उप्र में बिजली हुई महंगी
विद्युत नियामक आयोग ने इसी महीने बिजली की दरों में बढ़ोतरी का प्रस्ताव उत्तर प्रदेश पावर कार्पोरेशन लिमिटेड (यूपीपीसीएल) को भेजा था। आयोग के प्रस्ताव का अध्ययन करने के बाद यूपीपीसीएल ने बीते सप्ताह 15 अप्रैल से बिजली के दामों में बढ़ोतरी की घोषणा की थी।
यूपीपीसीएल के निदेशक (वाणिज्यिक) नंदलाल ने गुरुवार को लखनऊ में संवाददाताओं को बताया कि नई दरें महीने के मध्य से लागू होने से उपभोक्ताओं को परेशान होने की जरूरत नहीं है। किसी उपभोक्ता द्वारा पूरे महीने खर्च की जाने वाली बिजली के बिल को समानुपात के आधार पर निकाला जाएगा।
नई दरों के अनुसार घरेलू शहरी बिजली की दर 60 रुपये से बढ़ाकर 65 रुपये कर दी गई हैं। महीने में 200 यूनिट बिजली खर्च करने पर प्रति यूनिट 3 रुपये के बजाय 3 रुपये 45 पैसे देने होंगे। 200 यूनिट से ज्यादा खर्च करने पर प्रति यूनिट 3.30 रुपये के बजाय 3.80 रुपये (15.15 फीसदी) देने होंगे।
घरेलू ग्रामीण क्षेत्र में बिना मीटर के कनेक्शन के लिए 110 रुपये के बजाय 125 रुपये (13.64 फीसदी) देने पड़ेंगे। व्यवसायिक ग्रामीण क्षेत्र में बिना मीटर के कनेक्शन के लिए अब 180 के बजाय 200 रुपये चुकाने होंगे।
यूपीपीसीएल के प्रबंध निदेशक नवनीत सहगल के मुताबिक बढ़ी दरों का असर एक तिहाई उपभोक्ताओं पर असर नहीं पड़ेगा। नई दरों से राज्य सरकार को 2,000 करोड़ रुपये की अतिरिक्त राजस्व की प्राप्ति होगी, लेकिन इसके बावजूद अभी भी यूपीपीसीएल करीब 3921 करोड़ रुपये के घाटे में रहेगा।
अधिकारियों के मुताबिक उत्तर प्रदेश में कुल 1.09 करोड़ बिजली उपभोक्ता हैं।
इंडो-एशियन न्यूज सर्विस।