बसपा धोखेबाजों की पार्टी: बाबू सिंह कुशवाहा
भाजपा के पक्ष में चुनावी जनसभाओं को स बोधित करते हुए कुशवाहा ने कहा कि वह सिर्फ दो साल छह माह तक प्रदेश के परिवार कल्याण मंत्री रहे और इस दौरान एनआरएचएम से जुड़ी कोई भी फाइल उनके पास नहीं आयी। सारी फाइलें आईएएस अधिकारियों के पास सीधे जाती थीं। बसपा अध्यक्ष व मु यमंत्री का नाम लिए बगैर उन्होंने कहा कि बसपा के बड़े नेता उनके पीछे पड़े हैं और इस मामले में उन्हें झूठा फंसाया जा रहा है। बसपा ने साथ ही उन्होंने कांग्रेस को भी दोषी बताते हुए कहा कि कांग्रेस ने विधानसभा चुनाव में अपना वोट बैंक बढ़ाने के लिए मुस्लिम आरक्षण का शिगूफा छोड़ा।
उन्होंने कहा कि इस मुद्दे पर कांग्रेस पिछडों और मुसलमानों को लड़ाना चाहती है। उनका कहना था कि यदि कांग्रेस मुसलमानों को आरक्षण देना ही चाहती है तो पहले पिछड़े वर्ग का कोटा 27 प्रतिशत से बढ़ाकर 32 प्रतिशत करे और फिर उन्हें 4.5 प्रतिशत आरक्षण दे। उन्होंने कहा कि बसपा से निकाले जाने के बाद उन्होंने मुस्लिम आरक्षण मुद्दे पर सभी दलों के नेताओं से बातचीत की थी लेकिन कोई भी इस आरक्षण का विरोध नहीं कर सका। उन्होंने भाजपा को पिछड़ों की हिमायती बताते हुए कहा कि यही वजह थी कि वह भाजपा में गये थे। श्री कुशवाहा ने कहा कि प्रदेश में भाजपा की सख्त जरूरत है।