सतपाल गिरोह के 3 सदस्यों की आजीवन कारावास की सजा बरकरार
सत्र न्यायालय के फैसले को बरकरार रखते हुए न्यायाधीश प्रदीप नंदराजोग और इंदरमीत कौर की खंडपीठ ने कहा,"सूरजभान की गवाही से यह विश्वास स्थापित होता है कि उसे और उसके बेटे तथा अनिल सूरी का अपहरण अपीलकर्ताओं और उनके गिरोह ने किया। हम अपील का कोई आधार नहीं पाते और उसे खारिज किया जाता है।"
रामबरन, सुरेंद्र और मेघ सिंह को सूरजभान,उसके बेटे मनोज कुमार और अनिल सूरी के अपहरण के लिए सत्र न्यायालय ने दोषी ठहराया था। अभियुक्त तीनों का अपहरण करके उत्तर प्रदेश के इटावा जिले में ले गए थे। सूरी का अपहरण आगरा जाते समय रास्ते में और रामबरन और उसके बेटे का दिल्ली के विकासपुरी इलाके से हुआ था।
अपहृर्ताओं ने फोन से फिरौती की मांग की और पुलिस ने उसके आधार पर तीन अभियुक्तों को गिरफ्तार किया। शेष अपराधी बंधकों के साथ भागने में सफल रहे।
बाद में सूरजभान को छोड़ दिया गया और उसे अपने बेटे को छुड़ाने के लिए 25 लाख रुपये की फिरौती का इंतजाम करने को कहा गया। बाद में उसका बेटा भी रिहा हो गया लेकिन सूरी का अब भी पता नहीं है। माना जाता है कि सूरी की मौत हो चुकी है।
इंडो-एशियन न्यूज सर्विस।