5 लाख बांग्लादेशियों को भारतीय वीज़ा
ढाका
स्थित
भारतीय
उच्चायोग
के
सामने
हर
दिन
वीजा
के
लिए
निवेदन
करने
वालों
की
लंबी
कतारें
लगती
हैं।
उच्चायोग
बांग्लादेशियों
के
लिए
हर
साल
लगभग
500,000
वीजा
जारी
करता
है।
इनमें
व्यापारी,
छात्र
और
मरीज
सभी
शामिल
होते
हैं।
पिछले
सप्ताह
बांग्लादेश
में
भारतीय
उच्चायुक्त
पिनक
रंजन
चक्रवर्ती
ने
कहा
था
कि
हर
वर्ष
वीजा
हासिल
करने
वाले
25,000
बांग्लादेशी
वापस
अपने
देश
नहीं
लौटते।
'फैडरेशन ऑफ बांग्लादेश चैंबर्स ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री' (एफबीसीसीआई) के एक अधिकारी ने पिछले सप्ताह कहा था, "भारतीय उच्चायोग के सामने लगने वाली बांग्लादेशियों की कतारों को 'गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकार्ड्स' में जगह मिलेगी।"
आज से एक दशक पहले 350,000 से अधिक बांग्लादेशियों को भारतीय वीजा मिलता था। विश्लेषकों का कहना है कि दोनों देशों में संपर्को के बढ़ने की वजह से यह संख्या आगे भी बढ़ती रहेगी।
वर्ष 2008 में 255,696 बांग्लादेशियों को भारत में अपने संबंधियों से मिलने और तीर्थयात्रा के लिए वीजा दिया गया। उसी वर्ष भारत में उपचार के लिए 55,489, कारोबार के लिए 6,786 और पढ़ाई के लिए 2,374 बांग्लादेशियों को वीजा जारी किया गया।
इंडो-एशियन न्यूज सर्विस।