा चार हत्याएं भोपा, दो मंसूरपुर, एक सिकेड़ा और तीन-तीन हत्याएं कवाल और कुतब गांवों में हुईं। मेरठ क्षेत्र के महानिरीक्षक बृज भूषण ने आईएएनएस को बताया, "प्रशासन ने पड़ोसी मेरठ, बागपत, बुलंदशहर जिलों में हाई अलर्ट कर दिया है।"

इंडो-एशियन न्यूज सर्विस।

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English summary
Army was deployed in the curfew clamped areas of Muzaffarnagar after communal clashes on Saturday. How violence broke out in Muzaffarnagar?
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